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लो जी! हो गया बवालः अब इस फोन के बिन नहीं चलेगा पार्षदों का काम

ग्रेटर हैदराबाद नगर पालिका (GMCH) के पार्षद ब्रांड न्यू आईफोन 11 प्रो मैक्स फोन की डिमांड कर रहे हैं। बता दें कि इस फोन की कीमत सवा लाख से भी अधिक है।

Shreya
Published on: 8 Jun 2020 11:10 AM GMT
लो जी! हो गया बवालः अब इस फोन के बिन नहीं चलेगा पार्षदों का काम
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नई दिल्ली: ग्रेटर हैदराबाद नगर पालिका (GMCH) के पार्षद ब्रांड न्यू आईफोन 11 प्रो मैक्स फोन की डिमांड कर रहे हैं। बता दें कि इस फोन की कीमत सवा लाख से भी अधिक है। बीते दिनों GMCH के पार्षदों ने समिति के सामने यह प्रस्ताव रखा है। हालांकि अभी तक GMCH कमिश्नर ने पार्षदों के इस प्रस्ताव को हरी झंडी नहीं दिखाई है।

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ऑनलाइन निर्भरता बढ़ने की वजह से रखा प्रस्ताव

हैदराबाद के मेयर बोंथू राममोहन और डिप्टी मेयर बाबा फैसुद्दीन भी आईफोन की मांग करने वालो की लिस्ट में शामिल हैं। इस बारे में GMCH स्टैंडिंग कमिटी के सदस्य, TRS पार्षद और शेषागिरी ने बताया कि GMCH ई- गवर्नेंस मॉडल में स्विच होने के बाद से ही आईफोन का प्रस्ताव रखा है। हमने बेहतर फोन की डिमांड ऑनलाइन निर्भरता बढ़ जाने की वजह से की है।

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निकाय की शीर्ष संस्था है GMCH स्टैंडिंग कमिटी

बता दें कि GMCH स्टैंडिंग कमिटी, निकाय की शीर्ष संस्था है, जो कि पॉलिसी से रिलेटेड अहम फैसले लेती है। कमिटी में 15 पार्षद सदस्य हैं। GMCH 17 पार्षदों की ओर से आईफोन 11 प्रो मैक्स के रखे गए प्रस्ताव पर तकरीबन 21 लाख 35 हजार रुपये का अनुमानित खर्चा आएगा।

इस प्रस्ताव में कुछ भी नया नहीं है

मेयर ने इस डिमांड का समर्थन करते हुए कहा कि विधानसभा में भी चुने गए सदस्यों को मोबाइल मुहैया कराया जाता है, ऐसे में इस डिमांड में कुछ नया नहीं है। हालांकि पार्षदों द्वारा आईफोन की डिमांड करने का विरोध भी किया जा रहा है। एक्टिविस्ट रिद्धिमा वी. का कहना है कि कोरोना के इस मुश्किल दौर में आर्थिक समस्या बढ़ रही हैं।

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पार्षदों की डिमांड का किया जा रहा विरोध

इस संकट के दौर में कर्मचारियों की सैलरी और अन्य सुविधाएं काटी जा रही हैं। ऐसे में इस तरह का खर्च गैर जिम्मेदाराना है। GMCH की चार जून को हुई बैठक में प्रॉपर्टी टैक्स पर ब्याज की बकाया राशि के 800 करोड़ रुपये माफ करने का प्रस्ताव है। बीते दो महीने से लागू लॉकडाउन की वजह से आर्थिक नुकसान के चलते लिया गया यह फैसला किसी भी निकाय संस्था की ओर से अभी तक की सबसे बड़ी राहत है।

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