Richest Farmers in India: भारत में सबसे अमीर किसान हैं यहां पर, अब पंजाब हरियाणा हुआ पीछे
Richest Farmers in India: ऐसा नहीं है कि केंद्र सरकार लेकर राज्य सरकारें किसानों की आय को लेकर चिंतत नहीं है, लेकिन जितनी चिंता लेनी चाहिए वह उतना ले नहीं रही हैं। बस यही एक वजह है कि देश के कई राज्यों के किसानों बहाली हालत में पड़े हुए हैं। वहीं, कई राज्य किसान ऐसे हैं जो अपनी जागरुकता के दम पर किसानी खेती से अच्छा पैसा कमा रहे हैं।
Richest Farmers in India: अगर आपसे कहा जाए कि आप कोई प्राइवेट नौकरी करेंगे या फिर खेती किसानी... तो आप में से अधिकांश लोग देश की किसानों की हालत देखते हुए नौकरी की ही चुनेंगे। लेकिन अगर ही बात भारत के एक राज्य लोगों से कही जाए तो वह 25 से 60 हजार रुपए वाली प्राइवेट नौकरी की जगह खेती किसानी को चुनेगा। इसमें दो राय नहीं है कि देश के किसानों के सामने सबसे बड़ी समस्या कम आय बनी हुई है। वह इन दौर में भी फसलों की बर्बादी, सूखा झेलना, खेती के पर्याप्त संसांधन न मिल पाना और फसलों का सही दाम न मिलना जैसे कई गंभीर समस्या से जूझ रहा है। यह किसी भी देश के अन्नदाता के लिए शोभा नहीं देती है। खास कर उस देश के लिए तो बिल्कुल शोभा नहीं देती,जो कृषि प्रधान देश हो और वो भी भारत हो।
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जानें किस किसान क्या है स्थिति
हालांकि ऐसा नहीं है कि केंद्र सरकार लेकर राज्य सरकारें किसानों की आय को लेकर चिंतत नहीं है, लेकिन जितनी चिंता लेनी चाहिए वह उतना ले नहीं रही हैं। बस यही एक वजह है कि देश के कई राज्यों के किसानों बहाली हालत में पड़े हुए हैं। वहीं, कई राज्य किसान ऐसे हैं जो अपनी जागरुकता के दम पर किसानी खेती से अच्छा पैसा कमा रहे हैं। इसमें यूपी की कुछ हिस्सा, पंजाब, हरियाणा और पूर्वोत्तर राज्य का एक राज्य शामिल हैं। यहां के किसान नौकरी से अपनी खेती करने पर ध्यान देता है और यह देश के सबसे खुशहाल किसान में गिने जाते हैं, जबकि पूर्वोत्त क्षेत्र का राज्य किसानी खेती से कमाई के मामले में पंजाब और हरियाणा के किसानों को कई मील दूर छोड़ हुए है। आज आपको बात दें कि पूर्वोत्त का वह कौन सा राज्य है, जो पंजाब व हरियाणा के किसानों को मात दिया है।
मेद्यालय का किसान सबसे अधिक होती है कमाई
कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय की एक रिपोर्ट के मुताबिक, भारत का मेद्यालय का किसान सबसे अमीर माना जाता है। यहां के राज्य की मासिक आय साल 2019 में 29,384 रुपए थी। यहां का किसान पूरी तरह जैविक खेती पर निर्भर है। जैविक खेती करने पर लागत कम आती है, खेती की मिट्टी अच्छी बनी रहती है, जिसकी वजह से फसल का उत्पादन अधिक होता है। इसके अलावा मेद्यालय का किसान अन्य फसलों की तुलना में सबसे अधिक बागवानी की फसल करता है और यह पारंपरिक बीजों को प्राथमिकता देता है। यही वजह है कि यहां का किसान देश के अन्य राज्यों के किसान से महीने में अधिक आय अर्जित करता है।
पानी निभाता महत्वपूर्ण भूमिका
वहीं, मेद्यालय का किसान चावल और मक्का की भी खेती काफी करता है। यहां पर अदरक का उत्पादन बड़े पैमाने में किया जाता है। वहीं, हल्दी की खेती होती है और यह भारत में बेहद खास हल्दी मानी जाती है। हर फसल के लिए पानी एक अहम घटक होता है। मेद्यालय के किसानों को इसके लिए चिंता करने की जरूरत नहीं होती है,क्योंकि यहां बारिश सबसे अधिक होती है, जिस वजह से खेती के लिए उसे प्राकृतिक पानी मिल जाता है, जो हर फसल के उत्पादन के लिए सबसे जरूरी होता है। राज्य में औसत बारिश 11,872 मिलीमीटर होती है, जोकि देश के किसी भी राज्य से सबसे अधिक है।
यूपी के किसान की स्थिति
इसके अलावा मासिक कमाई के मामले में भारत में दूसरे नंबर पर पंजाब राज्य है। यहां के किसान की मासिक आय 26,701 रुपये है और हरियाणा किसान की मासिक आय 22,841 रुपये है, जो यह देश में तीसरे नंबर पर है, जबकि यूपी का किसान प्रति माह 8,061 रुपये है। मासिक आय में देश में सबसे बुरा हाल झारखंड के किसान का है, यहां का किसान 4,895 रुपये मासिक कमाता है।