Lucknow News: घर वापसी की मुहिम चलायेगी विहिप, 21 से 31 दिसम्बर तक चलेगा विशेष अभियान

Lucknow News: लव जिहाद अवैध मतांतरण का ही एक वीभत्स रूप है। प्रतिदिन लव जिहाद की घटनाएं प्रकाश में आ रही हैं। मुस्लिम बहुल इलाकों में इस प्रकार की घटनाएं ज्यादा हो रही हैं।

Report :  Network
Update:2022-12-18 12:49 IST

विश्व हिन्दू परिषद पूर्वी उत्तर प्रदेश क्षेत्र के क्षेत्र संगठन मंत्री गजेन्द्र सिंह (Pic: Social Media)

Lucknow News: विश्व हिन्दू परिषद (विहिप) 21 से 31 दिसम्बर तक मतांतरण के खतरे से समाज को जागरूक करने और घर वापसी के लिए विशेष अभियान चलायेगी। समाज जागरण के लिए गोष्ठी, सहभोज व संत यात्राओं का आयोजन किया जायेगा। नेपाल सीमा पर थारू जनजाति के बीच भी साधु संत प्रवास करेंगे।

विश्व हिन्दू परिषद पूर्वी उत्तर प्रदेश क्षेत्र के क्षेत्र संगठन मंत्री गजेन्द्र सिंह ने बताया कि जनसंख्या असंतुलन के कारण ही देश का बंटवारा हुआ। तेरह सौ वर्षों में भारत में 10 करोड़ हिंदुओं का नरसंहार हुआ, लगभग 10 करोड़ हिन्दुओं का जबरन मतांतरण हुआ। पहले मतान्तरण बल प्रयोग या लालच से होता था, परन्तु अब तकनीकी का उपयोग कर कई कुटिल तरीकों से मतांतरण किया जा रहा है। क्षेत्र संगठन मंत्री ने कहा कि लव जिहाद अवैध मतांतरण का ही एक वीभत्स रूप है। प्रतिदिन लव जिहाद की घटनाएं प्रकाश में आ रही हैं। मुस्लिम बाहुल्य इलाकों में इस प्रकार की घटनाएं ज्यादा हो रही हैं।

भारतवर्ष लगभग 1300 वर्षों से धर्मान्तरण के आक्रमण से पीड़ित है। 712 ईस्वी में मोहम्मद बिन कासिम ने सिन्ध पर पहला आक्रमण किया था। स्वामी विवेकानंद, स्वामी दयानंद, महात्मा गाँधी, डॉ. भीमराव अंबेडकर ने मतांतरण पर चिंता व्यक्त की थी। विहिप के क्षेत्र संगठन मंत्री ने बताया कि जिन उद्देश्यों को लेकर विश्व हिन्दू परिषद की स्थापना हुई थी उनमें एक उद्देश्य 'घर वापसी भी है। घर-वापसी यानि जो भाई-बहन लोभ एवं भय के कारण या जोर जबर्दस्ती से विधर्मी बना लिया, उन्हें अपने मूल हिन्दू धर्म में वापस लाना ही घर-वापसी है।

गजेन्द्र जी ने बताया कि एक जनहित याचिका की सुनवाई करते समय सर्वाेच्च न्यायालय ने अवैध मतांतरण के दुष्परिणामों पर चिंता व्यक्त करते हुए चेतावनी दी है कि यह धार्मिक स्वतंत्रता के मूलभूत अधिकार और राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा हो सकता है। कोर्ट ने केंद्र सरकार को निर्देश भी दिए कि वे स्पष्ट रूप से बताएँ कि इस समस्या के समाधान के लिए क्या कदम उठाएंगे। पिछले काफी समय से अवैध मतांतरण में संलग्न शक्तियों की आक्रामक रणनीतियाँ और उनके दुष्परिणाम सामने आ रहे हैं। 

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