Meghalaya Famous Places: बादलों के घर की सैर को मेघालय की ओर करें कूच
Meghalaya Famous Places: भारत के पूर्वोत्तर में बसा मेघालय राज्य सबसे खूबसूरत राज्यों में से एक है। दुनिया भर में यह राज्य अपनी कला, संस्कृति और समृद्धि के लिए मशहूर है। मेघालय शब्द का संस्कृत में अर्थ होता है ‘मेघ यानि बादलों का घर। सैलानी यहां के पर्वत श्रृंखलाओं , भारी वर्षा, धूप, उच्च पठार, आकर्षक झरनों , नदियों और घास के मैदानों का भरपूर आनंद ले सकते हैं।
Meghalaya Famous Places: भारत के पूर्वोत्तर में बसा मेघालय राज्य सबसे खूबसूरत राज्यों में से एक है। दुनिया भर में यह राज्य अपनी कला, संस्कृति और समृद्धि के लिए मशहूर है। मेघालय शब्द का संस्कृत में अर्थ होता है ‘मेघ यानि बादलों का घर। सैलानी यहां के पर्वत श्रृंखलाओं , भारी वर्षा, धूप, उच्च पठार, आकर्षक झरनों , नदियों और घास के मैदानों का भरपूर आनंद ले सकते हैं।
यहां की प्राकृतिक सुंदरता के साथ खानपान भी बहुत ही स्वादिष्ट होता है। मेघालय राज्य में आदिवासियों की कई जातियां मौजूद हैं। यहां शाकाहारी और मांसाहारी दोनों प्रकार के व्यंजन खाने को मिलते हैं। ब्रिटिश समय में मेघालय को “पूर्व का स्कॉटलैंड” कहा जाता था। शिलांग इसकी राजधानी है। इसके अलावा यहां घूमने के लिए कई खूबसूरत जगह हैं।
शिलांग
यह मेघालय की राजधानी है और समुद्र तल से करीब 1500 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। इस हिल स्टेशन को पूर्व का स्कॉटलैंड भी कहा जाता है। यह एक सुंदर और शांत पहाड़ी शहर है। यहां की हरी भरी घाटियां, शांत झीलें , बादलों के आसमान, ऊंची पर्वत श्रृंखलाएं, घास के मैदान पर्यटकों का मन मोह लेते हैं। शिलांग को ‘बादलों का शहर’ भी कहा जाता है। इस शहर को मेघालय के प्रवेश द्वार के रूप में भी जानते हैं। यहां की नाइट लाइफ बहुत मशहूर है।
चेरापूंजी
मेघालय के पूर्वी खासी हिल्स जिले का यह स्थान दुनिया भर में सबसे अधिक वर्षा वाले क्षेत्र के लिए विख्यात है। यहां साल भर सबसे अधिक वर्षा होती है। यहां घूमने लायक बहुत सी जगहें हैं। भारत का सबसे स्वच्छ गांव मावलिननॉंग यहीं मौजूद है। यह गांव मेघालय के प्रसिद्ध पर्यटन स्थलों में से एक है। शिलांग से इसकी दूरी लगभग 56 किमी है। यह स्थान हरियाली और सुखद जलवायु, तरह तरह के वनस्पतियों और रहस्यमयी गुफाओं के लिए खासकर लोकप्रिय है ।
दावकी झील
दावकी झील भारत और बांग्लादेश की सीमा पर स्थित है । यह दोनों देशों के बीच व्यापार करने का एक प्रमुख केंद्र है। इस झील पर नौका प्रतियोगिता का आयोजन भी किया जाता है। इस झील की खूबसूरती पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करती है।
एलीफेंट वाटरफॉल
पर्यटकों के लिए स्वर्ग माना जाने वाला एलीफेंट वाटरफॉल खासी जिले के मुख्य शहर में स्थित है। यह वाटरफॉल शिलांग से करीब 13 किलोमीटर की दूरी पर है। दरअसल, इस जगह पर हाथी की तरह दिखने वाला एक विशाल चट्टान था, जिस कारण ब्रिटिश शासन के दौरान अंग्रेजों ने इसे एलीफेंट फॉल का नाम दे दिया। इसके आस पास बेहद सुंदर जलप्रापात और हरे भरे दृश्य हैं, जो सैलानियों के मन को मोह लेते हैं।
तुरा शहर
यह एक पहाड़ी शहर है, जहां नोकेरेक नेशनल पार्क है। तुरा हिल्स की तलहटी में बसा यह एक घाटी शहर है, जहां कई झरने मौजूद हैं। यहां के नेशनल पार्क में कई किस्म के जानवर और पक्षी जैसे तेंदुआ, सुनहरी बिल्ली, जंगली भैंस, तीतर, इत्यादि देखने को मिलते हैं ।
मौसिनराम
मौसिनराम खासी शब्द ‘माव’ से लिया गया है, जिसका अर्थ पत्थर होता है। मेघालय में शिवलिंगम के आकार का गांव मौसिनराम भारत में सबसे अधिक बर्षा के लिए मशहूर है।यह शिलांग से करीब 60 किमी दूर है।यहां लगभग साल भर बारिश होती है, जिसके कारण इसे दुनिया की सबसे नम जगह माना जाता है। भारी बारिश के अलावा यह जगह हरी भरी वनस्पतियों, खूबसूरत झरनों और रंगीन ऑर्किड के लिए भी पर्यटकों में जाना जाता है। यहां पर्यटकों को बादलों के खूबसूरत परिदृश्य के अलावा ठंडी जलवायु का सुखद अहसास होता है।
