1 नंबर का अय्याश था आतंकी दुजाना, घर से उठा लेता था लड़कियों को

Update: 2017-08-01 09:37 GMT

श्रीनगर : जम्मू एवं कश्मीर के पुलवामा जिले में मंगलवार को सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ में एक शीर्ष पाकिस्तानी आतंकवादी मारा गया, जिसके सिर पर 15 लाख रुपये का ईनाम था। उसका एक साथी भी मारा गया। जम्मू एवं कश्मीर पुलिस ने अबु दुजाना के मारे जाने को एक 'बड़ी उपलब्धि' बताया। पुलिस के मुताबिक, वह लश्कर-ए-तैयबा का कमांडर था और 2012 से दक्षिणी कश्मीर में सक्रिय था। उसके साथ ही एक स्थानीय आतंकवादी आरिफ लालिहारी भी मारा गया। वे मुठभेड़ में हकरीपुरा गांव में मारे गए।

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पुलिस ने ट्वीट किया, "पुलिस और सुरक्षा बलों के लिए एक बड़ी उपलब्धि।"

पाक अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बाल्टीस्तान क्षेत्र का रहने वाला दुजाना भारतीय सुरक्षा बलों पर किए गए कई हमलों के लिए जिम्मेदार था।

एक पुलिस अधिकारी ने कहा, "अबु दुजाना और लालिहारी का मारा जाना सुरक्षा बलों के लिए एक बड़ी सफलता है और दक्षिण कश्मीर में आतंकवादी गतिविधियों के लिए एक बड़ी क्षति है।"सुरक्षा अधिकारियों के मुताबिक, गांव में आतंकवादियों के छिपे होने की सूचना के आधार पर सुरक्षा बलों ने तड़के करीब तीन बजे गांव को घेर लिया, जिसके बाद दोनों ओर से गोलीबारी शुरू हो गई।

पुलिस अधिकारी ने कहा, "घटनास्थल पर दो आतंकवादियों के शव बरामद होने और उनके शवों की पहचान होने के बाद अभियान समाप्त हो गया।"

मुठभेड़ में गांव के दो घरों को भी क्षति पहुंची है।

इसी बीच, दुजाना की मौत की खबर फैलने के बाद सुरक्षा बलों और पत्थरबाजों के बीच झड़पें शुरू हो गईं।

गोलियों से घायल हुए तीन प्रदर्शनकारियों को अस्पताल में दाखिल कराया गया है और कई अन्य पेलेट गन से घायल हुए हैं।

प्रशासन ने दक्षिणी कश्मीर में इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी हैं। साथ ही जम्मू क्षेत्र के बनिहाल शहर और कश्मीर घाटी के बारामूला के बीच रेल सेवाएं भी स्थगित कर दी गई हैं।

1 नंबर का था अय्याश

आईजी मुनीर खान ने बताया कि दुजाना एक अय्याश आदमी था। घाटी में दुजाना अय्याशी करता था। इसके लिए वह किसी के भी घर में घुस जाया करता था। पुलिस ने कहा, 'दुजाना एक तरह से इलाके में लड़कियों के लिए एक खतरे की तरह बन गया था। वह एक अय्याश था।'

दुजाना का मारा जाना 'उपद्रव से छुटकारा मिलना' : पुलिस

जम्मू एवं कश्मीर पुलिस ने मंगलवार को पाकिस्तानी आतंकवादी अबु दुजना के मारे जाने को 'उपद्रव से छुटकारा मिलना' कहा। पुलिस ने साथ ही कहा कि नागरिक प्रदर्शनों के बावजूद सभी आतंकवादियों के खिलाफ अभियान जारी रहेंगे।

सेना की 15वीं कॉर्प्स के जरनल ऑफिसर कमांडिंग (जीओसी) लेफ्टिनेंट जनरल जे.एस. संधू के साथ मीडिया से बात करते हुए पुलिस महानिरीक्षक मुनीर खान ने कहा, "दुजाना के मारे जाने से क्षेत्र में उपद्रव से छुटकारा मिल जाएगा।"

खान ने कहा, "आतंकवादियों के खिलाफ हमारे अभियानों के दौरान प्रदर्शनकारियों द्वारा विरोध प्रदर्शन और व्यवधान हों या नहीं, सुरक्षा बल अपना अभियान जारी रखेंगे।"

उन्होंने कहा कि सुरक्षा बलों ने पुलवामा जिले के हकरीपुरा गांव में छिपे आतंकवादियों को मंगलवार को आत्मसमर्पण करने को कहा था।

पुलिस अधिकारी ने कहा, "जिस घर में दुजाना और आरिफ छिपे थे, उसके मुखिया ने उन्हें आत्मसमर्पण के लिए समझाने की काफी कोशिश की। शायद दुजाना की मौजूदगी के कारण स्थानीय आतंकवादी आरिफ भी समर्पण नहीं कर पाया।"

खान और लेफ्टिनेंट जनरल दोनों ने कहा कि दुजाना अब आतंकवादी गतिविधियों के स्थान पर ज्यादातर अय्याशी में ही डूबा रहता था।

खान ने कहा कि 10 जुलाई को अमरनाथ यात्रियों पर हमला करने वाले आतंकवादियों की मदद करने वाले सभी ओवरग्राउंड वकर्स भी गिरफ्तार कर लिए गए हैं।

खान ने कहा, "कश्मीर घाटी में सक्रिय हर आतंकवादी हमारे निशाने पर है।"

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