Bihar: 10 फरवरी को विधानसभा में बहुमत साबित करेगी नई एनडीए सरकार, नीतीश – तेजस्वी होंगे आमने-सामने

Bihar Politics: जदयू के राजद में विलय होने और तेजस्वी यादव के राज्य की कमान संभालने की अटकलों के बीच मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 2017 की तरह एकबार फिर लालू परिवार को जबरदस्त झटका दिया।

Written By :  Krishna Chaudhary
Update:2024-01-31 08:36 IST

Nitish Kumar Tejashwi Yadav (photo: social media )

Bihar Politics: बिहार में लोकसभा चुनाव से ठीक पहले हुए बड़े सियासी उलटफेर ने पूरे देश को चौंका दिया। बड़े-बड़े राजनीतिक धुरंधरों ने भी इसकी कल्पना नहीं की थी। जिस नीतीश कुमार ने एक-एक कर देश के बड़े विपक्षी नेताओं के दरवाजे पर दस्तक देकर उन्हें लोकसभा चुनाव में बीजेपी के खिलाफ लामबंद होने के लिए तैयार किया, वो खुद पलटी मार गए। वहीं, बिहार में भी राष्ट्रीय जनता दल के साथ कुछ ऐसा ही हुआ।

जदयू के राजद में विलय होने और तेजस्वी यादव के राज्य की कमान संभालने की अटकलों के बीच मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 2017 की तरह एकबार फिर लालू परिवार को जबरदस्त झटका दिया। 28 जनवरी को एनडीए में वापसी करने वाले सीएम नीतीश कुमार ने उसी शाम 9वीं बार मुख्यमंत्री पद की शपथ ली और बीजेपी-हम के साथ अपनी नई सरकार बनाई।

10 फरवरी को होगा फ्लोर टेस्ट

2020 के विधानसभा चुनाव के बाद सीएम नीतीश कुमार को अब दूसरी बार अपना बहुमत साबित करना होगा। 10 फरवरी को फ्लोर टेस्ट की तारीख तय की गई है, इस दिन नई एनडीए सरकार का बहुमत परीक्षण होगा। साथ ही विधानसभा में एकबार फिर नीतीश और तेजस्वी आमने-सामने की बेंच पर होंगे। महागठबंधन सरकार के दौरान तेजस्वी के कंधे पर हाथ रखकर उसे अपना उत्तराधिकारी बताने का संकेत देने वाले मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का अब बतौर सियासी प्रतिद्वंदी के तौर पर उनसे सामना होगा।

2017 में जब सीएम नीतीश ने राजद को बड़ा झटका देते हुए महागठबंधन छोड़ा था, उस दौरान भी डिप्टी सीएम रहे तेजस्वी यादव नेता प्रतिपक्ष बने थे और उन्होंने बिहार के मुख्यमंत्री पर जमकर हमला बोला था। अब एकबार फिर तेजस्वी उसकी भूमिका में नजर आएंगे। दोनों नेताओं के बीच उस दिन किस तरह का संवाद होगा, इस पर सबकी नजरें रहेंगी।

दोनों डिप्टी सीएम को मिली जेड प्लस श्रेणी की सुरक्षा

विपक्ष में रहने के दौरान बीजेपी की ओर से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर सबसे तीखा प्रहार करने वाले सम्राट चौधरी और विजय कुमार सिन्हा अब उनके डिप्टी हैं। उपमुख्यमंत्री बनते ही दोनों भाजपा नेताओं की सुरक्षा को बढ़ा दिया गया है। दोनों को जेड प्लस श्रेणी की सुरक्षा दी गई है। इससे पहले दोनों नेताओं के पास Y श्रेणी की सुरक्षा मिली हुई थी। पूर्व डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव को भी सरकार में शामिल होने के बाद जेड प्लस श्रेणी की सुरक्षा दी गई थी, जो अभी भी बरकरार है।

विधानसभा में क्या है सीटों का गणित

बिहार विधानसभा में कुल सीटों की संख्या 243 है और बहुमत का आंकड़ा 122 है। नवगठित एनडीए सरकार में 78 सीटों के साथ बीजेपी सबसे बड़ी पार्टी है। उसके बाद 45 सीटों के साथ जदयू और 4 सीटों के साथ जीतनराम मांझी की पार्टी HAM है। इसके अलावा एक निर्दलीय विधायक का समर्थन भी हासिल है। वहीं, विपक्षी गठबंधन में 79 सीटों के साथ राजद सबसे बड़ी पार्टी है। इसके बाद कांग्रेस (19) और वामपंथी दल (16) का नंबर आता है। इसके अलावा एआईएमआईएम का एक विधायक भी है।

बता दें कि 28 जनवरी की शाम पांच बचे नीतीश कुमार ने 8 मंत्रियों के साथ 9वीं बार मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी। नई कैबिनेट में बीजेपी कोटे से दो डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी और विजय सिन्हा के अलावा डॉ.प्रेम कुमार के रूप में एक मंत्री शामिल हुए। जदयू कोटे से विजय कुमार चौधरी, ब्रिजेंद्र प्रसाद यादव और श्रवण कुमार मंत्री बने। वहीं, मांझी की पार्टी से उनके बेटे संतोष कुमार सुमन और एक निर्दलीय विधायक सुमित कुमार सिंह मंत्री बने।

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