UPPCS Result: ग्राम पंचायत अधिकारी के पद पर माधवी दे रही थीं सेवा, अचानक पीसीएस में सेलेक्ट होने की मिली खुशी

UPPCS Result: किसान की बेटी और लेखपाल की नौकरी करने वाली माधवी पांडेय का चयन विकलांग कल्याण अधिकारी के पद पर हुआ है। वहीं गोरखपुर शहर के गोरखनाथ एरिया के रहने वाले दीपक श्रीवास्तव का चयन समाज कल्याण अधिकारी के पद पर हुआ है।

Update:2023-04-09 01:30 IST
यूपी पीसीएस में माधवी पांडेय और दीपक श्रीवास्तव का चयन हुआ(Pic: Newstrack)

UPPCS Result: यूपी पीसीएस परीक्षा में गोरखपुर के दो होनहारों ने परचम लहराया है। किसान की बेटी और लेखपाल की नौकरी करने वाली माधवी पांडेय का चयन विकलांग कल्याण अधिकारी के पद पर हुआ है। वहीं गोरखपुर शहर के गोरखनाथ एरिया के रहने वाले दीपक श्रीवास्तव का चयन समाज कल्याण अधिकारी के पद पर हुआ है। माधवी का 2016 में लेखपाल के पद पर चयन हुआ था। कुछ दिनों तक लेखपाल की नौकरी करने के बाद 2017 में पुनः उनका चयन ग्राम पंचायत अधिकारी के पद पर हो गया। इस पद पर रहते हुए माधवी ने पीसीएस परीक्षा में परचम लहराया है। गोरखपुर शहर से सटे ग्राम सभा गौरा खास निवासी अलख निरंजन पाण्डेय की बड़ी बेटी माधवी पाण्डेय ने लोक सेवा आयोग की परीक्षा में चयनित होकर गांव सहित क्षेत्र का भी नाम रोशन किया है।

माधवी पाण्डेय की प्राथमिक शिक्षा जगतबेला स्थित तपानाथ शिक्षण संस्थान से हुई है। वहीं हाई स्कूल और इण्टर की शिक्षा सरहरी स्थित बीर शिवा जी इण्टर कालेज से हुई है। शिखा ने गोरखपुर यूनिवर्सिटी से हिन्दी से परास्नातक की डिग्री हासिल की है। वर्तमान में परिवार किराये के मकान में शहर के सूरजकुंड में रहता है। माधवी के पिता किसान व माता गृहिणी है। वह तीन बहनों में सबसे बड़ी हैं। दो छोटी बहनें अनुराधा व मनोरमा सहित छोटा भाई प्रवीण अभी पढ़ाई कर रहे है।

पीसीएस में चयनित हुए गोरखनाथ के दीपक श्रीवास्तव

उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग की परीक्षा में गोरखनाथ क्षेत्र के 10 नंबर बोरिंग निवासी दीपक श्रीवास्तव का चयन जिला समाज कल्याण अधिकारी ग्रुप ए के पद पर हुआ है। दीपक ने बताया कि यह उनका तीसरा प्रयास था। इससे पहले 2021 की पीसीएस परीक्षा में डिप्टी जेलर का पद मिला था। उन्होंने बताया कि वर्तमान में वे लखनऊ में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) में कार्यरत हैं। इससे पहले वे इनकम टैक्स विभाग में निरीक्षक के पद पर भी सेवाएं दे चुके हैं। उन्होंने बताया कि बिना कोचिंग के सेल्फ स्टडी कर यह सफलता हासिल की है। वैकल्पिक विषय संस्कृत साहित्य था। वे एमजी इंटर कॉलेज से इंटरमीडिएट तथा स्नातक दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय से उत्तीर्ण हैं। पपीसीएस में उनके चयन की खबर के बाद बधाइयों का तांता लग गया।

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