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Coromandel Express Accident: कुल 205 मृतकों की हुई शिनाख्त, बचे 83 शवों के सामने आ रहे कई दावेदार, अब डीएनए से होगी पहचान
Coromandel Express Accident Update: हादसे की भयावहता ने सबको झकझोड़ कर रख दिया है। बीते 20 सालों में देश ने ऐसा दर्दनाक रेल हादसा नहीं देखा। इस दुर्घटना ने कई परिवारों को हमेशा के लिए उजाड़ दिया।
Coromandel Express Accident Update: ओडिशा के बालासोर जिले में हुए भीषण रेल हादसे ने न केवल देश बल्कि पूरी दुनिया का ध्यान अपनी ओर खींचा है। इस भयानक हादसे में 288 लोगों की जिंदगियां एक झटके में समाप्त हो गईं। एक हजार से अधिक लोग जख्मी हुए। हादसे की भयावहता ने सबको झकझोड़ कर रख दिया है। बीते 20 सालों में देश ने ऐसा दर्दनाक रेल हादसा नहीं देखा। इस दुर्घटना ने कई परिवारों को हमेशा के लिए उजाड़ दिया। पीड़ितों को एक ऐसा जख्म दिया है, जो शायद ही कभी भर सके।
बालासोर के बहानगा बाजार रेलवे स्टेशन पर 2 जून शुक्रवार शाम को हुए हादसे में जान गंवाने वाले लोगों की शिनाख्त जारी है। हताहतों में कई राज्यों के लोग शामिल हैं। ओडिशा के मुख्य सचिव पीके जेना ने बताया कि अब तक 205 शवों की पहचान कर उनके परिजनों को सौंप दिया गया है। शेष 83 शवों की पहचान के लिए एम्स भुवनेश्वर और अन्य अस्पतालों रखा गया है।
शेष शवों के सामने आ रहे कई दावेदार
कोरोमंडल रेल हादसे में जान गंवाई वाले कई ऐसे लोग शामिल हैं, जिनकी बॉडी अभी तक नहीं मिली है। भुवनेश्वर में परिजन अपने परिचितों के शवों को खोजने के लिए इस अस्पताल से उस अस्पताल भटक रहे हैं। हालात ऐसे हैं कि एक-एक शव पर अब पांच-पांच लोग दावा ठोंकने लगे हैं। किसी को अपनी पत्नी का शव मिला लेकिन बच्चों का नहीं। किसी को भाई का शव मिला तो भतीजे का नहीं।
शवों पर एक से अधिक लोगों की दावेदारी को देखते हुए रेल प्रशासन ने अब डीएनए के जरिए मृतकों की शिनाख्त करने का निर्णय लिया है। अब जिस भी डेडबॉडी के एक से अधिक दावेदार होंगे, उनका डीएनए सैंपल लिया जाएगा और फिर उसे मृतक से मैच कराया जाएगा। डीएनए मैच करने पर ही डेड बॉडी सौंपी जाएगी।
सीबीआई जांच कहां तक पहुंची ?
ओडिशा रेल हादसे की जांच केंद्र सरकार ने रेल मंत्रालय की सिफारिश पर संघीय जांच एजेंसी सीबीआई को सौंप दी है। जांच एजेंसी ने मंगलवार से अपना काम शुरू भी कर दिया है। रेल हादसे की जांच के लिए बनाई गई टीम का नेतृत्व सीबीआई के संयुक्त निदेशक (विशेष अपराध) विपल्व कुमार चौधरी कर रहे हैं। कल यानी मंगलवार 6 जून को सीबीआई की जांच ने टीम दो बार घटनास्थल का दौरा किया। सीबीआई के अधिकारी सिग्नल रूम भी किए। इस दौरान उनके साथ रेलवे के अधिकारी भी मौजूद रहे। जानकारी के मुताबिक, जांच एजेंसी अनुसंधान के क्रम में रेल सुरक्षा विशेषज्ञों से भी विचार-विमर्श कर सकती है।
एक तरफ जहां सीबीआई ने हादसे की जांच करनी शुरू कर दी है, वहीं विपक्ष इस पर सवाल खड़े कर रहा है। पूर्व केंद्रीय रेल मंत्रियों ममता बनर्जी, पवन कुमार बंसल और कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने सरकार के इस कदम पर सवाल खड़े करते हुए कहा कि सीबीआई अपराध की जांच करती है, रेल दुर्घटना की नहीं। बंगाल सीएम ममता बनर्जी ने कहा कि ज्ञानेश्वरी एक्सप्रेस और सैंथिया दुर्घटना मामलों में सीबीआई ने जांच की थी, लेकिन इनका कोई निष्कर्ष नहीं निकला है।
ओडिशा के लोगों ने 1000 लोगों की जान बचाई
ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने कोरोमंडल रेल हादसे के शिकार लोगों की मदद के लिए अपने राज्य के लोगों की जमकर सराहना की है। उन्होंने कहा कि स्थानीय लोगों ने बालासोर रेल हादसे में 1000 से अधिक लोगों की जान बचाई है। स्थानीय लोगों के प्रयासों ने ओडिशा के लोगों की करूणा और मानवता को दुनिया के सामने पेश किया है।