UP Politics: आतंकियों की गिरफ्तारी पर बयान देकर घिरे अखिलेश यादव, सवाल खड़े करने पर भाजपा बिफरी
UP Politics: आतंकियों की गिरफ्तारी के बाद समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव के बयान पर सियासत गरमा गई है।
UP Politics: राजधानी लखनऊ में अलकायदा के दो संदिग्ध आतंकियों की गिरफ्तारी के बाद समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव के बयान पर सियासत गरमा गई है। सपा मुखिया ने आतंकवाद के खिलाफ एटीएस की ओर से की गई इस कार्रवाई पर सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने साफ तौर पर कहा है कि उन्हें उत्तर प्रदेश की पुलिस और भाजपा पर जरा भी भरोसा नहीं है। सोशल मीडिया पर भी सपा मुखिया के इस बयान की काफी चर्चा है और सपा को होने वाले सियासी नफा नुकसान को लेकर अलग-अलग टिप्पणियां की जा रही हैं।
सपा प्रमुख के इस बयान पर भाजपा में तीखी प्रतिक्रिया जताई है। पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने कहा कि आतंकवादियों का समर्थन, पोषण और संरक्षण समाजवादी पार्टी सहित विपक्ष के कई दलों का एजेंडा है। प्रदेश के मंत्री मोहसिन रजा ने भी अखिलेश यादव को घेरते हुए कहा कि उन्हें सुरक्षा एजेंसियों से ज्यादा आतंकवादियों पर ही भरोसा है।
एटीएस ने नाकाम की बड़ी साजिश
यूपी पुलिस के आतंकरोधी दस्ते (एटीएस) ने रविवार को राजधानी में दो संदिग्ध आतंकियों मसीरुद्दीन और मिनहाज की गिरफ्तारी की थी। यूपी पुलिस के मुताबिक ये दोनों आतंकी अलकायदा समर्थित संगठन अंसार गजवातुल हिंद के सदस्य हैं और इन्होंने लखनऊ, वाराणसी समेत कई शहरों को दहलाने की साजिश रच रखी थी।
इन दोनों आतंकियों की गिरफ्तारी के बाद एटीएस ने कानपुर से भी दो संदिग्धों को गिरफ्तार किया है। कानपुर से गिरफ्तार किए गए बिल्डर पर इन आतंकियों को फंडिंग करने और हिस्ट्रीशीटर पर असलहे मुहैया कराने का आरोप है।
अखिलेश को पुलिस कार्रवाई पर भरोसा नहीं
आतंकियों के खिलाफ एटीएस की ओर से की गई इस कार्रवाई को बड़ी कामयाबी माना जा रहा है। पुलिस के मुताबिक आतंकियों की गिरफ्तारी से मानव बमों के जरिए यूपी दहलाने की साजिश नाकाम करने में कामयाबी मिली है। दूसरी ओर समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव ने इस मामले में प्रदेश पुलिस और भाजपा पर सवाल उठाए हैं।
लखनऊ में प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान इस बाबत पूछे जाने पर अखिलेश यादव ने साफ तौर पर कहा कि उन्हें प्रदेश के पुलिस और भाजपा पर भरोसा नहीं है। उन्होंने प्रदेश पुलिस के साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की सरकार को भी कटघरे में खड़ा किया।
भाजपा ने सपा प्रमुख को घेरा
सपा प्रमुख के इस बयान पर अब सियासत गरमा गई है और उन पर आतंकियों की तरफदारी करने के आरोप लगाए जा रहे हैं। यह भी आरोप लगाया जा रहा है कि वोट बैंक और मुस्लिम तुष्टिकरण की राजनीति के तहत अखिलेश यादव ने इस तरह का बयान दिया है। सोशल मीडिया पर भी अखिलेश यादव के बयान पर तल्ख टिप्पणियां की जा रही हैं। भाजपा ने इस मुद्दे को लेकर सपा प्रमुख को घेरते हुए बड़ा आरोप लगाया है।
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने कहा कि यूपी पुलिस अपनी जान पर खेलकर आतंकियों की गिरफ्तारी में जुटी हुई है तो दूसरी ओर सपा प्रमुख यूपी पुलिस को हतोत्साहित करने में जुटे हुए हैं। उन्होंने सवाल किया है कि सपा अध्यक्ष को यह स्पष्ट करना चाहिए कि उन्हें प्रदेश की पुलिस और देश की सेना पर भरोसा क्यों नहीं है। उन्होंने अखिलेश के मुख्यमंत्रित्व काल में आतंकवादियों पर से मुकदमा वापस लेने का मुद्दा उठाते हुए भी सपा प्रमुख को घेरा।
देश तोड़ने वालों पर ज्यादा भरोसा
भाजपा नेता ने आरोप लगाया कि सच्चाई तो यह है कि सपा सहित विपक्ष में शामिल सभी दलों का भरोसा देश को तोड़ने की कोशिश करने वाले लोगों में ज्यादा है। विपक्षी नेता हमारी हमेशा हमारी बहादुर सेना और पुलिस को लेकर सवाल उठाते रहे हैं। देश की सुरक्षा जैसे गंभीर मसलों को तुष्टीकरण की राजनीति दूर रखा जाना चाहिए।
भाजपा नेता ने कहा कि अगर सपा प्रमुख को पुलिस पर भरोसा नहीं है तो उन्हें पुलिस की सुरक्षा छोड़ देनी चाहिए। उनका बयान पुलिसकर्मियों और देश के जवानों के मनोबल को तोड़ने वाला और आतंकियों को संरक्षण देने जैसा है।
आतंकियों की तरफदारी का आरोप
उत्तर प्रदेश के अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री मोहसिन रजा ने भी सपा प्रमुख अखिलेश यादव पर आतंकवादियों की तरफदारी करने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि सुरक्षा एजेंसियां अपनी जान पर खेलकर आतंकवादियों के खिलाफ कार्रवाई करने में जुटी हुई है मगर अखिलेश यादव को आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई मंजूर नहीं है। उन्हें सुरक्षा एजेंसियों से ज्यादा भरोसा आतंकवादियों पर है। उन्होंने कहा कि सुरक्षा एजेंसियों ने एक बड़ी साजिश का भंडाफोड़ कर किया है जिससे प्रदेश को आतंकी गतिविधियां से बचाया जा सके मगर सपा प्रमुख सुरक्षा कर्मियों का भरोसा तोड़ने में जुटे हुए हैं।
मायावती ने भी खड़े किए सवाल
इस बीछ बसपा सुप्रीमो मायावती ने भी राजधानी लखनऊ में आतंकी साजिश के खुलासे पर सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने कहा कि इसकी आड़ में किसी भी प्रकार की राजनीति नहीं होनी चाहिए। बसपा नेता ने कहा कि विधानसभा चुनाव नजदीक आने पर यूपी पुलिस की ओर से की गई यह कार्रवाई लोगों के मन में संदेह पैदा करने वाली है।
हालांकि उन्होंने इसके साथ ही यह भी कहा कि यदि आतंकवादियों को लेकर पुलिस का दावा सही है तो इस मामले में उचित कार्रवाई की जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि इस मामले में राजनीति की आशंका जताई जा रही है और ऐसे गंभीर मुद्दों पर राजनीति नहीं की जानी चाहिए।