Haridwar Dubey Death: बीजेपी के राज्यसभा सांसद हरिद्वार दुबे नहीं रहे, दिल्ली के अस्पताल में ली अंतिम सांस

Haridwar Dubey Death:वरिष्ठ नेता के निधन की खबर मिलते ही भगवा दल मं शोक की लहर दौड़ गई। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ समेत अन्य वरिष्ठ नेताओं ने उनके निधन पर शोक प्रकट किया है।;

Update:2023-06-26 10:18 IST
Haridwar Dubey Death (photo: social media )

Haridwar Dubey Death: उत्तर प्रदेश से आने वाले बीजेपी के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद हरिद्वार दुबे का आज यानी सोमवार 26 जून को निधन हो गया। 74 वर्षीय भाजपा सांसद बीमार चल रहे थे और उनका इलाज दिल्ली के एक अस्पताल में चल रहा था, जहां उन्होंने अंतिम सांस ली। वरिष्ठ नेता के निधन की खबर मिलते ही भगवा दल मं शोक की लहर दौड़ गई। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ समेत अन्य वरिष्ठ नेताओं ने उनके निधन पर शोक प्रकट किया है।

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दिवंगत भाजपा सांसद के बेटे प्रांशु दुबे ने बताया कि रविवार को अचानक उन्होंने सीने में दर्द की शिकायत की और बेचैनी महसूस होने की बात कही। जिसके बाद उन्हें तुरंत फोर्टिस अस्पताल ले जाया गया। लेकिन उनके हालत में कोई सुधार नहीं हुआ और आखिरकार उन्होंने इलाज के दौरान ही दम तोड़ दिया। उनका पार्थिव शरीर आज दोपहर को आगरा लाया जाएगा। इसके बाद अंतिम संस्कार की प्रकिया शुरू की जाएगी।

जन्मभूमि बलिया और कर्मभूमि आगरा रही

हरिद्वार दुबे उत्तर प्रदेश के खांटी भाजपा नेताओं में गिने जाते हैं। जिन्होंने बतौर विद्यार्थी परिषद में जुड़कर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के साथ अपने सार्वजनिक जीवन की शुरूआत की और फिर प्रदेश में पहले जनसंघ और फिर भारतीय जनता पार्टी की जड़े मजबूत करने में अपना योगदान दिया। दुबे का जन्म बलिया जिले के हुसैनाबाद में 1 जुलाई 1949 को हुआ था। वे पहली बार 1969 में एबीवीपी के संगठन मंत्री बन आगरा आए और फिर यहीं के हो लिए। उन्होंने सीतापुर, अयोध्या और शाहजहांपुर में आरएसएस के जिला प्रचारक के तौर पर भी काम किया।

ऐसा रहा सियासी सफर

हरिद्वार दुबे एबीवीपी आगरा के 1969 में संगठन मंत्री बनने के बाद लगातार ऊपर चढते गए। 1983 में उन्हें महानगर अध्यक्ष बनाया गया। साल 1989 में उन्होंने चुनावी राजनीति में पर्दापण किया और आगरा छावनी से विधानसभा का चुनाव लड़ा। वह अपनी पहली चुनावी परीक्षा पास करने में सफल रहे। उन्होंने कांग्रेस के कद्दावर नेता कृष्णवीर सिंह कौशल को हराया था। 1991 में एकबार फिर जीते और राज्य में बनी कल्याण सिंह की सरकार में वित्त राज्य मंत्री बने। हालांकि, इसके बाद उन्हें चुनावी सफलता नहीं मिली।

साल 2005 में खेरागढ़ विधानसभा उपचुनाव में उन्हें पराजय का सामना करना पड़ा। साल 2011 में आगरा- फिरोजाबाद विधान परिषद सीट पर हुए चुनाव में हार गए। इसके बाद भी उन्हें संगठन में अहम जिम्मेदारी दी गई। साल 2013 में उन्हें यूपी बीजेपी का उपाध्यक्ष और प्रवक्ता नियुक्त किया गया। साल 2020 में बीजेपी आलाकमान ने राज्यसभा में भेजा। उनके निधन के बाद राज्यसभा में उनकी सीट पर अब उपचुनाव होगा।

परिवार में कौन-कौन ?

हरिद्वार दुबे के परिवार में उनकी पत्नी कमला पांडे हैं, जो कि एक प्रोफेसर रही हैं। इसके अलावा बेटा प्रांशु दुबे, पुत्रवधू उर्वशी, पुत्री डॉ कृत्या दुबे, दामाद डॉ शिवम, पौत्र दिव्यांश और पौत्री दिव्यांशी हैं। हरिद्वार दुबे के भाई गामा दुबे भी राजनीति में सक्रिय हैं और बीजेपी के प्रदेश स्तर के सीनियर नेताओं में गिने जाते हैं।

राजनाथ सिंह ने प्रकट किया शोक

यूपी के पूर्व सीएम और केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने राज्यसभा सांसद हरिद्वार दुबे के निधन पर शोक जताया है। उन्होंने ट्वीट कर लिखा, राज्यसभा से सांसद एवं उत्तर प्रदेश के वरिष्ठ भाजपा नेता, हरिद्वार दूबे के निधन से मुझे गहरा दुख हुआ है। अपने हंसमुख स्वभाव और सामाजिक कार्यों के प्रति समर्पण के लिए वे कार्यकर्ताओं और जनता के बीच काफ़ी लोकप्रिय थे। उत्तर प्रदेश में पार्टी को ज़मीनी स्तर पर मज़बूत करने में भी उनका बड़ा योगदान था। मैं उनके शोकाकुल परिवार एवं समर्थकों के प्रति अपनी संवेदनाएँ व्यक्त करता हूँ। ओम् शांति!

वहीं, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने ट्वीट में लिखा, राज्यसभा सांसद, पूर्व मंत्री उत्तर प्रदेश सरकारश्री हरिद्वार दुबे जी का निधन अत्यंत दुःखद है। मेरी संवेदनाएं शोक संतप्त परिजनों के साथ हैं। प्रभु श्री राम दिवंगत पुण्यात्मा को अपने श्री चरणों में स्थान तथा शोकाकुल परिजनों को यह अथाह दुःख सहने की शक्ति दें। ॐ शांति!

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