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अफवाहों को करके दरकिनार, डेढ़ साल बाद बुराड़ी हाउस फिर हो गया गुलजार

डेढ़ साल बाद दिल्ली  के बुराड़ी हाउस को किरायादार मिल गया है। इस घर में एक जुलाई, 2018 के दिन 11 लोगों ने सामूहिक आत्महत्या  कर ली थी। परिवार के 10 सदस्य फांसी से लटके पाए गए थे, वहीं 77 साल की एक बुजुर्ग महिला का मृत शरीर दूसरे कमरे में बेड पर पड़ा मिला था।

suman
Published on: 29 Dec 2019 3:56 AM GMT
अफवाहों को करके दरकिनार, डेढ़ साल बाद बुराड़ी हाउस फिर हो गया गुलजार
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नई दिल्ली डेढ़ साल बाद दिल्ली के बुराड़ी हाउस को किरायादार मिल गया है। इस घर में एक जुलाई, 2018 के दिन 11 लोगों ने सामूहिक आत्महत्या कर ली थी। परिवार के 10 सदस्य फांसी से लटके पाए गए थे, वहीं 77 साल की एक बुजुर्ग महिला का मृत शरीर दूसरे कमरे में बेड पर पड़ा मिला था। इस सामूहिक आत्महत्या कांड को लोग शायद ही कभी भूल पाएंगे। जिस मकान में यह वारदात हुई, लोग उसके सामने से गुजरने से भी कतराते हैं। घटना के बाद से न तो कोई इस मकान को खरीदने के लिए तैयार था और न ही कोई इसे किराए पर लेना चाहता था। अफवाहों और डरावनी बातों के चलते करीब डेढ़ साल से यह घर खाली पड़ा था, लेकिन अब एक शख्स ने हिम्मत दिखाते हुए इसे किराए पर लेने का फैसला कर लिया है।

जिसने इस घर को किराए पर लेने की सोची है, उस शख्स का नाम मोहन सिंह कश्यप है। उनकी इस बिल्डिंग के ग्राउंड फ्लोर पर पैथलॉजी लैब बनाने और पहले मंजिल पर परिवार के साथ रहने की योजना है। आज रविवार को यह घर डेढ़ साल बाद फिर से गुलजार हो जाएगा। लेकिन अब हिम्मत करके एक डॉक्टर फैमिली आज से किराएदार के रूप में यहां रहने लगेगी।ये यहां अपनी पैथोलॉजी लैब भी चलाएंगे। मोहन सिंह का कहना है कि वो उस घर के बारे में फैली डरावनी बातें जानते हैं। उन्होंने बताया कि सपरिवार प्रवेश करने से पहले वो उस घर में हवन करवाएंगे। माना जाता है कि हवन करने से घर शुद्ध हो जाता है और वहां नकारात्मकता समाप्त हो जाती है।

इस शख्स ने दी इसमें रहने की सलाह

बुराड़ी निवासी वीरेंद्र त्यागी बताते हैं कि उनका मकान उसी गली में है, जहां के घर में 11 लोगों ने एक साथ आत्महत्या की थी। उनके कहने पर ही डॉक्टर मोहन सिंह कश्यप ने दिनेश सिंह चूंडावत के मकान को 25 हजार रुपये महीना किराए पर लिया है। मूल रूप से उत्तराखंड के रुद्रपुर के रहने वाले मोहन सिंह का परिवार फिलहाल उत्तर-पूर्वी दिल्ली के भजनपुरा इलाके में रहते थे। इनके परिवार में पत्नी कृष्णा देवी, 11 और 5 साल की दो बेटियां, 8 साल का बेटा और भाई सोनू (26) हैं

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परिवार को उस घर में रहने में कोई दिक्कत तो नहीं है, इस सवाल पर मोहन ने बताया कि मेरे बच्चे इस घर में पहले से आते-जाते रहे हैं, वो यहां ट्यूशन पढ़ते थे। खास बात है कि मोहन का परिवार बुराड़ी के इस इलाके से पहले से परिचित हैं क्योंकि मोहन की दुकान फिलहाल उस घर के पास ही है।उनके बच्चे भी पास के ही स्कूल में पढ़ते हैं।

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अभी मोहन सिंह कश्यप बुराड़ी से कुछ किलोमीटर दूर भजनपुरा में रहते हैं। वो लंबे समय से दुकान के पास ही घर लेने की सोच रहे थे, यही सोचकर उन्होंने यह घर किराये पर लिया है। इस घर का मालिकाना हक मृत परिवार के रिश्तेदार दिनेश चूंडावत पर है। कोई किराएदार के रूप में वहां रहने आ रहा है, इस बात पर उन्होंने खुशी जाहिर की है।

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