शादी के लिए वर्जिनिटी की गारंटी, इस मैट्रिमोनियल वेबसाइट को अब पड़ रही गाली
हाइमन से किसी की वर्जनिटी का अंदाजा लगाना सही नहीं है एक्सपर्ट कहते हैं कि खेल-कूद में रुचि रखने वालों के साथ अक्सर ऐसी समस्या होती है. जिम में वर्कआउट, साइकिलिंग या किसी भी खेल में हिस्सा लेने से पड़ने वाले खिंचाव से भी हाइमन नष्ट हो सकती है।
नई दिल्ली : हर व्यक्ति को शादी के लिए परफेक्ट पार्टनर की तलाश रहती है। लोग मैट्रिमोनियल वेबसाइट्स को फॉलो करते हैं। क्लाइंट को फंसाने के लिए कुछ मैट्रिमोनियल वेबसाइट्स अब अपनी सारी हदें पार कर रही हैं। ये वेबसाइट वर्जिनिटी को शादी आधार पर बनाकर आकर्षित कर रही है। शादी डॉट कॉम नाम की वेबसाइट आजकल इसी तरह अपना धंधा चला रही है। हालांकि, ये लोकप्रिय वेबसाइट Shaadi डॉट कॉम की वेबसाइट से अलग है.।दोनों के नाम में सिर्फ एक अक्षर का फर्क है।
इस पर एक पोस्ट में 'वर्जिन मैट्रिमोनी' का जिक्र किया गया है। तमाम लोग ऐसे हैं जिनकी मानसिकता आज भी वर्जिनिटी के फेर में उलझी हुई है ।शादी के लिए वर्जिनिटी का क्राइटेरिया इश्तेहार देकर इस तरह की मानसिकता को और बढ़ावा दे रही हैं।
जब वेबसाइट से इस बारे में पूछा गया कि इस पेज के बारे में उनका क्या कहना है, तो कहा कि 'हमारे पेज पर ऐसी किसी सर्विस के बारे में हमें जानकारी नहीं है.। जब उन्हें उनकी ही साइट का स्क्रीनशॉट भेजा गया, तो जवाब आया- “कभी कभी मार्केटिंग वाले लोग कुछ ज्यादा ही आगे बढ़ जाते हैं। ये पेज डिलीट कर देंगे, क्योंकि इसका कोई मतलब ही नहीं है।वेबसाइट ने अपनी गलती को माना है।
वर्जिनिटी, यानी कौमार्य का मतलब है कि जब तक लड़कियां शारीरिक संबंध नहीं बना लेतीं, तब तक वो ‘वर्जिन’ होती हैं। किस तरह उनका कौमार्य उनके लिए एक बेहद जरूरी है, जिसे उन्हें संभालकर रखना होता है और अपनी पवित्रता को साबित कर सकें।
वर्जिनिटी पर डॉक्टर्स?
मेडिकल साइंस की भाषा में समझें तो वर्जिनिटी का मतलब हाइमन का अछूता होने से है। हाइमन महिलाओं के प्राइवेट पार्ट में एक टिश्यू होता है। शारीरिक संबंध बनाते समय हाइमन के खिंचने या उस पर जोर पड़ने से खून आ जाता है, लेकिन जरूरी नहीं है कि हर बार ऐसा ही हो। हाइमन से किसी की वर्जनिटी का अंदाजा लगाना सही नहीं है एक्सपर्ट कहते हैं कि खेल-कूद में रुचि रखने वालों के साथ अक्सर ऐसी समस्या होती है. जिम में वर्कआउट, साइकिलिंग या किसी भी खेल में हिस्सा लेने से पड़ने वाले खिंचाव से भी हाइमन नष्ट हो सकती है।
जब पहली बार इस साइट का नाम देखा, तो लगा ये भारत वाली ‘शादी डॉट कॉम’ वेबसाइट तो नहीं है. लेकिन दोनों की स्पेलिंग में हल्का-सा फर्क था। इस तरह की साइट्स का क्या मतलब होता है। एक जैसे नामों वाली वेबसाइट क्या एक-दूसरे पर मुकदमा कर सकती हैं? ये साइबर एक्सपर्ट हैं। उन्होंने बताया, ‘दोनों ही साइट्स लगभग एक समय में रजिस्टर की गई थीं। अब इनमें से एक यहां काफी पॉपुलर है, लेकिन इसका ये मतलब नहीं कि दूसरी वेबसाइट पहली वाली की नकल करने की कोशिश कर रही है। इस तरह की पब्लिसिटी की किसी भ साइट के भविष्य के लिए बेहतर नहीं है।
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