मेघालय के राज्यपाल ने बढ़ाई भाजपा की मुश्किल, पहले भी बोलते रहे हैं बेबाक
करनाल में किसानों पर हुए लाठीचार्ज मामले में मेघालय के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने सीएम मनोहर लाल खट्टर की तीखी आलोचना की है।
नई दिल्ली : हरियाणा में किसानों पर हुए लाठीचार्ज मामले में मेघालय के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने सीएम मनोहर लाल खट्टर की तीखी आलोचना की है। उन्होंने अपने बेबाक बयान से भारतीय जनता पार्टी को भी कटघरे में खड़ा कर दिया है। राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने कहा है कि हरियाणा के मुख्यमंत्री को माफी मांगनी चाहिए और करनाल के एसडीएम को बर्खास्त कर दिया जाना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि वह किसानों के साथ हैं।
मेघालय के राज्यपाल सत्यपाल मलिक पहले भी केंद्र की भाजपा सरकार के फैसलों पर सवाल खड़े कर चुके हैं। उनके बयान से असहज होने के बाद ही उन्हें जम्मू—कश्मीर से हटाकर मेघालय का राज्यपाल बनाया गया है। इस बार फिर उन्होंने भाजपा और हरियाणा की सरकार को मुश्किल में डालने वाला बयान दिया है।
600 किसान अब तक मर चुके
एक निजी न्यूज चैनल को दिए बयान में उन्होंने कहा कि वह किसानों के साथ हैं। किसान का बेटा होने की वजह से वह किसानों का मर्म समझते हैं। केंद्र की मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा कि 600 किसान अब तक मर चुके हैं लेकिन सरकार किसानों से बात नहीं कर रही है। सरकार की ओर से किसी के नेता ने सांत्वना के दो शब्द भी नहीं बोले हैं।
उन्होंने जोर देते हुए कहा कि राज्यपाल पद जाने का उन्हें कोई मलाल नहीं होगा। वह हमेशा सच्चाई के साथ रहे हैं। उन्हें वापस किसानों के बीच में ही रहना है। किसान कानून को जबरन नहीं थोपा जाना चाहिए। जब किसान इसे स्वीकार करने के लिए तैयार नहीं हैं तो किसानों की बात मान लेनी चाहिए।
हरियाणा के मुख्यमंत्री को किसानों पर हुए लाठीचार्ज का जिम्मेदार ठहराते हुए उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री की जानकारी के बगैर इतनी बड़ी कार्रवाई नहीं हो सकती है। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर भी जिम्मेदार हैं उन्हें किसानों से माफी मांगनी चाहिए और करनाल के एसडीएम को तत्काल बर्खास्त कर दिया जाना चाहिए। उन्होंने आगे यह भी कहा कि सिर उस एसडीएम को भी फूट सकता था। इसलिए खट्टर को तुरंत किसानों से माफी मांगनी चाहिए।
बेबाक बोलते रहे हैं सत्यपाल मलिक
मेघालय के राज्यपाल सत्यपाल मलिक पुराने समाजवादी नेता हैं। इसी साल 14 मार्च को बागपत में आयोजित एक कार्यक्रम में उन्होंने किसानों का खुलकर पक्ष लिया। उन्होंने कहा था कि जिस देश का किसान और जवान कष्ट में होगा, असंतुष्ट होगा उस देश को कोई बचा ही नहीं सकता।
किसानों के सवालों के साथ सिख जुड़ गए हैं, किसानों के मामले में जहां तक जाना होगा जितनी दूर तक मदद कर सकूंगा वहां तक जाकर मदद करूंगा। किसान बहुत बुरे हाल में है इस देश में । उन्होंने कहा कि मैंने प्रधानमंत्री तक बात पहुंचाई है कि किसानों के सम्मान से खिलवाड़ न करें।
किसान अगर यहां आकर लड़ रहे हैं तो खाली हाथ लौटेंगे नहीं। अगर लौट गए तो 300 साल तक नहीं भूलेंगे। उन्होंने कहा कि मैंने प्रधानमंत्री व गृहमंत्री से कहा कि मैं सिखों को जानता हूं वह 300 साल तक नहीं भूलेंगे। उन्हें खाली हाथ मत लौटाओ और उनके साथ बल प्रयोग मत करो। मलिक ने तब यह भी बताया था कि किसान नेता राकेश टिकैत की गिरफ्तारी भी उन्होंने आधी रात में फोन पर बात कर रुकवाई है।