सोनू सूद को जन्मदिन की बधाईः निराले हैं इस एक्टर के अंदाज, रील हो रीयल सबकुछ अनोखा
Sonu Sood Birthday: बॉलीवुड अभिनेता सोनू सूद फिल्मों में अपने बुरे आदमी के किरदार को लेकर जितना चर्चा में रहते हैं
Sonu Sood Birthday: बॉलीवुड अभिनेता सोनू सूद फिल्मों में अपने बुरे आदमी के किरदार को लेकर जितना चर्चा में रहते हैं उससे कहीं अधिक रीयल लाइफ उनका मसीहा अवतार चर्चा में रहता है। वैसे को कोरोना महामारी के दौरान तमाम सेलिब्रिटीज ने अपने अपने स्तर से लोगों की मदद के लिए कुछ न कुछ किया लेकिन इनमें सोनू सूद की एक अलग पहचान बनी।
जिसने उन्हें एक अभिनेता, एक निर्माता, एक व्यवसायी के साथ साथ एक मानवतावादी के रूप मे भी स्थापित किया। वह मुख्य रूप से हिंदी, तेलुगु, तमिल और कन्नड़ फिल्मों में काम करते हैं। COVID-19 महामारी के दौरान उनके मानवीय कार्यों के लिए सितंबर 2020 में सोनू सूद को संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम (UNDP) द्वारा प्रतिष्ठित SDG (स्पेशल ह्यूमैनिटेरियन एक्शन अवार्ड) के लिए चुना गया। सोशल मीडिया पर वह बहुत अधिक सक्रिय रहते हैं। और अक्सर अपने चाहने वालों के बीच जॉली मूड में किये गए कमेंट्स को लेकर चर्चा में रहते हैं।
सोनू का जन्म 30 जुलाई 1973 को लुधियाना, पंजाब में हुआ था। उनके पिता एक व्यवसायी तो मां अध्यापिका थीं। उनका बैकग्राउंड फिल्मों से नहीं रहा बावजूद इसके उन्होंने अपने बलबूते पर फिल्मों को ही अपना करियर बनाया और इसमें वे सफल भी हुए। उनकी दो बहनें भी हैं। हालांकि सोनू ने वाईसीसीई नागपुर से इलेक्ट्रानिक्स में इंजीनियरिंग की थी लेकिन करियर फिल्मों को बनाया। उन्होंने तेलुगु लड़की सोनाली से शादी की है जिनसे उन्हें एक लड़का है और उसका नाम इशांत है।
सोनू ने अपने करियर की शुरूआत फिल्म 'शहीदे-ए-आजम' से की थी जिसमें उन्होंने भगत सिंह का किरदार निभाया था। इसके बाद उन्होंने कई छोटी बड़ी फिल्मों और अन्य भाषाओं की फिल्मों में भी काम किया जिसमें तमिल, तेलगु फिल्में भी शामिल हैं। उनकी चर्चित फिल्मों में शहीदे-ए-आजम, युवा, चंद्रमुखी, आशिक बनाया आपने, जोधा अकबर, सिंह इज किंग, एक विवाह ऐसा भी, अरूंधति, दबंग, बुड्ढा होगा तेरा बाप, शूटआऊट एट वडाला, रमैया वस्तावैयया, आर राजकुमार, इंटरटेनमेंट, हैप्पी न्यू ईयर, गब्बर इज बैक, दबंग 3 आदि हैं। 2009 में उन्हें तेलगु की ब्लाकबस्टर फिल्म 'अरूंधति' के लिए बेस्ट विलेन का आंध्रपदेश का नंदी पुरस्कार दिया गया और सर्वश्रेष्ठ सह-अभिनेता का फिल्मफेयर पुरस्कार- तेलगु भी दिया गया। 2010 में सोनू सूद को फिल्म 'दबंग' के लिए निगेटिव रोल का बेस्ट एक्टर का अप्सरा अवार्ड और निगेटिव रोल में ही सर्वश्रेष्ठ परफॉर्मेंस के लिए आईफा पुरस्कार भी दिया गया।
सोनू सूद का अपना होटल भी है। जिसे रिहायशी इलाके में बनाने का आरोप है। लेकिन कोरोना काल में उन्होंने अपना होटल स्वास्थ्य कर्मियों के लिए खोल दिया था। उनका जरूरतमंद लोगों की मदद के सूद चैरिटी फाउंडेशन भी है। मई 2020 में जब कोरोना महामारी के कारण देशव्यापी तालाबंदी के दौरान हजारों प्रवासी श्रमिक फंसे हुए थे तब सोनू सूद ने उनके लिए बसों, विशेष ट्रेनों और चार्टर्ड उड़ानों की व्यवस्था करके उनके घरों तक पहुँचने में मदद की। जुलाई 2020 में उन्होंने किर्गिस्तान में फंसे 1,500 से अधिक भारतीय छात्रों को बिश्केक से वाराणसी ले जाने के लिए चार्टर्ड फ्लाइट की व्यवस्था की। महामारी के दौरान उनके दान की सराहना की गई, और उन्हें भारत में एक वास्तविक जीवन के नायक के रूप में प्रतिष्ठित किया गया।
25 जुलाई 2020 को, एक किसान की बेटियों के खेत की जुताई करने का एक वीडियो, बैल की तरह अपने कंधों पर जूए के साथ सोशल मीडिया पर वायरल हुआ। इस पर सोनू सूद ने परिवार को ट्रैक्टर भेजा। 5 अगस्त 2020 को, उन्होंने मुख्य रूप से तमिलनाडु के 101 मेडिकल छात्रों की मदद की, जो लॉकडाउन के दौरान मॉस्को में फंसे हुए थे, उनकी मदद के लिए अपनी टीम से संपर्क करने के बाद उनके द्वारा की गई चार्टर्ड फ्लाइट से सुरक्षित चेन्नई पहुँचाया। हाल ही में सोनू सूद अपना पंजाबी ढाबा लेकर हाजिर हुए और फ्री में दाल-रोटी खिलाने की बात कही।सोनू सूद का तंदूरी रोटियां बनाते हुए वीडियो इंटरनेट पर खूब छाया।
सोनू सूद अक्सर इस तरह के वीडियोज़ शेयर किया करते हैं, जिसमें कभी टेलरिंग तो कभी नींबू पानी बनाते हुए, कभी रिक्शा चलाते हुए तो कभी अंडे ब्रेड बेचते हुए नजर आते हैं। सोनू सूद अपने इन अंदाज से जमकर फैन्स का दिल जीतते रहते हैं। इसी तरह के एक वीडियो में वे खुद से हेयर कटिंग करते हुए दिखाई देते हैं। इंस्टाग्राम पर शेयर की गई इस वीडियो के बारे में सोनू कहते हैं कि हेयर कटिंग करना भी एक आर्ट है। जिसकी प्रैक्टिस जारी है। इसके साथ ही वे उस शख्स को दिखा रहे हैं, जिसका हेयर कट किया जा रहा है। इस वीडियो का कैप्शन उन्होंने लिखा है, 'हेयर स्टाइलिंग एक कला और शिक्षण है, जो मेरा जुनून है।' लोग इसे हंसी में ले रहे हैं लेकिन सोनू सूद इसके जरिये एक संदेश दे रहे हैं कि कोई भी काम छोटा नहीं होता उसे रोजगार का जरिया बनाकर नाम कमाया जा सकता है।