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Arvind Kejriwal: केंद्र के अध्यादेश पर बोले सीएम केजरीवाल, कहा- अफसरशाही सरकार के अंदर होनी चाहिए

Arvind Kejriwal: पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने ट्वीट करते हुए कहा, 'अगर भारतीय संविधान में लोकतंत्र के कातिलों को सजा का प्रावधान होता तो पूरी भाजपा को फांसी की सजा हो सकती थी। शनिवार को इसे लेकर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल प्रेस कॉन्फ्रेंस की।

Hariom Dwivedi
Published on: 20 May 2023 3:37 PM GMT (Updated on: 20 May 2023 5:12 PM GMT)
Arvind Kejriwal: केंद्र के अध्यादेश पर बोले सीएम केजरीवाल, कहा- अफसरशाही सरकार के अंदर होनी चाहिए
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फोटो- अरविंद केजरीवाल (साभारा सोशल मीडिया)

Arvind Kejriwal: देश की राजधानी दिल्ली में अफसरों के तबादले और नियुक्ति का अधिकार उपराज्यपाल के पास ही होगा। केंद्र सरकार ने अध्यादेश के जरिये 11 मई के सुप्रीम कोर्ट के उस फैसले को पलट दिया है, जिसमें तबादले-नियुक्ति का अधिकार राज्य सरकार को दिया गया था। आदमी पार्टी बीजेपी के इस फैसले पर हमलावर है। पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने ट्वीट करते हुए कहा, 'अगर भारतीय संविधान में लोकतंत्र के कातिलों को सजा का प्रावधान होता तो पूरी भाजपा को फांसी की सजा हो सकती थी।' शनिवार को इसे लेकर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल चार बजे प्रेस कांफ्रेंस की। कहा कि अफसरशाही सरकार के अंदर होनी चाहिए।

'ये कोर्ट बंद होने के इंतज़ार में थे'

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने शनिवार (20 मई) को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर केंद्र पर निशाना साधा। सीएम केजरीवाल ने कहा, 'जिस दिन ये आदेश आया था, उसी दिन इन्होंने ये सोच लिया था कि अध्यादेश (Ordinance) लाकर इसे खत्म किया जाएगा। ये सारे के सारे कोर्ट के बंद होने का इंतजार कर रहे थे। पहले ले आते। लेकिन नहीं, ये कोर्ट बंद होने के इंतज़ार में थे। आखिर क्यों? इन्हें पता था कि ये असंवैधानिक अध्यादेश है।'

केजरीवाल- केंद्र सरकार SC को दे रही चुनौती

अरविंद केजरीवाल ने आगे कहा, 'ये लोग (बीजेपी) भी जानते हैं कि अध्यादेश कोर्ट में 5 मिनट नहीं चलेगा। ये दिल्ली के लोगों और जनतंत्र के साथ भद्दा मजाक है। ऐसा लगता है कि केंद्र सरकार सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) को सीधी चुनौती दे रही है कि, आप कुछ भी आदेश दें हम उस पर अध्यादेश लाकर पलट देंगे। ये चुनौती है कि अगर बीजेपी के अलावा किसी अन्य पार्टी को चुनोगे, तो हम उसे काम नहीं करने देंगे।'

वार-पलटवार

आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद व यूपी के पार्टी प्रभारी संजय सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक बार फिर साबित किया है कि वे एक तानाशाह हैं। वे लोकतंत्र, संविधान और सुप्रीम कोर्ट में यकीन नहीं रखते हैं। वहीं, प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कहा कि जिस तरह अरविंद केजरीवाल सरकार ने दिल्ली के शासन को बदनाम कर मनमानी करने का प्रयास किया है। उसके चलते केंद्र सरकार को ये अध्यादेश लाना पड़ा। भारतीय जनता पार्टी इसका स्वागत करती है।

अध्यादेश में क्या है?

केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में अफसरों के तबादले-नियुक्ति के लिए सिविल सेवा प्राधिकरण का गठन किया है। राज्य के मुख्यमंत्री इसके पदने अध्यक्ष होंगे जबकि प्रधान गृह सचिव पदेन सदस्य-सचिव होंगे। सदस्य मुख्य सचिव भी होंगे। बहुमत या सर्वसम्मति के आधार पर यही प्राधिकरण तबादले की सिफारिश करेगा, लेकिन अंतिम निर्णय उपराज्यपाल का होगा।

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