Kanpur News: हादसे में बची जान तो लोगों को हेलमेट लगाने को कर रहे जागरूक हेलमेट बाबा

Kanpur News: हादसों को देख पुलिस ने यातायात माह में लोगों को जागरुक करने के लिए नए नए तरीके से लोगों को जागरुक कर रही है। इसी में मंगलवार को पुलिस ने बिठूर में कार्यक्रम का आयोजन किया।

Report :  Anup Pandey
Update: 2023-11-21 12:52 GMT

कानपुर में हेलमेट लगाने को कर रहे जागरूक हेलमेट बाबा (न्यूजट्रैक) 

Kanpur News: हादसों को देख पुलिस ने यातायात माह में लोगों को जागरुक करने के लिए नए नए तरीके से लोगों को जागरुक कर रही है। इसी में मंगलवार को पुलिस ने बिठूर में कार्यक्रम का आयोजन किया। इस कार्यक्रम में हेलमेट बाबा कानपुर पहुंचे। जिसको देख पहले लोग सोचे ये पागल कौन आ गया। लेकीन उसकी सोच को हर व्यक्ति सलाम करने लगा।

हेलमेट बाबा का बिठूर स्थित एक गांव में उनका कार्यक्रम किया गया। जहां पर पुलिस प्रशासन यातायात माह के चलते सैकड़ो लोगों को वहां बुलाया गया और हेलमेट बाबा के द्वारा वहां हेलमेट पहनकर निकले लोगों को जागरूक किया।

कौन हैं हेलमेट बाबा

ये कोई बाबा नहीं औरैया के रहने वाले रमेश कुमार प्रजापति है। जो पिछले 13 सालों से हेलमेट जरूर लगाने के लिए जागरुक कर रहे हैं। उनका कहना है कि बाइक में हेलमेट और कार में सीट बेल्ट जरूर लगाएं। यह आम आदमी 13 साल से लगातार जिलों में जाकर कार्यक्रमों के जरिए और सड़क पर निकलकर लोगों को हेलमेट लगाने के लिए जागरूक करता है। जिस पर राहगीरों ने इनका नाम हेलमेट बाबा रख दिया। और हेलमेट बाबा के नाम से जानें जाने लगे।

हेलमेट से बची थी इनकी जान

इनका 2010 में एक्सीडेंट हो गया था। उस दौरान बाइक चलाते समय हेलमेट लगाए हुए थे। उन्होंने कहा एक्सीडेंट के बाद जब उन्होंने सोचा कि अगर हेलमेट नहीं होता तो उनके परिवार और बच्चों का क्या होता है। हेलमेट था तो घर जिंदा आ गए। नहीं तो फिर क्या होता ईश्वर ही जानें।

2010 से चला दिया हेलमेट अभियान

2010 से लोगों को हेलमेट पहनने के लिए जागरूक करने का काम शुरू किया। बिना हेलमेट बाइक चलाने वालों को रोककर हेलमेट पहनने के फायदे बताते हैं। इस तरह से सफर शुरू हुआ। धीरे-धीरे पुलिस प्रशासन यातायात पुलिस और प्रशासन के लोग इनको देख हैरत में रह गए। और अपने यातायात नियम कार्यक्रम में लाने को सोचा। यातायात नियम के कार्यक्रमों में हेलमेट बाबा को पुलिस अधिकारी बुलाने लगे। हेलमेट बाबा की कहानी सुन लोग हेलमेट पहनने के लिए जागरूक हो जायेंगे और अपने परिवार की जिम्मेदारी को समझते हुए वह सुरक्षा के साथ सड़क पर वहां चला सके।

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