Amethi: कांग्रेस का गढ़ रही गौरीगंज सीट पर टिकी सबकी निगाहें, किसको मिलेगा जनता का आशीर्वाद
यूपी की राजनीति में अमेठी जिले की गौरीगंज विधान सभा सीट भी काफी अहम है। कभी कांग्रेस का गढ़ रही गौरीगंज सीट पर इस समय सपा का कब्जा है।
Amethi: यूपी विधानसभा चुनाव 2022 को लेकर चुनावी शंख नाद हो गया है। यूपी की राजनीति में अमेठी जिले की गौरीगंज विधान सभा सीट भी काफी अहम है।कभी कांग्रेस का गढ़ रही गौरीगंज सीट पर इस समय सपा का कब्जा है। मोदी लहर में भी जीत दर्ज करने वाले सपा विधायक राकेश प्रताप सिंह इस बार जीत की हैट्रिक लगा पाती है या जनता का आशीर्वाद किसी और दल को मिलेगा।
गौरीगंज विधान सभा सीट 185 अमेठी जिले की अहम सीट है।जिले का नाम भले ही अमेठी रखा है बावजूद इसके मुख्यालय गौरीगंज में ही है। चुनावी अतीत पर गौर करें तो 1974 से अब तक कांग्रेस 5 बार और बीजेपी के 4 बार विधायक निर्वाचित हुए हैं।वहीं बसपा भी एक बार इस सीट से प्रतिनिधित्व कर चुकी है। फिलहाल इस समय समाजवादी पार्टी के विधायक राकेश प्रताप सिंह लगातार दूसरी बार विधायक है।
बदलाव का दौर लगातार जारी
पिछले 3 चुनाव परिणामों पर गौर करें तो पता चलता है। कि वर्ष 2007 में बहुजन समाज पार्टी से चंद्र प्रकाश मिश्र मटियारी 34,386 मत पाकर चुनाव जीते थे।वहीं कांग्रेस के मुहम्मद नईम 28,398 मत पाकर दूसरे स्थान पर थे। भाजपा के कद्दावर नेता तेज भान सिंह इस बार तीसरे पायदान पर पहुंच गए। सपा के जंग बहुदार इस चुनाव में 17,231 मत पाकर चौथे स्थान पर थे।
वर्ष 2012 के विधानसभा चुनाव में सपा के राकेश प्रताप सिंह 44,287 मत प्राप्त कर विधानसभा पहुंचे थे।इस चुनाव में कांग्रेस के मोहम्मद नईम 43,784 मत प्राप्त कर दूसरे स्थान पर थे।वहीं, बीजेपी के तेज भान सिंह 34,893 मत पाकर तीसरे स्थान पर थे। बदलाव का दौर लगातार जारी रहा।भाजपा और कांग्रेस पीछे की तरफ ही खिसकती गई।
वर्ष 2017 के विधानसभा चुनाव में राकेश प्रताप सिंह 77,915 मत पाकर चुनाव पुनः जीत गए। इस बार भी कांग्रेस के मुहम्मद नईम 51,496 मत प्राप्त कर दूसरे स्थान पर बरकरार रहे। वहीं इस चुनाव में बसपा के विजय किशोर तिवारी 33,848 मत तीसरे स्थान पर रहे। अब बड़ा सवाल यह है कि क्या सपा के राकेश प्रताप सिंह अपनी जीत की हैट्रिक बना पाते हैं या नहीं।
आगामी विस चुनाव के लिए आयोग द्वारा अधिसूचना जारी कर दी गई है। चुनाव के लिए अमेठी में पांचवे चरण में तिथि निर्धारित कर दी गई है। फिलहाल अभी तक कैंडिडेट की घोषणा नहीं हुई है फिर भी पार्टियों के संभावित उम्मीदवार मैदान के डट गए है। उम्मीदवारों की सबसे लंबी फेहरिश्त बीजेपी में ही दिखाई पड़ रही है। इसमें कई दलों के नेता मोदी और योगी में आस्था दिखाते हुए बीजेपी में शामिल हो गए हैं। कांग्रेस पार्टी में भी उम्मीदवारों की फेहरिश्त कम नहीं है।
गैर विधानसभा क्षेत्रों के भी कई प्रत्याशी चुनावी मैदान में डटे हुए हैं। क्षेत्र में जाकर अपनी टिकट की दावेदारी पक्की बता रहे हैं। गौरतलब पहलू यह भी है कि कांग्रेस या तो इस सीट से जीत दर्ज की है या तो दूसरे स्थान पर रही है।
कांग्रेस पिछले 2 दशक से मुस्लिम प्रत्याशी चुनाव मैदान में उतार रही है। इस बार देखना होगा कि कुछ बदलाव होता है या फिर मुस्लिम चेहरा ही मैदान में आता है।समाजवादी पार्टी से राकेश प्रताप सिंह के अलावा एक नया चेहरा सामने आया है। राहुल मिश्रा ने भी समाज वादी पार्टी से चुनाव प्रचार की शुरुआत भी कर दिया है।
गौरीगंज विधान सभा में दो सड़कों के पुनर्निर्माण को लेकर राजनीतिक उठा पटक काफी दिनों तक चली।बावजूद इसके अभी तक सड़क निर्माण नहीं हो सका। यहां तक सपा विधायक राकेश प्रताप सिंह विधान सभा की सदस्यता से त्याग पत्र भी दे चुके हैं।
इसके साथ स्वास्थ्य सुविधाएं भी अच्छी नहीं है। अस्पताल में लोगों का समुचित इलाज नहीं हो पाता है। जिला तो बन गया है।जिला स्तर की सुविधाओं से यहां के लोग वंचित हैं। जिला मुख्यालय पर एक बस स्टाफ भी नहीं बना है। दीवानी न्यायालय और जेल भी जिले में नहीं है। लोगों को पड़ोसी जनपद में जाना पड़ता है।
अनुमानित जनसंख्या
कुल जनसंख्या- 5,60,176
पुरुष-2,81,736
महिला-2,78,440
कुल अनुमानित मतदाता-3,49716
पुरुष मतदाता-18,2,061
महिला मतदाता-1,64,617
अनुमानित जातिगत मतदाता
ब्राह्मण- 90,600
अनुसूचित- 48,500
क्षत्रिय-46,000
यादव-35,588
पिछड़ा वर्ग-51,000
मुस्लिम-35,000
वैश्य-22,000
कायस्थ-12,000
अन्य-6,000