×

रूसी वैक्सीनः क्या भारत करेगा इस्तेमाल, दावा है संजीवनी होने का

 रूस ने कोरोना की वैक्सीन बना ली है और दुनियाभर के देश इसकी प्री-बुकिंग  भी करा रहे हैं। पूरी दुनिया के सामने जिस तरह से कोरोना का तांडव मचा है। वैसे में रूस की वैक्सीन संजीवनी के समान है।  11 अगस्त को रूस ने अपनी वैक्सीन दुनिया के सामने लाने की बात कर दी।

Suman  Mishra | Astrologer
Published on: 12 Aug 2020 11:15 AM IST
रूसी वैक्सीनः क्या भारत करेगा इस्तेमाल, दावा है संजीवनी होने का
X
रूसी कोरोना वैक्सीन

नई दिल्ली: रूस ने कोरोना की वैक्सीन बना ली है और दुनियाभर के देश इसकी प्री-बुकिंग भी करा रहे हैं। पूरी दुनिया के सामने जिस तरह से कोरोना का तांडव मचा है। वैसे में रूस की वैक्सीन संजीवनी के समान है। 11 अगस्त को रूस ने अपनी वैक्सीन दुनिया के सामने लाने की बात कर दी। इस वायरस के खिलाफ ये पहली वैक्सीन है, जिसे हरी झंडी मिली है, लेकिन इसके प्रभावशाली होने पर लगातार संदेह है ।

यह पढ़ें....मारा गया आतंकी: सुरक्षाबलों को मिली बड़ी कामयाबी, आतंकियों की ये साजिश नाकाम

20 करोड़ कोरोना वैक्सीन

रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने मंगलवार को एलान किया है कि रूस ने कोरोना वायरस की पहली वैक्सीन स्पुतनिक V बना ली है। उनका दावा है कि यह पहली सफल कोरोना वैक्सीन है। रूस के स्वास्थ्य मंत्रालय ने भी इसे मंजूरी दे दी है। रूसी वैक्सीन से संबंधित वेबसाइट ने दावा करते हुए उन देशों के नामों को बताया है, जिन्होंने स्पूतनिक वी को खरीदने में इच्छा जताई है। इसमें भारत, सऊदी अरब, इंडोनेशिया, फिलीपींस, ब्राजील, मैक्सिको आदि देश शामिल हैं। वेबसाइट का कहना है कि साल 2020 के अंत तक, 20 करोड़ कोरोना वैक्सीन के उत्पादन की योजना है। इसमें से 3 करोड़ डोज रूस खुद के लिए रखेगा।

russian corona vaccine प्रतीकात्मक

सबसे पहले हेल्थ वर्कर्स को वैक्सीन

रूस की सरकार के मुताबिक, वैक्सीन में दो अलग - अलग इंजेक्ट करने वाले घटक हैं इसलिए दोनों का टीका अलग - अलग वक्त पर लगाया जाएगा। इससे वायरस के खिलाफ रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ेगी।कोरोना वैक्सीन सबसे पहले हेल्थ वर्कर्स को दी जाएगी। उसके बाद वरिष्ठ नागरिकों , बच्चों और वयस्कों को दी जाएगी। उनका कहना है कि वैक्सीन ट्रायल में 100 प्रतिशत कारगर साबित हुई है।कोरोना से पहले सार्स और मार्स बीमारियों पर रिसर्च चल रहा था। कोरोना और सार्स एक ही फैमिली के होने की वजह से पहले की गई रिसर्च कोरोना वैक्सीन बनाने में मददगार साबित हुई है।

यह पढ़ें....कोरोना काल में भी जारी है इनका धंधा, पुलिस ने किया भंडाफोड़

अमेरिका ने जताया संदेह

रूसी वैक्सीन पर अमेरिका ने संदेह जताया है। पुतिन की घोषणा पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए अमेरिका के स्वास्थ्य मंत्री एलेक्स अजार ने कहा है कि कोविड-19 का पहला टीका बनाने की जगह कोरोना वायरस के खिलाफ एक प्रभावी और सुरक्षित टीका बनाना ज्यादा महत्वपूर्ण है। रूसी मीडिया के मुताबिक, रूस के नागरिकों को अभी मुफ्त में कोरोना वैक्सीन दी जाएगी। जबकि बाकी देशों के लिए इसकी कीमत तय होगी।

russian corona vaccine प्रतीकात्मक

भारत का क्या है विचार

रूस के वैक्सीन बनाने के दावे पर दुनिया के तीसरे सबसे ज्यादा प्रभावित देश भारत में भी इस वैक्सीन को उतारने से पहले सुरक्षा के लिहाज से इसके असर को आंका जाएगा। ये कहना है देश के सबसे बड़े अस्पताल एम्स के निदेशक डॉ रणदीप गुलेरिया का। डॉ. गुलेरिया ने कहा कि सफल वैक्सीन का टीका सुरक्षित होना चाहिए, यह पहला मानक है। सैंपल का आकार क्या है? यह कितना प्रभाव दिखा रहा है? हमें यह भी स्पष्ट करने की आवश्यकता है कि टीका सुरक्षित होना चाहिए। इसके बाद ही वैक्सीन पर विचार किया जा सकता है।

देश दुनिया की और खबरों को तेजी से जानने के लिए बनें रहें न्यूजट्रैक के साथ। हमें फेसबुक पर फॉलों करने के लिए @newstrack और ट्विटर पर फॉलो करने के लिए @newstrackmedia पर क्लिक करें।



Suman  Mishra | Astrologer

Suman Mishra | Astrologer

एस्ट्रोलॉजी एडिटर

मैं वर्तमान में न्यूजट्रैक और अपना भारत के लिए कंटेट राइटिंग कर रही हूं। इससे पहले मैने रांची, झारखंड में प्रिंट और इलेक्ट्रानिक मीडिया में रिपोर्टिंग और फीचर राइटिंग किया है और ईटीवी में 5 वर्षों का डेस्क पर काम करने का अनुभव है। मैं पत्रकारिता और ज्योतिष विज्ञान में खास रुचि रखती हूं। मेरे नाना जी पंडित ललन त्रिपाठी एक प्रकांड विद्वान थे उनके सानिध्य में मुझे कर्मकांड और ज्योतिष हस्त रेखा का ज्ञान मिला और मैने इस क्षेत्र में विशेषज्ञता के लिए पढाई कर डिग्री भी ली है Author Experience- 2007 से अब तक( 17 साल) Author Education – 1. बनस्थली विद्यापीठ और विद्यापीठ से संस्कृत ज्योतिष विज्ञान में डिग्री 2. रांची विश्वविद्यालय से पत्राकरिता में जर्नलिज्म एंड मास कक्मयूनिकेश 3. विनोबा भावे विश्व विदयालय से राजनीतिक विज्ञान में स्नातक की डिग्री

Next Story