वित्त मंत्री ने वर्ष 2018-19 के लिए रिटर्न दाखिल करने की तारीख 30 जून की

देश की वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने वित्त वर्ष 2018-19 के लिए रिटर्न भरने की तारीख 30 जून किए जाने की घोषणा करते हुए कहा कि देर से रिटर्न भरने पर ब्याज की दर 12 की जगह 9 फीसदी होगी। पहले इसकी अंतिम तारीक 31 मार्च थी।

Update: 2020-03-24 10:27 GMT

नई दिल्ली: देश की वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने वित्त वर्ष 2018-19 के लिए रिटर्न भरने की तारीख 30 जून किए जाने की घोषणा करते हुए कहा कि देर से रिटर्न भरने पर ब्याज की दर 12 की जगह 9 फीसदी होगी। पहले इसकी अंतिम तारीक 31 मार्च थी।

मीडिया को इस संबंध में जानकारी देते हुए वित्त मंत्री ने मंगलवार को कहा कि इस वक्त जब लॉकडाउन चल रहा है सभी मीडिया कर्मियों का इस प्रेस कॉन्फ्रेंस में भाग लेने का स्वागत है।

उन्होंने कहा कि वह आज रेगुलेशन और कंप्लायंस के बारे में बात करेंगी लेकिन सबसे पहले इनकम टैक्स से जुड़े मसलों के बारे में बात करूंगी। इसके बाद दूसरे मसलों के बारे में बात करूंगी।

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उन्होंने कहा कि आधार से पैन लिंक करने की अंतिम तारीख बढ़ाकर 30 जून की गई है। टीडीएस की डिपॉडिट के लिए डेट नहीं बढ़ाई गई है, लेकिन ब्याज की दर 18 की जगह घटाकर 9 फीसदी कर दी गई है।

विवाद से विश्वास स्कीम की तारीख बढ़ाकर 30 जून कर दी गई है। एसटीटी, सीटीटी रिटर्न दाखिल करने की तारीख भी बढ़ाकर 30 जून कर दी गई है। मार्च और अप्रैल और मई के लिए जीएसटी रिटर्न दाखिल करने की अंतिम तारीख बढ़ाकर 30 जून की जा रही है।

5 करोड़ से कम टर्नओवर वाली कंपनियों को लेट फाइन नहीं देना होगा। विवाद से विश्वास स्कीम का फायदा उठाने वाले करदाता अब 30 जून तक अपना भुगतान कर सकते हैं। कंपनियों को बोर्ड मीटिंग के लिए भी 60 दिन की राहत दी गई है। स्वतंत्र निदेशकों के बोर्ड मीटिंग में शामिल नहीं होने को उल्लंघन नहीं माना जाएगा।

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