Hapur News: हापुड़ में ग्रेप 4 लागू, प्रदूषण के हालात खतरनाक, बना पांचवां सबसे प्रदूषित शहर
Hapur News: मंगलवार को सभी विभागों की मीटिंग बुलाई गई है। मीटिंग के बाद ईंट-भट्ठों पर चल रहा कार्य भी रुक सकता है। प्रदूषण का स्तर ज्यादा होने के कारण दृश्यता भी प्रभावित रही।
Hapud News: हापुड़ में हवा चलने के बावजूद प्रदूषण का स्तर लगातार बढ़ता जा रहा है। रात से बढ़ता हुआ प्रदूषण सौ अंक उछलकर जानलेवा स्थिति में पहुंच गया। ग्रेप चार लागू होने के बावजूद प्रदूषण के स्तर में कमी नहीं आई है। सोमवार को शहर में सड़कों पानी का छिड़काव किया गया। डीएम ने अधिकारियों को अपने-अपने क्षेत्रों में ग्रेप के प्रतिबंधों का पालन कराने के आदेश दिए। जिले को चार सेक्टर में बांट दिया गया है। वहीं मंगलवार को सभी विभागों की मीटिंग बुलाई गई है। मीटिंग के बाद ईंट-भट्ठों पर चल रहा कार्य भी रुक सकता है। प्रदूषण का स्तर ज्यादा होने के कारण दृश्यता भी प्रभावित रही। जिससे दिनभर वाहनों की गति धीमी रही। वहीं हापुड़ देश में पांचवां सबसे ज्यादा प्रदूषित शहर रहा।
प्रदूषण का स्तर एक सप्ताह से रेड जोन में है। उसके बावजूद यह चार सौ से कम ही था। जिले का एक्यूआइ रविवार को 350 था। उसके साथ ही शाम को हवा चलनी आरंभ हो गई। माना जा रहा था कि हवा चलने से प्रदूषण की स्थिति में सुधार होगा, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। शाम से प्रदूषण और धुंध दोनों का स्तर बढ़ता गया। आधी रात के बाद एक्यूआइ का आंकड़ा लगातार बढ़ता गया। सोमवार दोपहर को प्रदूषण का स्तर 400 पार कर गया। वहीं रात आठ बजे तक यह रविवार के सापेक्ष पूरा सौ अंक उछलकर 451 पर पहुंच गया।
प्रदूषण का स्तर बढ़ने के साथ ही हापुड़ देश के सर्वाधिक प्रदूषित शहरों में शामिल हो गया। प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अधिकारियों के अनुसार सोमवार को हापुड़ देश के सर्वाधिक पांच प्रदूषित शहरों में रहा। हापुड़ का स्तर पांचवां था। वहीं ग्रेप चार लागू हो जाने के चलते सरकारी निर्माण कार्य पर भी रोक लगा दी गई। वहीं जिले को धौलाना, हापुड़, सिंभावली और गढ़मुक्तेश्वर सेक्टर में बांटकर मानिटरिंग शुरू कर दी गई है। खंड विकास अधिकारी और सीओ को संबंधित सेक्टर का नोडल अधिकारी नियुक्त किया गया है। वहीं मंगलवार दोपहर को कलक्ट्रेट में सभी विभागों के विभागाध्यक्षों की आपात बैठक बुलाई गई है। जिसमें ग्रेप चार के प्रतिबंधों को लागू करने और प्रदूषण की स्थिति को नियंत्रित करने पर विचार किया जाएगा।
जुगाड़ भी नहीं आया अधिकारियों के काम -
प्रदूष को नियंत्रित दिखाने के लिए जिले के अधिकारियों ने लगातार जुगाड़ लगाया, लेकिन काम नहीं आया। जिले के हालात यह हैं कि प्रदूषण की मानिटरिंग के लिए संयंत्र शहर से दूर लगा है। वहां पर प्रदूषण सबसे कम रहता है। शहर और मानिटरिंग सेंटर की चार किमी की दूरी में प्रदूषण के स्तर में करीब सौ अंक का अंता आ जाता है। शहर में एक्यूआइ का स्तर सौ ज्यादा रहता है। उसके बावजूद कलक्ट्रेट में संयंत्र के आसपास के क्षेत्र में एक सप्ताह से लगातार पानी का छिड़काव कराया जा रहा है। उसके बावजूद सोमवार को प्रदूषण रेड जोन में खतरनांक स्तर तक पहुंच गया। तब जाकर शहर की सड़कों पर भी पानी का छिड़कान किया गया।
अब बढ़ने लगी है सर्दी -
सोमवार -----------------12/ 26
मंगलवार ----------------10/25
बुधवार -----------------09/25
बृहस्पतिवार -------------09/25
शुक्रवार -----------------10/25
ऐसे करें अपना बचाव:
- खुली हवा में निकलने से पहले मास्क लगाना ना भूलें।
- आंखों पर चश्मा पहनकर रहें, जिससे आंखों को बचाया जा सके।
- पानी का सेवन ज्यादा करें, जिससे प्रदूषण का कुप्रभाव कम हो जाता है।
- घरों के आसपास पानी का छिड़काव करें और पौधों पर छिड़काव करके पत्तियों को साफ करते रहें।
- अपनी कार के शीशे बंद रखें और बाइक पर हेलमेट का शीशा बंद करके चलाएं।
- जर्जर सड़कों वाले क्षेत्र से होकर निकलने से बचें आैर कूड़े में आग ना लगाएं।
- बच्चों, बीमारों, बुजुर्गों और गर्भवतियों को ज्यादा प्रदूषण वाले क्षेत्रों में ले जाने से बचें।
- अपने चेहरे और आंखों को कई बार पानी से धोएं।
- अपने घरों के आसपास पानी का छिड़काव करें।
सोमवार को जिले में प्रदूषण का स्तर एकाएक बढ़ गया। स्माग छा गया है और शहर में गैस चैंबर जैसी स्थिति बनती जा रही है। हापुड़ देश का पांचवां प्रदूषित शहर रहा है। अब मंगलवार को बैठक में कुछ जरूरी निर्णय लिए जाएंगे। लोगों को बचाव करने की जरूरत है। जरा सी लापरवाही भारी पड़ सकती है। मास्क का प्रयोग करें और परेशानी होने पर अपने चिकित्सक के संपर्क में रहें।