मायावती के भाई आनंद कुमार मुश्किल में, कोर्ट ने दिया केस दर्ज करने का आदेश

Update:2017-05-05 18:52 IST
मायावती के भाई आनंद कुमार मुश्किल में, कोर्ट ने दिया केस दर्ज करने का आदेश

नोएडा: बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के हाल ही में उपाध्यक्ष बनाए गए पार्टी की अध्यक्ष और पूर्व सीएम मायावती के भाई आनंद कुमार के खिलाफ एक महिला ने धोखाधड़ी का मामला दर्ज कराया है। दर्ज प्राथमिकी के अनुसार आनंद कुमार ने महिला से 13 लाख 70 हजार रुपए की धोखाधड़ी की थी। इस मामले में आनंद कुमार के अलावा राजीव शर्मा सहित कई अन्य के खिलाफ केस दर्ज का आदेश कोर्ट ने दिया है।

गौमतबुद्धनगर के एडिशनल न्यायिक मजिस्ट्रेट ने मंजू जोशी की याचिका पर भारतीय दंड विधान की धारा- 156 (3) के तहत मुकदमा दर्ज करने का आदेश दिया। मंजू जोशी ने आरोप लगाया है कि 'आनंद कुमार ने खुद को एलेक्सर ब्यूलकान प्राइवेट लिमिटेड और इमपेल इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड का निदेशक बताया। फ्लैट की बुकिंग के लिए उन्होंने 13 लाख 70 हजार रुपए लिए।' कोर्ट ने सूरजपुर थाना को धारा- 420, 468, 471, 504, 506 के तहत दर्ज करने के आदेश दिए हैं।

ये है पूरा खेल:

ग्रेटर नोएडा के सेक्टर-जीटा-1 स्थित आम्रपाली ग्रेंड में रहने वाले राजेंद्र कुमार शर्मा दिल्ली स्टेट इंडस्ट्रीयल एंड इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट कारपोरेशन में कार्यरत थे। 2014 में उनकी सेवानिवृत्ति हो गई। राजेंद्र कुमार शर्मा की पत्नी मंजू शर्मा ने आरोप लगाया कि सेवानिवृत्ति के बाद उनके पति ने फ्लैट खरीदने का फैसला लिया। इस दौरान उनकी मुलाकात दीपक गुप्ता से हुई। दीपक ने उनकी मुलाकात नोएडा प्राधिकरण के कंसल्टेंट बताकर राजीव शर्मा से कराई। उन्होंने राजेंद्र कुमार को सस्ते में फ्लैट दिलाने का वादा किया।

आगे की स्लाइड में पढ़ें पूरे मामले को...कब, क्या हुआ

फ्लैट की कुल कीमत 53 लाख बताई

राजीव शर्मा ने खुद को यूपी पूर्व सीएम मायावती के भाई आनंद कुमार का कंपनी का पाटर्नर बताया। इस दौरान उन्हें नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेस- वे पर सेक्टर-150 में उन्हें फलैट दिखाया गया। कोरस प्रोजेक्ट में बुक भी करा दिया। इस फ्लैट की कुल कीमत 53 लाख 48 हजार रुपए बताई गई।

चेक और नकद में दिए 13 लाख रुपए

मंजू शर्मा का आरोप है कि दो मई 2014 को दीपक गुप्ता, राजीव शर्मा, उनकी पत्नी मोनिका व आनंद कुमार को 8 लाख रुपए का चेक पंजाब नेशनल बैंक का दिया। इसके अलावा 5 लाख 70 हजार रुपए नकद लिया गया। जिसकी उन्हें रसीद भी नहीं दी गई। बाद में इन लोगों ने कंपनी का नाम बदल दिया और राजेंद्र शर्मा और उनकी पत्नी को विश्वास में लिया कि कंपनी बदलने के बाद भी उन्हें फ्लैट मिलेगा।

फ्लैट वाली जगह पर मिला गड्ढा

मंजू शर्मा का आरोप है कि फ्लैट बुक कराने के बाद आज तक उन्हें कब्जा नहीं मिला। 2 अप्रैल को जिस जगह पर फ्लैट दिखाया गया वहां जाकर देखा तो कोई काम नहीं चल रहा था। मौके पर सिर्फ एक गडढा खोदकर छोड़ दिया गया। मंजू व उनके पति राजेंद्र ने जब फ्लैट को लेकर प्राधिकरण से जानकारी ली, तो पता चला कि जिस जगह पर उन्हें जमीन दिखाई गई थी वह लोजिक्स कंपनी के नाम पर है। प्राधिकरण उनका आवंटन निरस्त कर चुका है।

थाने और एसएसपी तक ने नहीं की कार्रवाई

मंजू ने जब दीपक गुप्ता व उनके साथियों से ब्याज सहित पैसा वापस मांगा तो कुछ लोगों को घर भेजकर जान से मारने की धमकी दी गई और रसीद वापस देने के लिए दबाव डाला। मंजू ने जब इसकी शिकायत संबंधित थाने और एसएसपी से की तो कारवाई नहीं हुई। इसके बाद उन्होंने अपने वकील के माध्यम से अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट के यहां आवेदन कर 153 (3) के तहत मामला दर्ज कराने का अनुरोध किया। कोर्ट ने सुनवाई के बाद सूरजपुर कोतवाली पुलिस को मामला दर्ज कर सात दिन के भीतर न्यायालय को सूचित करने का निर्देष दिया।

Tags:    

Similar News