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Hardoi News: सीसीटीएनएस से कस रहा अपराधियों पर शिकंजा, इस थाने को मिला जिले में पहला स्थान

Hardoi News: पुलिस लाइन में रविवार को पुलिस अधीक्षक राजेश द्विवेदी ने जनपद के सभी कोतवाली के एसएचओ व थानों के थानाध्यक्ष के साथ पुलिस लाइन सभागार में अपराधों के नियंत्रण को लेकर एक बैठक की।

Pulkit Sharma
Published on: 9 April 2023 7:06 PM GMT
Hardoi News: सीसीटीएनएस से कस रहा अपराधियों पर शिकंजा, इस थाने को मिला जिले में पहला स्थान
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थाना हरियांव हरदोई पुलिस- Photo- Newstrack

Hardoi News: पुलिस लाइन में रविवार को पुलिस अधीक्षक राजेश द्विवेदी ने जनपद के सभी कोतवाली के एसएचओ व थानों के थानाध्यक्ष के साथ पुलिस लाइन सभागार में अपराधों के नियंत्रण को लेकर एक बैठक की। पुलिस अधीक्षक द्वारा सभी कोतवाली के एसएचओ व थाने के थानाध्यक्षों से उनके क्षेत्र में हुए क्राइम व राजस्व संबंधी शिकायतों को लेकर समीक्षा की और आवश्यक दिशा निर्देश दिए।

पुलिस अधीक्षक ने इस दौरान मामलों के शीघ्र निपटारे समेत अच्छा कार्य करने वाले थाने व कोतवाली को रेटिंग भी दी। पुलिस अधीक्षक राजेश द्विवेदी ने बताया कि हरियावा थाने को सीसीटीएनएस (क्राइम एंड क्रिमिनल ट्रैकिंग नेटवर्क एंड सिस्टम्स) में जनपद में पहला व प्रदेश में पंद्रह सौ थानो में से सौवाँ स्थान प्राप्त किया है। वहीं जनपद में हरियावा थाने ने आईजीआरएस में 13 वां स्थान प्राप्त किया है।

उत्कृष्ट रैंकिंग में आने पर जताई ख़ुशी

हरियावा थाना प्रभारी धर्मेंद्र गुप्ता ने बताया कि क्राइम एंड क्रिमिनल ट्रैकिंग नेटवर्क एंड सिस्टम् में थाने को जनपद में पहला व प्रदेश में सौवाँ स्थान प्राप्त होना और आईजीआरएस में जनपद को पंद्रवा स्थान मिलना यहां के कर्मचारियों के सामूहिक प्रयास का नतीजा है। कंप्यूटर ऑपरेटर शुभम श्रेष्ठ सहित इन अनुभागों में तैनात पुलिसकर्मियों को जनता के मामलों का शीघ्र निपटारा करने और अपराधियों को ट्रैक करने के लिए प्रशिक्षित किया गया है।

थानाध्यक्ष धर्मेन्द्र गुप्ता ने कहा कि उनका प्रयास आईजीआरएस की रैंकिंग में प्रथम स्थान लाने का है। इसके लिए अगर कुछ और सुधार या तेजी की जरूरत है तो उच्चाधिकारियों के निर्देशन में उसकी कोशिश की जाएगी। थाने में दर्ज हिस्ट्रीशीटरों पर समीक्षा और उनकी गतिविधियों की मॉनिटरिंग की जाती है।

राजस्व से संबंधित आईजीआरएस पर दोनों पक्षों को बुलाकर पहले आपसी समझौते का प्रयास रहता है, यदि कोई पक्ष नहीं मानता है तो राजस्व के अधिकारियों के सामने मामले की जाँच कर रिपोर्ट प्रस्तुत कर दी जाती है। प्रयास रहता है कि छोटे मामले आपसी रज़ामंदी से निपट जाएं, जिससे दोनों पक्षों के बीच मध्यस्था कर सुलह कराकर क्षेत्र में शांति व्यवस्था कायम रखी जा सके।

Pulkit Sharma

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