Allahabad HC News: परेशान करने के लिए इलाहाबाद हाईकोर्ट हुआ था मेरा तबादला, विदाई समारोह में मुख्य न्यायाधीश ने पूर्व सीजेआई पर लगाया बड़ा आरोप
Allahabad HC News: विदाई समारोह में चीफ जस्टिस दिवाकर ने कहा कि 2018 में छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट से इलाहाबाद हाईकोर्ट में उनका तबादला उन्हें परेशान करने के लिए किया गया था।
Allahabad HC News: इलाहाबाद हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति प्रीतिंकर दिवाकर ने अपने आखिरी कार्य दिवस पर आयोजित विदाई समारोह में अपने ट्रांसफर को लेकर सार्वजनिक रूप से अपने दर्द का इजहार किया। विदाई समारोह में चीफ जस्टिस दिवाकर ने कहा कि 2018 में छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट से इलाहाबाद हाईकोर्ट में उनका तबादला उन्हें परेशान करने के लिए किया गया था।
देश के तत्कालीन मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा के नेतृत्व वाले कालेजियम ने उनका ट्रांसफर छत्तीसगढ़ से इलाहाबाद किया था। उन्होंने कहा कि हालांकि मैं भाग्यशाली था और मुझे परेशान करने के लिए किया गया यह ट्रांसफर मेरे लिए वरदान बन गया क्योंकि मुझे यहां इलाहाबाद में सभी न्यायाधीशों के साथ ही बार सदस्यों से भी अथाह प्यार, समर्थन और सहयोग मिला।
पूर्व सीजेआई पर किया कटाक्ष
विदाई समारोह के दौरान चीफ जस्टिस दिवाकर ने छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट से इलाहाबाद किए गए अपने स्थानांतरण को अचानक हुआ घटनाक्रम बताया। उन्होंने कहा कि उनके प्रति दिखाए गए इस ‘अतिरिक्त स्नेह’ का कारण उन्हें अब भी नहीं पता है। न्यायमूर्ति दिवाकर ने कहा कि 31 मार्च 2009 को मेरी प्रोन्नति पीठ पर हुई थी। छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट में जज के रूप में काम करते हुए मैंने अपने सभी कर्तव्यों का सम्यक तरीके से निर्वहन किया। छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट में मेरे काम से सभी लोग पूरी तरह संतुष्ट थे।
तत्कालीन मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा ने अचानक मेरे प्रति कुछ अधिक प्यार दिखाया। उन्होंने अचानक मेरा तबादला इलाहाबाद हाईकोर्ट के लिए कर दिया। 3 अक्टूबर 2018 को मैंने इलाहाबाद हाईकोर्ट में कार्यभार ग्रहण किया। ऐसे में प्रतीत होता है कि मेरा ट्रांसफर मुझे परेशान करने के लिए किया गया। हालांकि यह ट्रांसफर आदेश मेरे लिए वरदान साबित हुआ है क्योंकि मुझे यहां सभी का सहयोग और समर्थन मिला।
सीजेआई चंद्रचूड़ के प्रति जताया आभार
न्यायमूर्ति दिवाकर ने अपने साथ हुए अन्याय को सुधारने के लिए सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायमूर्ति डीवाई चंद्रचूड़ को धन्यवाद दिया। दरअसल सीजेआई चंद्रचूड़ के नेतृत्व वाले कालेजियम ने ही न्यायमूर्ति दिवाकर को इलाहाबाद हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के रूप में पदोन्नत किए जाने की सिफारिश की थी। न्यायमूर्ति दिवाकर ने 26 मार्च 2023 को इलाहाबाद हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश पद की शपथ ली थी।
उन्होंने कहा कि मैं मौजूदा सीजेआई का आभारी हूं जिन्होंने मेरे साथ हुए अन्याय को सुधारा। उन्होंने कहा कि हमें यह समझना चाहिए कि जीवन एक परीक्षा है, परिणाम नहीं। वास्तव में कर्म ही इसका फैसला करता है। अच्छा काम करने पर हमेशा समय के साथ उसका अच्छा परिणाम हासिल होता है।
इलाहाबाद हाईकोर्ट के उत्थान के लिए किया काम
जस्टिस दिवाकर ने कहा कि सीमित संसाधनों के बावजूद मैंने इलाहाबाद हाईकोर्ट के उत्थान में कोई कसर बाकी नहीं छोड़ी। इलाहाबाद हाईकोर्ट में कार्यभार का भारी बोझ है और उसे संतुलित करना वास्तव में बड़ी चुनौती है। कोर्ट के कामकाज पर बाहर से टिप्पणी कर दी जाती है मगर बाहर से टिप्पणी करने से पहले अंदर की स्थितियों को भी देखा जाना चाहिए।
न्यायमूर्ति दिवाकर को 13 फरवरी 2023 को इलाहाबाद हाईकोर्ट के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश पद की जिम्मेदारी सौंप गई थी और बाद में 26 मार्च 2023 को उन्होंने इलाहाबाद हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश पद की शपथ ली थी। उनकी सेवानिवृत्ति के बाद न्यायमूर्ति मनोज कुमार गुप्ता को कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश पद की जिम्मेदारी सौंप गई है।
न्यायमूर्ति दिवाकर के विदाई समारोह में हाईकोर्ट बार एसोसिएशन और एडवोकेट एसोसिएशन के पदाधिकारियों के अलावा डिप्टी सॉलिसिटर जनरल ने भी मुख्य न्यायाधीश के व्यक्तित्व और उनके कामकाज की चर्चा की। सभी ने जस्टिस दिवाकर कार्यकाल की तारीफ की। मुख्य न्यायाधीश के न्याय कक्ष में आयोजित विदाई समारोह में अन्य न्यायाधीश और काफी संख्या में हाईकोर्ट के अधिवक्ता मौजूद थे।