नई दिल्ली: रिजर्व बैंक ऑफ़ इंडिया (आरबीआई) और केंद्र सरकार के बीच कड़वाहट कम होने का नाम नहीं ले रही है। मंगलवार को वित्त मंत्री अरुण जेटली ने देश में बैंक एनपीए का ठीकरा आरबीआई के सिर फोड़ा। एक प्रमुख बिजनेस चैनल के मुताबिक मौजूदा परिस्थिति में केन्द्रीय रिजर्व बैंक के गवर्नर उर्जित पटेल के पास अब अब कोई और विकल्प नहीं बचा है। उनके इस्तीफा की संभावना बनी हुई है।
बता दे कि केन्द्र सरकार और आरबीआई के सूत्रों के आधार पर तैयार की गई इस रिपोर्ट में दावा किया गया है कि आरबीआई और केन्द्र सरकार के बीच टकराव काफी हद तक बढ़ गये है। इस अंतर को भरना आसान नहीं है। ऐसे में रिजर्व बैंक के आला अधिकारियों का दावा है कि केन्द्रीय बैंक की स्वायत्तता को ध्यान में रखते हुए उसके सामने सभी विकल्प खुले हुए हैं।
गौरतलब है कि केन्द्रीय बैंक और केन्द्र सरकार के रिश्तों में कडवाहट बीते हफ्ते आरबीआई के डिप्टी गवर्नर विरल आचार्य ने जाहिर कर दिया था। आचार्य ने कहा कि केन्द्रीय बैंक की स्वायत्तता पर हमला देश के लिए बेहद खतरनाक हो सकता है।
विरल का बयान सार्वजनिक होने के बाद केन्द्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने अपना पक्ष रखा था। उन्होंने देश में बैंकों के सामने खड़ी एनपीए की समस्या के लिए केन्द्रीय बैंक को जिम्मेदार बताया था।
ये भी पढ़ें...बैंकों के अंधाधुंध कर्ज बांटने की आरबीआई ने अनदेखी की : जेटली
ये भी पढ़ें...नोटबंदीः वापस आए 15 लाख 31 हजार करोड़ रुपये के नोट- आरबीआई
ये भी पढ़ें...शेयर बाजार: आरबीआई की नीति, तिमाही नतीजों पर रहेगी नजर