UP: विचाराधीन कैदियों की रिहाई को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार को लगाई फटकार, जानें क्या है मामला

सुप्रीम कोर्ट ने यूपी की जेलों में बंद विचाराधीन कैदियों की रिहाई को लेकर सख्त रूख अपनाते हुए प्रदेश सरकार को फटकार लगाई है। अदालत ने सरकार से उन 853 कैदियों का ब्यौरा देने को कहा, जो 10 साल से अधिक समय से जेल में बंद हैं।

Written By :  Krishna Chaudhary
Update: 2022-07-25 09:13 GMT

सुप्रीम कोर्ट ( social media)

Undertrial Prisoners Release: उत्तर प्रदेश देश का वो राज्य है जहां विचाराधीन कैदियों की संख्या सर्वाधिक है। इनमें से अधिकतर अंडरट्रायल कैदी सामान्य एवं गरीब परिवारों से हैं, जो जमानत हासिल करने में सक्षम नहीं हैं। अपील पर सुनवाई का इंतजार करते – करते अभियुक्त कानून में तय सजा से अधिक कारावास भुगत लेते हैं मगर अपील पर सुनवाई का नंबर नहीं आता। सुप्रीम कोर्ट ने यूपी की जेलों में बंद विचाराधीन कैदियों की रिहाई को लेकर सख्त रूख अपनाते हुए प्रदेश सरकार को फटकार लगाई है।

अदालत ने राज्य सरकार (State Government) से उन 853 कैदियों का ब्यौरा देने को कहा, जो 10 साल से अधिक समय से जेल में बंद हैं। दरअसल शीर्ष अदालत ने सरकार और इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) को विचाराधीन कैदियों की रिहाई जल्द से जल्द सुनिश्चिति करने को कहा था। जिसमें अपेक्षित प्रगति न देखते हुए कोर्ट ने तल्ख लहजे में कहा कि अगर आप इसे संभालने में सक्षम नहीं हैं तो हम यह बोझ उठाएंगे और इसे संभाल लेंगे।

क्या है पूरा मामला

यूपी के आगरा केंद्रीय कारागार (Agra Central Jail) में बंद 14 साल से अधिक कारावास भुगत चुके 12 उम्रकैदियों ने रिहाई और जमानत के लिए पिछले दिनों सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था। उनकी अपीलें सालों से उच्च न्यायालय में लंबित है और वे 14 साल से अधिक की सजा भुगत चुके हैं। इस बीच न तो उन्हें जमानत मिली और न ही अपील का निपटारा हुआ। इस पर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने यूपी सरकार (Yogi Government) को नोटिस जारी कर जवाब मांगा था।

कौन होते हैं विचाराधीन कैदी

विचाराधीन कैदी उन कैदियों को कहा जाता है जिनकी सुनवाई कोर्ट में अभी चल ही रही है और आरोप साबित नहीं हुए हैं। एनसीआरबी (NCRB) के आंकड़ों के मुताबिक, देश की जेलों में बंद हर चार में से तीन कैदी विचाराधीन कैदी है। भारत की जेलों में 3.5 लाख से अधिक विचाराधीन कैदी हैं, जो कि कुल कैदियों का 62 प्रतिशत है।

अधिक विचाराधीन कैदी वाले राज्य

देश की सबसे बड़ी आबादी वाला राज्य उत्तर प्रदेश विचाराधीन कैदियों के मामले में भी अव्वल है। यहां देश में सबसे अधिक 80,557 विचाराधीन कैदी हैं। इसके बाद स्थान आता है पड़ोसी राज्य बिहार और मध्य प्रदेश का। बिहार में 44,187 और मध्य प्रदेश में 31,712 विचाराधीन कैदी हैं। रिपोर्ट के मुताबिक, अधिकांश कैदियों की उम्र 18-30 साल के बीच की है।

यूपी की जेलों में क्षमता से अधिक कैदी

प्राप्त जानकारी के अनुसार, उत्तर प्रदेश की जेलों में क्षमता से अधिक कैदी हैं। प्रदेश सरकार के आंकड़ों के मुताबिक, यहां के जेलों में 1.14 लाख कैदी हैं जबकि क्षमता 70 हजार कैदियों की है। इसमें से लगभग 30 हजार सजायाफ्ता कैदी हैं और 12 हजार कैदी उम्रकैद की सजा भुगत रहे हैं।

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