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बिहार में कोरोना और बाढ़ की दोहरी मार, सारण बांध टूटने से हालात भयावह

बिहार के लोग इन दिनों कोरोना और बाढ़ की दोहरी मार से बेहाल है। राज्य में कोरोना का कहर लगातार बढ़ता जा रहा है और शनिवार को 2800 से ज्यादा मामले सामने आए हैं।

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Published on: 25 July 2020 10:12 PM IST
बिहार में कोरोना और बाढ़ की दोहरी मार, सारण बांध टूटने से हालात भयावह
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अंशुमान तिवारी

पटना: बिहार के लोग इन दिनों कोरोना और बाढ़ की दोहरी मार से बेहाल है। राज्य में कोरोना का कहर लगातार बढ़ता जा रहा है और शनिवार को 2800 से ज्यादा मामले सामने आए हैं। राज्य में अब तक कोरोना के करीब साढ़े 36000 मामले सामने आ चुके हैं। दूसरी ओर राज्य में गंडक, बागमती और अधवारा नदियों में उफान के कारण 10 जिलों में 10 लाख से ज्यादा की आबादी बेहाल है। गोपालगंज जिले में सारण बांध दो जगह टूट जाने के कारण कई नए इलाकों में बाढ़ का खतरा पैदा हो गया है। जिले के बैकुंठपुर में गई जमींदारी बांध भी दो स्थानों पर टूट गया है।

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विपक्ष का नीतीश पर बड़ा हमला

राज्य में कोरोना के बढ़ते संक्रमण के कारण विपक्ष ने नीतीश सरकार पर बड़ा हमला बोला है। भारतीय जनता पार्टी के पूर्व नेता और बिहार में तीसरा मोर्चा बनाकर चुनाव लड़ने की योजना बना रहे पूर्व वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर तंज कसते हुए कहा है कि हेलो मिस्टर सीएम, आप कहां हैं?

तेजस्वी ने कसा नीतीश और मोदी पर तंज

नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने भी नीतीश सरकार द्वारा कोरोना का संक्रमण रोकने के लिए किए जा रहे उपायों पर सवाल खड़े किए हैं। उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी को ट्विटर पर जवाब देते हुए तेजस्वी ने कहा कि लालू जी ने 15 वर्ष पहले आपको बेहतरीन हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर सौंपा था, लेकिन आपने और नीतीश कुमार ने 15 वर्ष में सब सत्यानाश कर दिया। हालत यह हो गई है कि आपके शासन में बिहार के सरकारी अस्पतालों में रुई और सुई के अलावा कुछ नहीं मिलता।

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बाढ़ से 10 जिलों में गंभीर हालात

कोरोना के साथ ही बाढ़ के कहर ने भी बिहार के लोगों को बेहाल कर रखा है। 10 जिलों में बाढ़ के कारण भयावह स्थिति है और ग्रामीणों को तमाम दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। दरभंगा में लगातार बारिश और जिले में बहने वाली विभिन्न नदियों के जलस्तर में लगातार बढ़ोतरी से बाढ़ की स्थिति गंभीर होती जा रही है। दरभंगा-समस्तीपुर रेल खंड पर ट्रेनों की आवाजाही बंद कर दी गई है। इस रेलखंड पर बने पुल के लेवल तक बाढ़ का पानी पहुंच जाने के बाद ट्रेनों का आवागमन बंद करने का फैसला लेना पड़ा है।

एनडीआरएफ की टीमों को लगाया

गोपालगंज में भी बाढ़ के कारण हालत काफी गंभीर हो गए हैं। जिले में गंडक की बाढ़ के कारण 65 गांव बाढ़ से बुरी तरह घिरे हुए हैं। बरौनी और मांझा के सुदूर इलाकों में सैकड़ों लोग बाढ़ के पानी में गिरे हुए हैं। इलाके में एनडीआरएफ की 8 टीमों को लगाया गया है। एनडीआरएफ की टीमें रेस्क्यू ऑपरेशन में जुटी हुई हैं। नाव व मोटरबोट के जरिए लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा रहा है।

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लगातार बारिश से नदियों का रौद्र रूप

पश्चिमी चंपारण जिले में भी लगातार हो रही बारिश के कारण नदियों ने रौद्र रूप धारण कर लिया है। निचले इलाकों में रहने वाले लोगों के लिए बाढ़ आफत बनकर आई है। यहां भी लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने की मुहिम चल रही है।

मुजफ्फरपुर, किशनगंज और मधुबनी में भी बाढ़ में फंसे लोगों के लिए लगातार हो रही बारिश ने दिक्कतें बढ़ा दी हैं। इन जिलों में तमाम स्थानों पर कटान के कारण स्थिति काफी गंभीर हो गई है। तमाम स्थानों पर कच्चे घर और उपजाऊ जमीन बाढ़ के पानी में समा चुकी है।

खाना पहुंचाने के लिए वायुसेना की मदद

बाढ़ में फंसे लोगों तक खाना पहुंचाने के लिए वायुसेना के हेलीकॉप्टरों की मदद ली गई है। वायुसेना के तीन हेलीकॉप्टर बाढ़ पीड़ितों तक खाना बचाने की मुहिम में जुटे हुए हैं। दो हेलीकॉप्टरों को दरभंगा और मोतीहारी के बीच राहत कार्य में लगाया गया है जबकि एक हेलीकॉप्टर पटना से गोपालगंज के बीच में राहत सामग्री पहुंचाने की कोशिश में जुटा हुआ है। कम्युनिटी किचन के माध्यम से भी बाढ़ पीड़ितों तक खाना पहुंचाने की कोशिश की जा रही है।

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