शराबबंदी के बाद अब नीतीश का लक्ष्य, बाल विवाह और दहेज प्रथा रोकना

Update: 2017-09-24 11:04 GMT
शराबबंदी के बाद अब नीतीश का लक्ष्य, बाल विवाह और दहेज प्रथा रोकना

पटना: बिहार विधानसभा चुनाव में शराबबंदी को मुद्दा बना उसे लागू करने वाले सीएम नीतीश कुमार अब बाल विवाह और दहेज प्रथा के खिलाफ कदम उठाएंगे। बिहार में शराबबंदी से हजारों परिवार बर्बाद होने से बच गए हैं। अब नीतीश सरकार ने बाल विवाह और दहेज प्रथा के खिलाफ अभियान चलाने के लिए कमर कस ली है।

आधिकारिक सूत्रों के अनुसार, आगामी 2 अक्टूबर गांधी जयंती के अवसर पर सीएम नीतीश कुमार इस अभियान की शुरुआत करने जा रहे हैं। शराबबंदी के बाद बाल विवाह को रोकने और दहेज प्रथा को खत्म करने की कोशिश सीएम नीतीश का बिहार में समाजिक परिवर्तन की ओर एक और अहम कदम माना जा रहा है।

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गांधी जयंती से होगी अभियान की शुरुआत

हालांकि, नीतीश कुमार पहले से ही बाल विवाह और दहेज प्रथा के खिलाफ अपने भाषणों में बोलते रहे हैं। लेकिन अब यह अभियान के तहत गांधी जयंती के अवसर पर शुरू हो रहा है। उस दिन लाखों लोग शपथ लेंगे कि वह बाल विवाह रोकेंगे और दहेज ना लेंगे और ना ही देंगे। बिहार के मुख्य सचिव अंजनी कुमार सिंह ने सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि वह अपने-अपने जिले में शपथ का आयोजन करें और तत्काल इस शपथ ग्रहण समारोह के आंकड़े महिला विकास निगम को उपलब्ध कराएं।

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याद है वो मानव श्रृंखला

गौरतलब है, कि बिहार के चार करोड़ लोगों ने शराबबंदी के पक्ष में मानव श्रृंखला बनाकर इतिहास रचा था। कुछ उसी तरह बाल विवाह और दहेज प्रथा के खिलाफ लाखों लोगों को शपथ दिलाई जाएगी। मुख्य समारोह पटना के गांधी मैदान में होगा जहां सीएम नीतीश कुमार लोगों को शपथ दिलायेंगे। समाज कल्याण विभाग के तरफ से आयोजित इस कार्यक्रम का प्रसारण भी किया जाएगा। इस कार्यक्रम का आयोजन हर जिले में किया जाएगा।

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सभी लेंगें शपथ

इस कार्यक्रम में आम लोगों की भागीदारी के साथ-साथ सरकारी कर्मियों को शपथ लेना अनिवार्य होगा। साथ ही राज्य के सभी पंचायतों, महादलित टोलो, आंगनबाडी केन्द्रों, सरकारी और गैर सरकारी सभी स्कूलों, सभी अस्पतालों, स्वास्थ्य केन्द्रों, नगर निकायों, थाना, पुलिस लाइन और स्वयं सहायता समूहों के बीच शपथ ग्रहण समारोह होगा।

 

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