लखनऊ: ऐसा कहा जाता है कि यूपी में चुनावों के समय वोटर जातियों में बंट जाते हैं और सियासी दलों के नेता अपने सजातीय वोटरों को रिझाने में जुट जाते हैं। फिलहाल अभी चुनाव में समय है। पर इसके पहले राजधानी में एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है। सरोजनीनगर इलाके में एक ऐसी सपाई ग्राम प्रधान हैं, जिन्हें दलित अफसर पसंद नही हैं। उन्होंने अपने इलाके में दलित की बजाए पिछड़ा या सामान्य जाति का अफसर नियुक्त करने की मांग की है।
महिला ग्राम प्रधान ने सीडीओ को लिखा पत्र
राजधानी के सरोजनीनगर इलाके के ग्राम सभा भटगांव की महिला प्रधान ने सीडीओ लखनऊ को पत्र लिखकर कहा है कि उनकी ग्राम सभा पिछड़ी जाति बाहुल्य है। यहां ग्राम पंचायत सचिव अरविन्द चौधरी तैनात हैं जो अनुसूचित जाति के हैं। उनकी जगह पिछड़ा या सामान्य जाति का सचिव नियुक्त किया जाए।
सचिव बदले पर वह भी अनुसूचित जाति के तो फिर लिखा पत्र
बीते अप्रैल माह में सीडीओ ने ग्राम पंचायत सचिव अरविन्द चौधरी को ग्राम सभा भटगांव के हटा दिया और उनकी जगह आलोक चौधरी को तैनाती दी तो फिर महिला प्रधान ने सीडीओ को पत्र लिखकर साफ कहा कि अरविन्द चौधरी एससी जाति के थे और आलोक चौधरी भी इसी जाति से आते हैं।
पूर्व ग्राम पंचायत सचिव को तैनात करने की मांग
इसके बाद ग्राम प्रधान ने लिखा कि आलोक चौधरी को हटाकर उनकी जगह पूर्व में तैनात नरेन्द्र कुमार श्रीवास्तव को तैनात किया जाए। इस बारे में क्षेत्रीय विधायक सरोजनीनगर ने पहले ही निर्देश जारी कर दिए हैं।