बढ़ता जा रहा घाघरा का जलस्तर, चपेट में आया स्कूल और 140 बीघा खेत
घाघरा का जलस्तर फिर तेजी से बढ़ने लगा है। नदी की लहरों में खेती योग्य जमीन भी नदी में समाहित हो रही है। महसी और कैसरगंज क्षेत्र में रात से अब तक 140 बीघा
बहराइच: घाघरा का जलस्तर फिर तेजी से बढ़ने लगा है। नदी की लहरों में खेती योग्य जमीन भी नदी में समाहित हो रही है। महसी और कैसरगंज क्षेत्र में रात से अब तक 140 बीघा खेत को नदी की लहरें लील चुकी हैं। कायमपुर प्राथमिक स्कूल का आधा भवन नदी की चपेट में आ गया । 01 सेंटीमीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से नदी का जलस्तर बढ़ रहा है। नौ गांवों के मुहाने पर होने से ग्रामीण दहशत मे हैं। अब तक कटान रोकने के कोई उपाय नहीं किए गए हैं।
- घाघरा नदी की स्थिति दिन प्रतिदिन गंभीर होती जा रही है। एल्गिन ब्रिज पर नदी का जलस्तर 104.246 मीटर मापा गया।
-केंद्रीय जलायोग संस्थान के मापक जगदीश साहनी ने बताया कि 01 सेंटीमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से नदी का पानी बढ़ रहा है।
- इसके चलते महसी तहसील क्षेत्र में नदी उफान की स्थिति में पहुंच गई है। नेपाल के पहाड़ों पर हो रही वर्षा के चलते जलस्तर मेेें तेजी से इजाफा हो रहा है।
- कायमपुर, चुरईपुरवा, मंगलपुरवा के 28 किसानों की 90 बीघा खेत भी नदी की लहरों की भेंट चढ़ चुका है।
- कटान तेज होने की सूचना प्रशासनिक अधिकारियों को दी गई है। लेकिन अब तक कटान रोकने के लिए कोई उपाय नहीं किए गए हैं। जिसके चलते नदी निरंतर गांव की ओर बढ़ रही है।
उधर कैसरगंज तहसील के विकास खंड जरवल अंतर्गत दिकोलिया गांव के निकट नदी की लहरों ने तबाही मचानी शुरू की है। गांव की लगभग 50 बीघे खेती योग्य जमीन नदी में समाहित हो गई। लेकिन अब तक यहां भी कटान रोकने के लिए कोई उपाय नहीं किए गए हैं।
राजस्वकर्मी रख रहे हैं नजर
महसी के उपजिलाधिकारी नागेंद्र कुमार का कहना है कि नदी की कटान हो रही है। स्थिति गंभीर नहीं है। फिर भी राजस्वकर्मियों को नजर रखने के निर्देश दिए गए हैं। पल-पल की रिपोर्ट मिल रही है।