Bhagwat Geeta Quotes: भगवान श्री कृष्ण कहते हैं कि योगियों की यही पहचान होती है कि उनकी इंद्रियां उनके अधीन होती हैं
Bhagwat Geeta Quotes: भगवत गीता के सार को जिसने समझ लिया उसने भवसागर पार कर लिया और उसे मोक्ष की भी प्राप्ति हो जाती है। आइये इन विचारों पर एक नज़र डालते हैं।
Report : Shweta Srivastava
Update:2024-08-10 10:04 IST
Bhagwat Geeta Quotes: भगवत गीता में भगवान् श्री कृष्ण ने बताया है कि किसी भी मनुष्य को उसके भाग्य से ज़्यादा नहीं मिलता और न ही उससे कम। वहीँ उसके कर्म ही उसके भाग्य को बनाते हैं। आइये आज हम आपको भगवत गीता में लिखी कुछ ज्ञान की बातों पर प्रकाश डालते हैं।
भगवत गीता कोट्स (Bhagwat Geeta Quotes)
- “योगियों की यही पहचान होती है कि उनकी इंद्रियां उनके अधीन होती हैं।”
- “भयमुक्त होता है वह प्राणी जो परमात्मा की इच्छा को अपने लिए आदेश मानकर चलता है।”
- “चिंताओं की चिता को दाग वहीं प्राणी देता है, जो पूर्णतः मन भाव से स्थिर हो जाता है।”
- “सच्ची श्रृद्धा और परमात्मा के प्रति समर्पण तब ही सफल माना जाता है, जब उसमें कोई शंका न हो।”
- “जीवन में अपने पथ से भटकने वाला व्यक्ति कभी भी परमात्मा की प्राप्ति नहीं कर सकता, फिर चाहे वह कितना भी कुछ क्यों न कर ले।”
- “भय के होने पर मन की स्थिति भयानक हो जाती है, वीर वही है जो कर्मज्ञान का अनुसरण करता हो।”
- “सृष्टि में हर जीव के हृदय में नारायण का ही वास है, मनुष्य को चाहिए कि वह अपने भीतर के नारायण का स्वरूप जाने।”
- “जब कभी भी सृष्टि पापियों के पाप से आतंकित होती है, तब नारायण इस धरती पर धर्म बचाने, सृष्टि की संस्कृति, ज्ञान और मानवता के संरक्षण के लिए अवतार लेते हैं।”
- “परमात्मा की लीलाओं को जिसने शून्य होकर जान लिया, उसने जीवन के अनन्त ज्ञान की प्राप्ति कर ली।”
- “राजसी, तामसी और सात्विक के आधार पर ही मानव के गुण, प्रकृति और व्यवहार का निर्धारण होता है।”
- “जीवन का एक ही सार होता है “श्रीमद्भागवत गीता”, यही सार यदि जीवन का आधार बन जाए तो जीवन सफल बन जाता है।”
- अच्छे कर्म करने के बावजूद भी लोग केवल आपकी बुराइयाँ ही याद रखेंगे,
- इसलिए लोग क्या कहते हैं इस पर ध्यान मत दो तुम अपना कर्म करते रहो।
- सत्य कभी दावा नहीं करता कि मैं सत्य हूं,. लेकिन झूठ हमेशा दावा करता हैं कि सिर्फ मैं ही सत्य हूं।
- गलतियां ढूंढना गलत नही है बस शुरुआत खुद से होनी चाहिए।