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सीमा पर तनाव: भारतीय विदेश मंत्रालय का बड़ा बयान, चीन ने साजिश की थी हिंसा

15 जून को हुई गलवान घाटी में चीनी झड़प पर विदेश मंत्रालय ने कहा है कि तनाव कम करने के लिए चीन से बातचीत हुई थी। 6 जून को बैठक भी हुई थी। लेकिन 15 जून की रात चीन ने जो हरकत की। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने कहा कि भारत अपनी संप्रभुता से समझौता नहीं करेगा।

suman
Published on: 18 Jun 2020 3:01 PM GMT
सीमा पर तनाव: भारतीय विदेश मंत्रालय का बड़ा बयान, चीन ने साजिश की थी हिंसा
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नई दिल्ली : भारत-चीन के बीच विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। सीमा विवाद को सुलझाने को लेकर हो रही बातचीत के बीच चीन की ओर से शर्मनाक हरकत ने उसके मंसूबों की पोल खोल दी है। 15 जून को हुई गलवान घाटी में चीनी झड़प पर विदेश मंत्रालय ने कहा है कि तनाव कम करने के लिए चीन से बातचीत हुई थी। 6 जून को बैठक भी हुई थी। लेकिन 15 जून की रात चीन ने जो हरकत की। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने कहा कि भारत अपनी संप्रभुता से समझौता नहीं करेगा।

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विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने कहा कि चीन की तरफ से सुनियोजित तरीके से यह कार्रवाई की गई, जिसकी वजह से हिंसा हुई और दोनों ओर के लोग घायल हुए। उन्होंने कहा कि भारत की सभी गतिविधि अपनी सीमा के अंदर होती है, चीन से भी हम ऐसी ही उम्मीद करते हैं। भारत अपनी संप्रभुता से समझौता नहीं करेगा। विदेश मंत्रालय ने कहा कि दोनों पक्ष एक दूसरे के संपर्क में हैं।

इससे पहले प्रेस कॉन्फ्रेंस में मौजूद सेक्रेटरी विकास स्वरूप ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) का 8वीं बार अस्थाई सदस्य बनने पर अफगानिस्तान का धन्यवाद किया। उन्होंने कहा कि उम्मीदवारी वापस लेने के लिए भारत अफगानिस्तान को धन्यवाद देता है। भारत का अस्थाई सदस्य बनना अफगानिस्तान के इस कदम के कारण हो पाया है। उन्होंने कहा कि भारत का दो साल का कार्यकाल जनवरी 2021 में शुरू होगा। भारत उनकी आवाज होगा जो सुरक्षा परिषद में प्रतिनिधित्व नहीं करते हैं।

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क्या पाकिस्तान के सवाल पर कहा कि वो हमेशा से बहुपक्षीय मुद्दों में हमेशा द्विपक्षीय मुद्दों को उठाते हैं। भारत की विदेश नीति हमेशा से मजबूत रही है। संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के सदस्य के रूप में हमारा ध्यान अधिक व्यापक और वैश्विक है।चीन के मसले पर भी ही जल्द समाधान निकाल लिया जाएगा।

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