Moradabad: पुलिस ने 3 साइबर ठगों को दबोचा, इंस्टाग्राम अकाउंट के जरिए बनाते थे शिकार...जीते हैं आलीशान जिंदगी

Moradabad News: ठग साइबर फ्रॉड के इस धंधे के अलावा महादेव बेंटिंग ऐप का भी इस्तेमाल करते हैं। इससे भी सभी मोटी रकम ऐंठ लेते हैं। इन लोगों ने साइबर फ्रॉड के पैसे से आलीशान घर बना रखे हैं। महंगी-महंगी गाड़ियां भी खरीद रखी हैं।

Report :  Sudhir Goyal
Update: 2024-02-06 11:05 GMT

पुलिस गिरफ्त में आरोपी (Social Media) 

Moradabad News: मुरादाबाद जिले के साइबर क्राइम थाना पुलिस ने तीन साइबर ठगों को गिरफ्तार किया। ये ठग लोगों को इंस्टाग्राम, महादेव बेटिंग ऐप सहित अन्य सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर इन्वेस्टमेंट के नाम पर तथा अन्य कई प्रकार के प्रलोभन देकर ठगते थे। ठग अलग-अलग खाते में पैसे लेते थे। अब तक ये तीनों एक करोड़ रुपए से ज्यादा की ठगी कर चुके हैं।

मास्टरमाइंड बिहार का, काफी पढ़ा-लिखा है ठग

पुलिस ने बताया कि, तीनों अभियुक्त ठगे गए रकम का इस्तेमाल नए मकान खरीदने और महंगे शौक पूरा करने में करते थे। गिरफ्तार अभियुक्तों में मास्टरमाइंड आलोक कुमार झा, नितिन निर्माण और सोनू कुमार उर्फ मैथ हैं। आलोक कुमार मूल रूप से बिहार के मधुबनी का रहने वाला है। ये करीब 15 वर्षों से नई दिल्ली में थाना डाबरी क्षेत्र के आरजीसीडी, 129/30 महावीर एंक्लेव पालम शिव शक्ति अपार्टमेंट में रहकर अवैध कार्य में शामिल रहा है। साइबर फ्रॉड का मास्टरमाइंड आलोक कुमार झा दिल्ली में ही कॉमर्स से पोस्ट ग्रेजुएशन की शिक्षा प्राप्त कर रहा था। जबकि, इसके सहयोगी नितिन निर्माण पुत्र दिले सिंह नई दिल्ली के थाना पटेल नगर करोल बाग क्षेत्र के टी-650 एल-4 बी-1 बलजीत नगर का और सोनू कुमार उर्फ मैथ पुत्र दिनेश नई दिल्ली में ही पटेल नगर क्षेत्र की टी- 2868 गली नगर 21-ए बलजीत नगर विश्वकर्मा मार्ग पर रहते थे।

एसपी ने ये बताया 

एसपी क्राइम सुभाष चंद्र गंगवार (SP Crime Subhash Chandra Gangwar) ने बताया कि, 'गिरफ्तार किए गए अभियुक्तों ने रामपुर मिलक की रहने वाली दिव्या से कुल 8 लाख रुपए ठगे थे। यह धनराशि उन लोगों ने इंस्टाग्राम पर इन्वेस्टमेंट का झांसा देकर विभिन्न खातों में ट्रांसफर कर ली थी। इस मामले में पीड़िता ने पिछले साल साइबर क्राइम थाने पर मामला दर्ज कराया था। प्रकरण संज्ञान में आने के बाद पुलिस पूरे घटनाक्रम से पर्दा उठाने में जुटी थी। काफी कोशिशों के बाद सफलता हासिल हुई। तकनीकी संसाधनों का प्रयोग कर विवेचना में प्रभारी निरीक्षक साइबर क्राइम थाना धर्मेंद्र सिंह ने साक्ष्य एकत्रित किया तो पता चला कि दिव्या के साथ ठगी करने वाले आलोक कुमार झा और उसके सहयोगी ही हैं। ये अन्य राज्यों के रहने वाले हैं।

इंस्टाग्राम आईडी के जरिए ऐसे बनाते थे शिकार 

एसपी क्राइम ने ये भी बताया कि, 'पूछताछ में इन अभियुक्तों ने पुलिस को बताया है कि वो इंस्टाग्राम आईडी से लोगों को ऑनलाइन ठगी का शिकार बनाते हैं। इन्वेस्टमेंट करने के नाम पर लोगों से मोटी रकम ठगते हैं। ये साइबर फ्रॉड वो आपस में मिलकर करते हैं। इस धंधे से अभियुक्तों व उनके अन्य साथियों ने अब तक कई करोड़ रुपयों की ठगी कर चुके हैं। अभियुक्तों ने बताया है कि वो सबसे पहले इंस्टाग्राम पर फर्जी आईडी बनाकर लोगों को लुभावने लालच देकर अपने झांसे में फंसाते हैं। फर्जी बैंक खाता व सिम की व्यवस्था सोनू उर्फ मैथ करता है, हमारे साथ साइबर फ्रॉड का यह धंधा विक्की भी करता है, जो औरंगाबाद का रहने वाला है।'

आलीशान घर, महंगी गाड़ियां और मौज की जिंदगी

एसपी क्राइम गंगवार ने आगे बताया कि, 'ठग साइबर फ्रॉड के इस धंधे के अलावा महादेव बेंटिंग ऐप का भी इस्तेमाल करते हैं। इससे भी सभी मोटी रकम ऐंठ लेते हैं। इन लोगों ने साइबर फ्रॉड के पैसे से आलीशान घर बना रखे हैं। महंगी-महंगी गाड़ियां भी खरीद रखी हैं। अभियुक्तों ने पुलिस को बताया है. कि अब तक उन लोगों ने इस तरह साइबर फ्रॉड और महादेव बेंटिंग ऐप से एक करोड़ रुपए से भी अधिक धनराशि की ठगी कर चुके हैं और उस पैसे को अपने महंगे शौक में उड़ाया है। इस तरह इन अभियुक्तों ने इन्वेस्टमेंट और बेंटिंग के नाम पर कई व्यक्तियों के साथ धोखा करके धन कमाया है।

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