Prince Movie Review: जबरदस्त कॉमेडी के साथ शिवकार्तिकेयन की फिल्म दर्शकों को आ रही पसंद, मिल रहे ऐसे रिएक्शनस
Prince Movie Review: निर्देशक अनुदीप की प्रिंस एक बेहतरीन कॉमेडी फिल्म है जो अपने क्रेजीनेस से आप सभी को काफी इम्प्रेस करेगी।
Prince Movie Review: निर्देशक अनुदीप की प्रिंस एक बेहतरीन कॉमेडी फिल्म है जो अपने क्रेजीनेस से आप सभी को काफी इम्प्रेस करेगी। क्रटिक्स ने इस फिल्म के लिए वैसे मिली जुली प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कुछ जगहों पर इस फिल्म को काफी अच्छा पाया है ,लेकिन कुछ जगहों पर ये फिल्म असफल रही। आइये जानते हैं ये फिल्म कितनी दर्शकों को कितनी पसंद आई है।
शिवकार्तिकेयन ने एक स्टैंड-अप कॉमेडियन के रूप में अपने करियर की शुरुआत की और अपने कॉमिक टाइमिंग से उन्होंने लोगों के दिलों में अपनी जगह बनाई है। आज, वो तमिल इंडस्ट्री में एक बेहतरीन स्टार हैं, जिनकी झोली में कई हिट फिल्में हैं। वहीँ जब शिवकार्तिकेयन जैसे स्टार तेलुगु फिल्म निर्माता अनुदीप के साथ आते है तो दोनों की जुगलबंदी कुछ बेहतरीन ऑउटपुट तो देगी ही। ऐसे ही कॉमेडी के लिए जाना जाता है शिवकार्तिकेयन को। फिल्म प्रिंस को दर्शकों का ढेर सारा प्यार मिल रहा है। जहाँ क्रिटिक ने फिल्म को मिला जुला रिस्पांस दिया है वहीँ दर्शकों को ये फिल्म फुल एंटरटेनमेंट लगी। साथ ही लोग ट्विटर पर अपने रिएक्शनस दे रहे हैं। जिसमे लोगों ने इस फिल्म को पांच में से चार स्टार दिए हैं।
फैंस दे रहे रिएक्शंस
एक फैन ने इस फिल्म को काफी पसंद करते हुए लिखा, "शिव ने पूरी फिल्म को कैरी किया! शानदार मेकिंग! सेकेंड हाफ में कुछ मिनट पीछे रह गए। फिर भी पूरा पैकेज शानदार है। वहीँ एक अन्य यूजर ने लिखा, 'Prince Okayish & Good entertainer.. फन गारंटीड फिल्म है @Siva_Kartikeyan अन्ना रॉक्ड अगेन।'
फिल्म की कहानी
फिल्म प्रिंस की कहानी काफी दमदार है। कहानी में अंबु यानी शिवकार्तिकेयन को एक 'गलती' के लिए गांव के लोगों द्वारा बहिष्कृत किया जाता है। वहीँ अंबु के पिता उलगनाथन (सत्यराज) भी गांव के लोगों के साथ सहमत हैं और अपने बेटे को त्याग देते हैं। फिल्म इसके बाद फ्लैशबैक में शुरू हो जाती है। अंबू एक अनियमित शिक्षक की भूमिका में हैं लेकिन इसके बाद उनकी लाइफ में एंट्री होती है एक ब्रिटिश महिला जेसिका (Maria Ryaboshapka) की जिसकी वजह से वो रोज़ स्कूल जाने लगते हैं। जेसिका बतौर टीचर इंस्टीटूट में शामिल होती है और उसके साथ अंबू को प्यार हो जाता है। लेकिन अबू के पिता उसके साथ एक ब्रिटिश महिला केसाथ शादी का रिश्ता ठुकरा देते हैं। जिसकी वजह थी कि उलगनाथन के पिता यानी अंबू के दादा की अंग्रेजों के खिलाफ स्वतंत्रता संग्राम में मौत हो गई थी। वहीँ अब अबू कैसे सबको मनाएगा फिल्म देखकर ही पता चलेगा। इस बीच फिल्म कॉमेडी, रोमांस और सस्पेंस से भरी है जो दर्शकों को थिएटर्स तक खींचने में कामयाब रही है।