डबल डेकर रुट ब्रिज
यह ब्रिज चेरापूंजी से करीब 18 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। 3 किमी लंबा और 2400 फीट ऊंचा यह पूल रबर के पेड़ की जड़ों से बना है। इस पुल को यहां की खासी जनजाति के लोगों ने बनाया है।
बालपक्रम राष्ट्रीय उद्यान
समुद्र तल से लगभग 900 मीटर की ऊंचाई और मेघालय की राजधानी शिलांग से करीब 134 किलोमीटर की दूरी पर स्थित यह उद्यान यहां का मशहूर राष्ट्रीय उद्यान है। यह पार्क कई दुर्लभ वन्यजीवों का घर है और करीब 200 वर्ग किमी की क्षेत्रफल में फैला है।
मावसई गुफा
मेघालय की सबसे लोकप्रिय ऐतिहासिक गुफाओं में से यह एक गुफा है। चेरापूंजी से करीब 6 किमी दूर 150 मीटर लंबी यह गुफा जयंतिया पहाड़ियों में चूना पत्थर से बनी है। यहां चमकती हुई रौशनी के साथ अनगिनत पत्थर भी देख सकते हैं। यह गुफा मेघालय की सबसे आकर्षक, रहस्यमय और अद्भुत स्थान में एक है। यह भूल भुलैया की तरह प्रतीत होती है।
मावलिननॉन्ग गांव
शिलांग से लगभग 90 किलोमीटर की दूरी पर स्थित इस गांव को भगवान का अपना बगीचा "गॉड्स ओन गार्डन " कहा जाता है। यह एशिया के सबसे स्वच्छ गांव के रूप में भी प्रसिद्ध है और पर्यटकों के देखने के लिए पसंदीदा जगह है। भव्य झरनों, स्वच्छ वातावरण और घने जंगलों के बीच बसा यह गांव मेघालय में घूमने के लिए सबसे आकर्षक स्थानों में से एक है।
जवाई शहर
अपनी धनी विरासत और संस्कृति के लिए मशहूर जवाई शहर, मेघालय के सुंदर पर्यटन स्थलों में से एक है। जयंतिया हिल्स में बसा यह शहर प्रकृति प्रेमियों के लिए स्वर्ग जैसा प्रतीत होता है। थडलास्केन झील और लालोंग पार्क पर्यटकों का पसंदीदा जगह है।
बाघमारा
यह जगह वनस्पति और वन्य जीवों से समृद्ध है। इसके अलावा इस स्थान पर कई झील, नदियां, पहाड़ियां भी हैं, जो इस जगह को और अधिक आकर्षक बनाती है। यहां एक रिजर्व फॉरेस्ट भी है।
उमियम लेक
शिलांग से 15 किमी दूर यह झील एक मानव निर्मित झील है, जो पर्यटकों को नौका विहार करने के लिए आकर्षित करती है। यह झील हरी भरी पहाड़ियों के बीच स्थित है। मेघालय घूमने में पर्यटक इस जगह को अपने लिस्ट में जरूर शामिल करते हैं।
नोहकलिकाई जलप्रपात
मेघालय के चेरापूंजी से 8 किमी की दूरी पर स्थित यह जलप्रपात दुनिया का चौथा सबसे ऊंचा जलप्रपात है। लगभग 340 मीटर की ऊंचाई पर हरे भरे पहाड़ों के बीच यह जलप्रपात दुनिया का सबसे आकर्षक दृश्य पेश करता है।
कैलांग रॉक
मेघालय के पश्चिम खासी पहाड़ियों में और शिलांग से करीब 60 किमी की दूरी पर यह एक अद्भुत ग्रेनाइट और लाल पत्थर का विशाल चट्टान है। समुद्र तल से लगभग 5400 फीट ऊपर यह सैलानियों के लिए पसंदीदा जगह है ।
कैसे पहुंचे ?
हवाई मार्ग से सीधे मेघालय जाने के लिए कोई हवाई अड्डा नहीं है उसके लिए गुवाहाटी हवाई अड्डा नजदीकी हवाई अड्डा है। वहां से आप किसी भी स्थानीय साधनों जैसे बस या टैक्सी के माध्यम से मेघालय के विभिन्न स्थानों तक पहुंच सकते हैं।
रेल मार्ग से मेघालय पहुंचने के लिए गुवाहाटी रेलवे स्टेशन सबसे नजदीकी रेलवे स्टेशन हैं। यहां पहुंचकर आप बस या टैक्सी से मेघालय के विभिन्न स्थानों पर जा सकते हैं। सड़क मार्ग से मेघालय देश के विभिन्न प्रमुख शहरों से अच्छी तरह जुड़ा हुआ है। बस और अन्य साधनों के द्वारा आप आसानी से मेघालय पहुंच सकते हैं।
कब घूमने जाएं ?
वैसे तो मेघालय हर मौसम में घूमा जा सकता है। लेकिन मेघालय घूमने का सबसे अच्छा समय अक्टूबर से मार्च तक का है। इस दौरान यहां का मौसम काफी खूबसूरत और मनमोहक होता है और पर्यटकों को आकर्षित करता है।
(लेखिका वरिष्ठ पत्रकार हैं ।)