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मोदी सरकार की बड़ी तैयारी, बेचेगी इस हेरिटेज रेल लाइन को, हो रहा करोड़ों का घाटा

मोदी सरकार इन चार धरोहर को निजी हाथों में सौपने की तैयारी कर रही है। इस लिस्ट में पश्चिम बंगाल का सिलीगुड़ी दार्जिलिंग, महाराष्ट्र का नेरल माथेरान ट्रैक, तमिलनाडु का नीलगिरी रेलवे ट्रैक और कालका शिमला रेलवे लाइन को प्राइवेट कर रही है।

Shraddha Khare
Published on: 17 Feb 2021 8:18 AM GMT
मोदी सरकार की बड़ी तैयारी, बेचेगी इस हेरिटेज रेल लाइन को, हो रहा करोड़ों का घाटा
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मोदी सरकार की बड़ी तैयारी, बेचेगी इस हेरिटेज रेल लाइन को, हो रहा करोड़ों का घाटा photos (social media)

सोलन : कालका - शिमला ट्रैक हिमाचल प्रदेश की विश्व धरोहर के रूप में पहचान बनाने वाली अब निजी होने वाली है। आपको बता दें कि इस रेलवे लाइन को बने हुए 118 साल हो चुके हैं। इस कालका - शिमला रेलवे लाइन को ब्रिटिश के समय में बनाया गया था। केंद्र की मोदी सरकार इस विश्व धरोहर को निजीकरण करने की तैयारी में जुटी हुई है। जानकारी के मुताबिक कालका - शिमला हेरिटेज को सालाना 100 करोड़ रुपए का नुकसान देखने को मिल रहा है।

चार विश्व धरोहर हो रही प्राइवेट

केंद्र सरकार धीरे - धीरे सभी सरकारी चीजों को निजीकरण में तब्दील कर रही है। अब केंद्र सरकार की नजर देश की चार विश्व धरोहर पर है। मोदी सरकार इन चार धरोहर को निजी हाथों में सौपने की तैयारी कर रही है। इस लिस्ट में पश्चिम बंगाल का सिलीगुड़ी दार्जिलिंग, महाराष्ट्र का नेरल माथेरान ट्रैक, तमिलनाडु का नीलगिरी रेलवे ट्रैक और कालका शिमला रेलवे लाइन को प्राइवेट कर रही है।

कांग्रेस नेता कुलराकेश पंत जताई नाराजगी

कालका- शिमला रेलवे लाइन को प्राइवेट करने पर विपक्षीय पार्टी मोदी सरकार पर निशाना साध रही है। इस विश्व धरोहर को निजी होने पर कांग्रेस नेता विपत्ति जता रहे हैं। कांग्रेस नेता कुलराकेश पंत ने कहा कि रेलवे और सरकार के पास शायद इतने समझदार अधिकारी नहीं है जिसकी वजह से इन विश्व धरोहर को प्राइवेट किया जा रहा है। इसके बाद उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार सभी सरकारी धरोहरों को बेच रही है।

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यूनेस्को ने 2008 में विश्व धरोहर का दर्जा दिया

कालका - शिमला रेलवे लाइन को बने हुए 118 साल हो गए हैं। यह रेलवे लाइन ब्रिटिश सरकार में बनाई गई थी। आपको बता दें कि यूनेस्को ने 2008 में इस रेलवे लाइन को अंतर्राष्ट्रीय धरोहर के रूप में घोषित किया था। कालका - शिमला मार्ग पर करीब 300 छोटे - बड़े आकर्षक पुल बनाए गए हैं। इसके साथ 22 रेलवे स्टेशन और 103 सुरंगे बनाई गई है। को कालका से होते हुए शिमला पहुंचती है।

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