Banda News: आरटीओ ऑफिस की हैरतअंगेज कर देनें वाली भ्रष्टाचार की तश्वीर, ऑफिस में खुलेआम भूत कर रहा काम!
Banda News: बलवंत नाम का एक व्यक्ति शाम को पांच बजे के बाद आता है और कंप्यूटर में बैठ करके ए आरटीओ शंकर सिंह की आईडी और पासवर्ड खोलकर वाहन रजिस्ट्रेशन व ट्रांसफर जैसे जरूरी कामकाज निपटाता है।
Banda News: बांदा आरटीओ ऑफिस से भ्रष्टाचार का हैरतअंगेज कर देने वाला वीडियो सामने आया है। आरटीओ ऑफिस में शाम सात बजे एक बाहरी व्यक्ति कंप्यूटर पर बैठा प्रशासनिक कार्य कर रहा है। बेखौफ़ होकर एआरटीओ की आईडी पासवर्ड खोलकर काम कर रहा है और लोगों की माने तो काम के एवज में कमीशन ले रहा है। हमारे कैमरे की नजर पड़ते ही यह व्यक्ति अपना फर्जी नाम बता करके ऑफिस से भाग जाता है।
हैरान करने वाली बात यह है कि इस व्यकित के बारे में ऑफिस के चपरासी से ले करके अधिकारी तक कोई नहीं जानता। तो सवाल यह खड़ा होता है कि आखिर यह ऑफिस का भूत कौन है? जो खुले आम योगी सरकार की जीरो टॉलरेंस नीति को चुनौती दे रहा है और आरटीओ ऑफिस के किसी भी बंदे को पता तक नहीं है। क्या ऐसा संभव है कि बिना किसी अधिकारी के मिली भगत के यह अनजान व्यक्ति खुलेआम आरटीओ ऑफिस में बैठकर काम कर सकता है?
संभागीय परिवहन अधिकारी कार्यालय का मामला
पूरा मामला बांदा जनपद के संभागीय परिवहन अधिकारी कार्यालय का है। जहां लोगों ने बताया कि बलवंत नाम का एक व्यक्ति शाम को पांच बजे के बाद आता है और कंप्यूटर में बैठ करके ए आरटीओ शंकर सिंह की आईडी और पासवर्ड खोलकर वाहन रजिस्ट्रेशन व ट्रांसफर जैसे जरूरी कामकाज निपटाता है। दलालों का जमावड़ा भी 5ः00 बजे के बाद ऑफिस में लग जाता है और फिर बांदा आरटीओ ऑफिस में खुला खेल फर्रुखाबादी चलता है। लेकिन कैमरे पर नजर पड़ते ही, इस व्यक्ति की सिटी पट्टी गुम हो जाती है।
परिचय पूछने पर यह व्यक्ति अपना फर्जी नाम बता करके वहां से नौ दो ग्यारह हो जाता है। जब इस बारे में आरटीओ सौरभ सिंह को अवगत कराया गया तो आरटीओ सौरभ सिंह ने मामले को संज्ञान में लेते हुए जांच के आदेश दे दिए हैं। लेकिन फिर एक बार वही बड़ा सवाल खड़ा होता है कि ऑफिस बंद होने के बाद कैसे कोई व्यक्ति खुलेआम कंप्यूटर पर बैठकर अधिकारी की आईडी खोल करके भ्रष्टाचार को निमंत्रण दे सकता है। इस तरह से तो लोगों का सिस्टम से भरोसा उठ जाएगा। क्या अधिकारियों के बिना सिस्टम के ऐसा हो सकता है यह भी एक बड़ा सवाल है जिसकी पड़ताल हम करते रहेंगे।