MIND TO BODY: आइए जानें कैसे मानसिक स्वास्थ्य के साथ शारीरिक स्वास्थ्य इंटरलिंक्ड है
वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन (world health organization) के अनुसार दुनिया भर में लगभग 20 करोड़ से ज्यादा लोग आज के समय में डिप्रेशन की समस्या से जूझ रहे हैं।
MIND TO BODY: हम सब जानते हैं कि डिप्रेशन के कारण हृदय और ब्लड प्रेशर जैसी बीमारियां होती हैं। आज इस आर्टिकल में हम यही बात करेंगे कि कैसे शारीरिक स्वास्थ्य और मानसिक स्वास्थ्य का एक दूसरे से संबंध है। दिमाग हमरे पूरे शरीर को कंट्रोल करता है, मानसिक बीमारी व्यक्ति के स्वास्थ्य-संबंधी बर्ताव पर असर डालती है जैसे पूरी नींद न लेना, सही भोजन न करना, टेंशन में आकर खूब शराब का सेवन करना आदि। और ऐसी ही गलत आदतें शारीरिक बीमारियों को बढ़ावा देती हैं।
कहा जाता है कि अगर मन चंगा है तो शारीरिक स्वास्थ्य भी सही रहेगा। मानसिक अस्वस्थता के कारण पारिवारिक और सामाजिक समस्याएं भी होती हैं, जैसे बेरोजगारी, परिवार का बिखरना, तलाक, गरीबी, नशीले पदार्थों का दुर्व्यसन और संबंधित अपराध। टेंशन से डिप्रेशन बढ़ता है और बढ़ते डिप्रेशन से से ग्रस्त चिकित्सकीय रोगियों की आयु में असर पड़ता है और उनकी आयु भी कम होती है। गंभीर बीमारियां जो इंसान के साथ लंबे समय के लिए जुड़ जाती है जैसे मधुमेह, कैंसर,हृदय रोग को भी बढ़ावा मिलता है। 'डिप्रेशन' हार्ट अटैक की सबसे बड़ी समस्या है।
डिप्रेशन हमारे माइंड में सकारात्मक सोच को हटाकर नकारात्मक सोच को जन्म देता है, जिससे हम अपना समय बर्बाद करते हैं और सोचने समझने की क्षमता को कम कर सकते हैं। वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन (world health organization) के अनुसार दुनिया भर में लगभग 20 करोड़ से ज्यादा लोग आज के समय में डिप्रेशन की समस्या से जूझ रहे हैं। डिप्रेशन से जूझ रहे मरीजों को हर्ट संबंधित बीमारियां बहुत जल्द हो जाती हैं। और कई अन्य बीमारियों का भी जन्म होता है, तो इस तरह मानसिक बीमारियों का सीधा संबंध शारीरिक स्वास्थ्य से है।