Bastar Movie: बस्तर मूवी देखने के बाद नहीं रोक पाएंगे आप अपने आँसू, जेएनयू में मना था इसका जश्न

Bastar The Naxal Real Story: फिल्म बस्तर में नक्सलियों द्वारा किए गए क्रूरता को दर्शाया गया है, जब 76 जवानों को बड़ी बेरहमी से मार दिया था, नक्सलियों ने...

Written By :  Shikha Tiwari
Update:2024-03-15 10:09 IST

Bastar The Naxal Story Movie Review

Bastar The Naxal Story Movie Review In Hindi: फिल्म बस्तर द नक्सल स्टोरी(Bastar The Naxal Story Movie) रिलीज से पहले ही विवादो में घिरी हुई थी। इस फिल्म का जब ट्रेलर रिलीज हुआ था, तबसे सबसे मन में यहीं सवाल था कि बस्तर द नक्सल स्टोरी मूवी कब रिलीज होगी। आज उनका इंतजार खत्म हो चुका है और फिल्म सिनेमाघरो में रिलीज हो चुकी है। फिल्म का हर एक सीन इतना दर्दनाक है, कि फिल्म के रिलीज होने से पहले सेंशर बोर्ड द्वारा फिल्म से 13 मिनट के सीन को कट करना पड़ा था। फिल्म में दिखाया गया है, कि कैसे नक्सलियों ने हमारे 76 जवानों को बेरहमीं से मौत के घाट उतारा था, इसके अलावा फिल्म में जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी (JNU)  के बारे में भी दिखाया गया है। तो वहीं फिल्म की मुख्य किरदार अदा शर्मा नहीं बल्कि ये अभिनेत्री है। चलिए जानते है, क्या खास है फिल्म की कहानी में..

बस्तर द नक्सल स्टोरी रिव्यू (Bastar The Naxal Story Review In Hindi)-

फिल्म बस्तर द नक्सल स्टोरी (Bastar The Naxal Story) का जब टीजर ही रिलीज हुआ था। तबसे ये फिल्म विवादों में घिर गई थी। ये फिल्म एक सच्ची घटना पर आधारित है। इससे पहले भी नक्सलियों पर कई सारी फिल्में बन चुकी है लेकिन बस्तर द नक्सल स्टोरी उन सबसे एकदम अलग है। इस फिल्म के निर्माता भी द केरल स्टोरी के निर्देशक ही है। बस्तर द नक्सल स्टोरी (Bastar The Naxal Story) में द केरल स्टोरी से घर-घर में प्रसिद्ध एक्ट्रेस अदा शर्मा (Adah Sharma) ने ऑफिसर नीरजा का किरदार बखूबी निभाया है। फिल्म का हर एक सीन आपके रौगटे खड़े कर देने वाला है। 

रायपुर के दक्षिण इलाके अभी भी विकास से मीलों दूर है। लोहे की खदानों में लगे लौह अयस्क के पहाड़ों को देखकर यहीं कहा जा सकता है कि यहाँ पर नक्सलवादियों का होना आम बात है। लेकिन कहीं ना कहीं इसके पीछे की सच्चाई ही कुछ और है, जिसे शायद ही कभी उजागर किया जाएंगा। यहाँ पर नक्सवादियों की वास्तविकता को कहीं ना कहीं वहाँ पर मौजूद कॉरपोरेट द्वारा भी बढ़ावा दिया जाता है क्योकि ऐसी धारणा है कि कुछ बड़े घराने इन इलाकों में दूसरे घरानों को कारोबार के लिए नहीं आने देना चाहते है। 


यहाँ मौजूद आदिवासिया आज भी अपनी जमीन व जंगलों को भगवान की तरह पूजते है। इन सबको पर एक अच्छी एक्शन थ्रिलर फिल्म बन सकती है। लेकिन विपुल शाह की फिल्म बस्तर द नक्सल स्टोरी (Bastar The Naxal Story Movie) में कहीं ना कहीं इन नक्सलवादियों का नाता आईएसआईएस, लश्कर ए तोइबा, लिट्टे जैसे अन्य आतंकवादी संगठनों के साथ दिखाया गया है। जिसे देखकर यहीं कहा जा सकता है, कि फिल्म बस्तर द नक्सल स्टोरी ((Bastar The Naxal Story Movie) को एक नए सिरे से लिखने की कोई की गई है। 

