Jhansi: चुनाव में होने वाली बाइक रैलियों में धरे रह गए ट्रैफिक नियम

Jhansi News: हेल्मेट नहीं पहना किसी ने, ट्रैफिक सिग्नल की रैड लाइट की भी नहीं की परवाह।

Report :  Gaurav kushwaha
Update: 2024-05-19 05:33 GMT

बाइक रैलियों में धरे रह गए ट्रैफिक नियम  (photo: social media )

Jhansi News: चुनाव में होने वाली बाइक रैलियों में जमकर ट्रैफिक नियम टूटे। पार्टी के बड़े-बड़े झंडे, बाइक पर सवार तीन-तीन लोग, बाइक चालक का हेल्मेट नदारद रहे तथा चौराहे पर लगे ट्रैफिक सिग्नल की रैड लाइट की भी किसी को परवाह नहीं रही। ऐसे ही कुछ नजारे चुनावी माहौल में हर चौराहे पर देखने को मिले। दिन भर ट्रैफिक नियम तोड़े गए। ट्रैफिक पुलिस भी शांत मुद्रा में बाइक रैली में शामिल लोगों का हुड़दंग देखती रही। किसी को रोकने या टोकने की हिम्मत नहीं नेताजी के आदमी जो हैं। चालान का तो सवाल ही नहीं उठता।

बीते दो सप्ताह से दोनों राजनीतिक दलों द्वारा बाइक रैलियां निकली जा रहीं हैं। दरअसल, पैदल जनसंपर्क में सीमित क्षेत्र में बहुत ज्यादा समय लगता है साथ ही लोगों में थकान भी हो जाती है। ऐसे में ज्यादा से ज्यादा क्षेत्र कवर करने के लिए पार्टियों द्वारा बाइक रैलियां निकाली जा रहीं हैं।चुनाव का माहौल है, जब सब नियम टूट रहे हैं तो ट्रैफिक नियम कैसे अछूते रह सकते हैं। राजनीतिक दलों की बाइक रैलियां मानो नियम तोड़कर अपनी ताकत का प्रदर्शन करने के लिए ही आयोजित की गईं। एक-एक बाइक पर तीन-तीन युवा बैठकर हाथ से पर्चे हवा में उछालते हुए बुलंद आवाज में अपनी पार्टी और नेताजी की जिंदाबाद करते दिखाई पड़े तो आम नागरिक अवाक् सा देखता रह गया। रैली के समय चौराहे की जेब्रा लाइन और ट्रैफिक सिग्नल की लाल बत्ती की भी किसी ने परवाह नहीं की। सीसीटीवी कैमरों के सामने बाइकर्स का खूब हुड़दंग भी हुआ।

पेट्रोल खर्च के साथ पैसे भी

चुनावी बाइक रैली में हिस्सा लेने वाले चूंकि ज्यादातर युवा दिखे, ऐसे में इन बाइकर्स का पूरा ध्यान रखा गया। बाइक में पेट्रोल भरवाने के लिए निर्धारित पेट्रोल पंप की पर्ची दी गईं। रैली के बाद रैली संयोजक ने उन्हें लिफाफे भी थमाए। शाम को खाने-पीने का इंतजाम अलग से। यही वजह रही कि चुनावी बाइक रैलियों में बेरोजगार युवा इसी तरह के मौकों के इंतजार में ज्यादा दिखे।


कैमरे लगे फिर भी नहीं हुए ऑनलाइन चालान

महानगर के चौराहों पर लगे सीसीटीवी कैमरे हर वाहन चालक की गतिविधि पर निगाह रखते हैं। गाड़ी का नम्बर प्लेट तक की स्पष्ट तस्वीर ले लेते हैं। ट्रैफिक नियम का उल्लंघन होने पर सीधे वाहन चालक के पास ऑनलाइन चालान भेज दिए जाते हैं। बीते 11 माह में डेढ़ लाख वाहन चालकों के ऑनलाइन चालान हुए पर बाइक रैलियों के वक्त इन कैमरों ने मानो अपनी आंखें मूंद सी लीं। हर चौराहे पर ट्रैफिक नियम टूटे पर मजाल किसी के पास ऑनलाइन चालान पहुंचा हो।

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