वकील मधुकर मिश्रा पुराने केस में सरेंडर कर गया जेल, बार एसोसिएशन ने किया निलंबित

यह केस 2015 में वजीरगंज थाने पर आईपीसी की धारा 147,323,325,427 तथा 406 के तहत दर्ज हुआ था। इसमें आरोप पत्र दाखिल हो चुका है।

Update: 2019-03-11 14:57 GMT

लखनऊ: ओमेक्स रेजीडेंसी में कोयला व्यवसायी अंकित अग्रहरि के फ्लैट में डकैती डालने वालों में कथित रूप से शामिल पेशे से वकील अभियुक्त मधुकर मिश्रा सोमवार को विशेष मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट हिमांशु दयाल श्रीवास्तव की अदालत में एक पुराने केस में सरेंडर कर जेल चला गया ।

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दूसरी ओर सेंट्रल बार असेासियेशन ने वकील मधुकर मिश्रा के इस प्रकार जघन्य कांड में शामिल होने पर कड़ा संज्ञान लेते हुए उन्हें केस की विवचेना चलते रहने तक बार की सदस्यता से निलंबित कर दिया है। बार के अध्यक्ष आदेश कुमार सिंह की अध्यक्षता व महामंत्री संजीव पांडे के संचालन में हुई बार की बैठक में यह निर्णय लिया गया। संयुक्त मंत्री प्रकाशन अनिल कुमार मिश्रा ने बताया कि यदि विवेचना में मधुकर देाषी पाये जाते हैं तो बार से उनकी सदस्यता समाप्त कर दी जायेगी।

मिश्रा का नाम डकैती कांड में सामने आने पर पुलिस ने उसे पकड़ने के लिए दबाव बनाना प्रारम्भ कर दिया था। पुलिस की गिरफत से बचने के लिए मिश्रा ने सोमवार को वजीरगंज थाने से जुडे एक पुराने केस में सरेंडर की अर्जी डाल दी। यह केस 2015 में वजीरगंज थाने पर आईपीसी की धारा 147,323,325,427 तथा 406 के तहत दर्ज हुआ था। इसमें आरोप पत्र दाखिल हो चुका है।

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मिश्रा इस केस में हाजिर नहीं हेा रहा था जिसके चलते उसके खिलाफ वांरट जारी कर दिया गया था। डकैती के केस मे गिरफतारी से बचने के लिए मिश्रा इसी केस में अदालत मेे हाजिर होकर जेल चला गया।

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