बस्तर द नक्सल स्टोरी की पूरी कहानी एक केस पर आधारित है (Bastar The Naxal Full Story In Hindi)-

बस्तर द नक्सल स्टोरी (Bastar The Naxal Story Movie) की पूरी कहानी नक्सलवादियों की क्रूरता व आदिवासियों के उत्पीड़न पर आधारित है। जिसमें अदा शर्मा (Adah Sharma) ने  महज एक ऐसी लेडी अफसर का किरदार निभाया है, जो छत्तीसगढ़ के बस्तर से नक्सलवादियों के आतंक का खात्मा करना चाहती है। फिल्म में मुख्स पीड़िता के रूप में इंदिरा तिवारी (Indira Tiwari) पर आधारित है। जिन्होंने कहानी में मुख्य रत्ना कश्यप का किरदार निभाया है। रत्ना व उसके पति तथा दो बच्चे रमन व रमा की कहानी में नीरजा माधवन की एंट्री को दिखाया गया है। 

तिरंगा फहराने पर रत्ना के पति की हत्या-

फिल्म बस्तर द नक्सल स्टोरी ((Bastar The Naxal Story Movie)) में सर्वोच्च न्यायालय में एक आईएएस अफसर को निलंबित करने व दो समाजसेविकाओं के खिलाफ दर्ज एफआईआर को रद्द करने की कहानी है। बस्तर द नक्सल स्टोरी में एक बाकिया दिखाया गया है, जिसमें ये बताया गया है, कि कैसे रत्ना कश्यप के पति द्वारा तिरंगा फैलाने की वजह से उनकी हत्या कर दी जाती है। तो वहीं रत्ना कश्यप जुडूम में शामिल है और उनका बेटा नक्सलवादियों के गिरोह का हिस्सा बन चुका है। 

फिल्म की मुख्य किरदार अदा नहीं इंदिरा तिवारी है-

फिल्म में अदा शर्मा (Adah Sharma) ने एक गर्भवती आईएएस ऑफिसर का किरदार निभाया है, लेकिन इस फिल्म की पूरी कहानी रत्ना कश्यप व उनके परिवार पर जाकर बार-बार ठहर जाती है। दोनो अभिनेत्रियों ने अपने किरदार को बखूबी निभाया है। फिल्म का सबसे भावात्मक दृश्य है, जब रत्ना और उनका बेटा एक-दूसरे के आमने सामने आ जाते है। 

फिल्म में किया गया था JNU का जिक्र-

फिल्म के टीजर में जेएनयू (JNU) के बारे में जिक्र किया गया था दिखाया गया था कि बस्तर ((Bastar The Naxal Story Movie))  में मारे गए 76 जवानों का जश्न जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी (JNU) में मनाया गया था। और इसका फायदा बड़े मंत्रियों ने उठाया था। जिसके बाद फिल्म का विरोध प्रदर्शन हुआ था और जेएनयू छात्रों ने निर्देशक पर 'खतरनाक प्रचार फैलाने और हिंसा भड़काने का आरोप लगाया था। तथा इसके साथ ही  अदा शर्मा तथा फिल्म के निर्माता पर एफआईआर करने तक की मांग की गई थी। 


Full View


फिल्म की कहानी कहाँ पड़ी कमजोर-

कहीं ना कहीं फिल्म बस्तर द नक्सल स्टोरी (Bastar The Naxal Story Movie) को और अच्छे से दिखाया जा सकता था लेकिन फिल्म की पटकथा को जिस तरह से जल्दी-जल्दी भगाने की कोशिश की गई है। फिल्म में हिंसा व अतिरेक कहीं ना कहीं अनावश्यक दिखाई देता है। फिल्म की कहानी को कहीं ना कहीं और अच्छा बनाया जा सकता था। 

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