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ऐसा क्या करने जा रही है मोदी सरकार, मंत्रियों की बुलाई बैठक, शाह और नड्डा भी रहेंगे

मोदी सरकार से जुड़ी एक बड़ी खबर सामने आई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 21 दिसंबर को कैबिनेट मंत्रियों की बैठक बुलाई है। इसका मकसद विभागवार मंत्रियों के कार्यों की समीक्षा करना है।

Aditya Mishra
Published on: 15 Dec 2019 3:35 AM GMT
ऐसा क्या करने जा रही है मोदी सरकार, मंत्रियों की बुलाई बैठक, शाह और नड्डा भी रहेंगे
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नई दिल्ली: मोदी सरकार से जुड़ी एक बड़ी खबर सामने आई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 21 दिसंबर को कैबिनेट मंत्रियों की बैठक बुलाई है। इसका मकसद विभागवार मंत्रियों के कार्यों की समीक्षा करना है।

बताया जा रहा है कि इस दौरान कैबिनेट मंत्रियों से अपने-अपने मंत्रालयों पर प्रजेंटेशन देने के लिए कहा गया है। सूत्रों के मुताबिक जिन मंत्रियों का अपने विभाग में काम –काज को लेकर प्रदर्शन खराब रहा है। उन्हें उनका विभाग छिना जा सकता है। साथ ही मंत्रिमंडल से बाहर किया सकता है।

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सूत्रों के अनुसार इस बैठक में देश के गृह मंत्री अमित शाह, बीजेपी के कार्यकारी अध्यक्ष जेपी नड्डा और महासचिव (संगठन) बीएल संतोष बैठक में भाग ले सकते हैं। अगर जरूरत पड़ी तो कुछ नये मंत्रियों को मन्त्रिमंडल में भी शामिल किया जा सकता है।

ता दे कि 30 मई को दोबारा प्रधानमंत्री बनने के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने छह माह बीत जाने के बाद भी मन्त्रिमंडल में कोई बदलाव नहीं किया है। पिछले कार्यकाल में मई 2014 में उनके पद संभालने के बाद तीन बार फेरबदल किया गया।

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पहला फेरबदल 9 नवंबर, 2014 को और दूसरा 5 जुलाई, 2016 को, तीसरा फेरबदल 3 सितंबर 2017 को किया गया। पिछली सरकार में छह महीने के भीतर ही उन्होंने नौ नवंबर 2014 को मंत्रिमंडल में बदलाव किया था।

संविधान संशोधन के अनुसार किसी भी सरकार में मंत्रियों की संख्या लोकसभा की सदस्य संख्या जो कि 545 है, के 15 प्रतिशत से ज्यादा नहीं हो सकती।

बजट सत्र के पहले संभव है मोदी मंत्रिमंडल का विस्तार

मोदी मंत्रिमंडल का दूसरा विस्तार झारखंड चुनाव के बाद और बजट सत्र के पहले संभव है। जदयू ने सरकार में शामिल होने पर हामी भर दी है तो वाईएसआरसीपी से इस संबंध में विमर्श का सिलसिला शुरू किया गया है।

इस बीच टीडीपी ने नागरिकता संशोधन बिल के समर्थन में वोट देकर भाजपा से संबंध सुधारने की पहल की है। हालांकि भाजपा फिलहाल टीडीपी को भाव देने के मूड में नहीं है।

जदयू सूत्रों के मुताबिक विस्तार के संदर्भ में भाजपा की ओर से पहल की गई है। भाजपा का कहना था कि सरकार में शामिल न होने के कारण बिहार में दोनों दलों का गठबंधन कायम रहने पर संदेह जताया जा रहा है। चूंकि अगले साल ही राज्य में विधानसभा चुनाव है।

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Aditya Mishra

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