Dulhe Ki Demand: फिरोजाबाद का 'बुलेट राजा' शिक्षक, शादी में की ऐसी डिमांड, दुल्हनिया भूल दूल्हे को होना पड़ा फरार

Dulhe ki Demand : फिरोजाबाद जिले के एक सरकारी मास्साब भी कुछ यही सपने देखे थे। एक तो बड़ा मेहनत से पढ़ लिख के मास्टर बने । अब यूपी में मास्टर बनना कोई हँसी खेल थोड़े ही है । एग्जाम की सीरीज होती है ।

Written By :  Nitendra Verma
Published By :  Shivani
Update:2021-07-21 08:53 IST

नितेंन्द्र वर्मा 

Dulhe Ki Demand: भैया हम फिर आ गये । क्या करें बिना झक्क मारे मन ही नहीं मानता । तो स्वागत करिये हमारा । हम हैं मिस्टर झक्कीलाल बातों बातों में कर देते हैं लाल । हमाई खबरों का अंदाज भी है निराला । सुनते रहिये हाथ में लेके चाय का प्याला । तो बिना देरी किये लड़ाते हैं आज की झक्क...

भैया जो मजा बुलेट में हैं वो किसी में नहीं । धकधका के जब चलती है तो दुनिया रास्ता देती है । गाड़ी चलाओ तो बुलेट खरीदो तो बुलेट । दहेज में बुलेट न मिले शादी करना बेकार है । यही सपना देख देख के तमाम जवान हो जाते हैं कि शादी होगी तो बुलेट मिलेगी ।

फिरोजाबाद के टीचर ने शादी में मांगी बुलेट बाईक

यूपी के फिरोजाबाद जिले के एक सरकारी मास्साब भी कुछ यही सपने देखे थे। एक तो बड़ा मेहनत से पढ़ लिख के मास्टर बने । अब यूपी में मास्टर बनना कोई हँसी खेल थोड़े ही है । एग्जाम की सीरीज होती है । अगर गलती से सब निकाल ले गए तो किस्मत । तो मेहनत के अनुपात में डिमांड भी जरूरी है । जब लड़का नौकरी पाये गया तो घर वालों को शादी की चिंता सताने लगी । जवानी भी चढ़ी थी । सो घर वाले देख दाख के बढ़िया से कीमत तय कर दिए ।

इधर शादी की तारीख नजदीक चली आ रही थी । दुल्हन डाइटिंग में जुटी पड़ी थी । रंगत गोरी करने को दुनिया भर के नुस्खे अपनाए जा रहे थे । मैडम तो बस इस इंतजार में थीं कि कब उनके सजन आएंगे और उन्हें डोली में बिठा के ले जायेंगे । आँखों में न नींदें थीं और न दिल में करार ।

लड़की वाले दूल्हे की डिमांड से परेशान

लेकिन मास्साब तो कुछ और ही गुणा भाग लगाने में डटे थे । शादी के चार दिन पहिले ही लड़की वालों से बोले कि बुलेट चाहिए । लड़की वाले परेशान हो उठे । पहले ही इतना खर्चा कर चुके थे । हाथ जोड़ लिए । लेकिन मास्साब ठहरे सरकारी आदमी । बोले बुलेट नहीं तो विदाई नहीं । खूब मान मनौव्वल भई । लेकिन दूल्हे मियाँ न पसीजे तो न पसीजे ।

सरकारी मास्टर बनने के बाद वैसे ही दूर दूर तक भोकाल टाइट था । सोचे होंगे कि उनके जैसा दूल्हा भला किसी को कहाँ नसीब होगा । लेकिन मास्साब ज्यादा हल्के में ले लिए । दाँव उल्टा पड़ गया । लड़की वाले डायरेक्ट थाने पहुंच गए और वहीं से बुलेट बुक करा दिए ।
पुलिस दूल्हे राजा को बुलेट देने पहुंची तो दूल्हे समेत सब फरार मिले । बताइये अब मांगे थे तो कम से कम ले तो लेते । अब मास्साब को बुलेट मिलेगी या नहीं ये तो वक्त ही बताएगा ।
बाकी आप पढ़ रहे थे नितेंन्द्र की चिकोटी । आप को कैसी लगी जरूर बताइये ।
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