कानपुर: पिछले साल फरवरी-मार्च में बेमौसम हुई बरसात से किसानों की फसलें बर्बाद हो गई थीं। किसानों को सरकार से मुआवजे के जो चेक मिले वो बैंक में रकम नहीं होने के कारण बाउंस हो गए। नाराज और हताश किसानों ने बाउंस चेक जला दिए। अब पूरे गांव ने तय किया है कि इस साल होली नहीं मनाएंगे।
सभी किसान गोपालपुर गांव के हैं
-कानपुर महानगर से सटे साढ़ गोपालपुर गांव के किसानों की फसलें ओलावृष्टि में बर्बाद हो गई थी।
-यूपी सरकार ने किसानों को अगस्त में मुआवजा के साथ सहायता राशि का चेक दिया।
-किसानों ने चेक अपने खाते में डाले तो वे बाउंस हो गए।
-क्योंकि सरकारी अकाउंट में पैसे नहीं थे।
किसानों की समस्याएं
-चेक पुराने हो गए हैं।
-उनकी तारीख बदलवाने के लिए किसान जब तहसीलदार के पास जाते हैं तो वो तीस परसेंट कमीशन मांगता है।
-तहसीलदार के रवैए से नाराज सैंकड़ो किसानों ने शनिवार को गोपालपुर पंचायत भवन का घेराव किया।
-किसानों के आक्रोश को देखते हुए ग्राम विकास अधिकारी अपने कमरे में ताला जड़कर भाग गया।
पांच सौ किसानों के हुए चेक बाउंस
-गोपालपुर गांव के प्रधान पति ब्रजेंद्र सिंह ने कहा कि बारिश और ओलावृष्टि से फसलें बर्बाद हुई थी।
-सरकार की तरफ से सहायता राशि के जो चेक मिले वो बाउंस हो गए।
-होली नजदीक है और मौसम भी धोखा दे रही है।
-तहसील और बैंक के चक्कर काटते-काटते गांव वाले परेशान हो चुके हैं।
-गोपालपुर गांव में करीब पांच सौ किसानों के चेक बाउंस हुए हैं।
किसान रविशंकर ने सुनाई आपबीती
-पंचायत भवन पर प्रदर्शन कर रहे किसान रविशंकर ने कहा कि पांच बीघा खेत में चना, अरहर, गेंहू बोया था।
-बारिश में सब फसल नष्ट हो गई।
-सरकार की तरफ से मुआवजे के चेक मिले जो चार महीने में वापस आ गए।
-बैंक वाले कहते हैं कि खाते में पैसा नहीं है।
-सरकार ने 4960 रुपए का चेक दिया था।
-अब हम कैसे होली मनाये जब कुछ है ही नहीं ।