Abdullah Azam: अब स्टाम्प चोरी में फंसे आजम खान के बेटे अब्दुल्ला आजम, फैसला जल्द आने की संभावना
Abdullah Azam : सपा नेता आजम खान के बेटे अब्दुल्ला आजम अब नए मामले में फंसते दिख रहे हैं। कम स्टाम्प देने के एक मामले में एसडीएम ने अपनी रिपोर्ट डीएम कोर्ट में दाखिल कर दी है।
Abdullah Azam News : समाजवादी पार्टी नेता आजम खान के स्वार विधानसभा से विधायक बेटे अब्दुल्ला आजम खान (Abdullah Azam Khan) अब स्टाम्प चोरी के मामले में फंस गए हैं। जिसमें पहले की सभी जांच रिपोर्टों की पुष्टि हो चुकी है। अब सिर्फ फैसला आना बाकी है।
जानकारी के मुताबिक, अब्दुल्ला ने सन 2020 में शौकत अली रोड के पास एक प्लॉट खरीदा था। जिसमें तत्कालीन एसडीएम सदर और ज्वाइन मजिस्ट्रेट प्रवीण वर्मा ने इस प्लॉट का स्थलीय परीक्षण भी किया था जिसमें उन्होंने 8,26,052 रुपए के स्टांप कम पाई थे। उन्होंने अपनी रिपोर्ट तत्कालीन डीएम आंजनेय कुमार सिंह (Rampur DM Anjaneya Kumar Singh) को सौंपी थी।
क्या है मामला?
रामपुर के डीएम आंजनेय कुमार सिंह ने इस मामले में अपनी कोर्ट से कम स्टाम्प का वाद दर्ज कर 15 जनवरी 2021 को अब्दुल्ला आज़म को नोटिस जारी किया था। यह नोटिस सीतापुर की जेल में तामील कराया गया था। उसके बाद आंजनेय कुमार सिंह मुरादाबाद के कमिश्नर बन गए। यहां पर नए जिलाधिकारी रविंद्र कुमार मादड़ ने डीएम का चार्ज लिया। सुनवाई के दौरान अब्दुल्ला आजम के अधिवक्ता कोर्ट पहुंचे और उन्होंने नोटिस पर आपत्ति दाखिल कर दोबारा स्थलीय परीक्षण का अनुरोध किया। जिस पर जिलाधिकारी ने एसडीएम सदर से दोबारा जांच कराई।
प्लॉट कहीं का, स्टांप कहीं का
इस मामले पर शासकीय अधिवक्ता अजय तिवारी से हमने बात की तो उन्होंने बताया विधायक अब्दुल्ला आजम खान ने शिवा टॉकीज के पास एक आवासीय प्लॉट खरीदा था। उस पर जो स्टांप लगाया था, वह लिंक रोड का लगाया था। जब जांच हुई सब रजिस्टार ने पाया लिंक रोड के साथ-साथ जो सेगमेंट रोड है उससे भी उसका रास्ता खुलता है। उसी आधार पर 8,26,052 की कमी दर्शाते हुए उन्होंने रिपोर्ट भेजी थी।
फैसला आना बाकी
कलेक्टर रामपुर को तत्कालीन जो डीएम थे आंजनेय कुमार सिंह उन्होंने 2021 में अब्दुल्ला आज़म को एक नोटिस भी जारी किया था। उस नोटिस का उनका अधिवक्ता ने जवाब दिया था। उसके बाद इस मामले की पुनः जांच हुई थी। रविंद्र कुमार मादड़ जो मौजूदा जिलाधिकारी है उन्होंने इसकी जांच कराई थी। जांच के बाद पूर्व की जो रिपोर्ट थी, उसकी पुष्टि हुई थी वे रिपोर्ट कोर्ट में दाखिल हो गई है। जिस पर अब फैसला आना अभी बाकी है। वर्तमान में पहले की रिपोर्टों की पुष्टि हुई है। इससे साफ जाहिर है कम स्टाम्प तो लगाए गए हैं।