Punjab: जेल में हुई गैंगवार को लेकर राज्य सरकार पर भड़के मूसेवाला के पिता, बोले – नहीं संभल रहा पंजाब तो....

Punjab: तरनतारण की गोइंदवाल जेल में हुई गैंगवार की घटना को लेकर दिवंगत पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला के पिता ने राज्य सरकार पर जोरदार हमला बोला है।

Update: 2023-03-06 10:21 GMT

Moosewala father Balkaur Singh targets Punjab Government (Social Media)

Punjab: पंजाब में कानून - व्यवस्था का मुद्दा इन दिनों गरमाया हुआ है। पंजाब में बढ़ रहे गैंगस्टरों की गतिविधियों के बीच खालिस्तान समर्थक जिस तरह अपना सिर उठा रहे हैं, वह राज्य के उस अतीत की याद दिला रहा है, जिसे कोई पंजाबी स्वीकार नहीं करना चाहता। तरनतारण की गोइंदवाल जेल में हुई गैंगवार की घटना को लेकर दिवंगत पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला के पिता ने राज्य सरकार पर जोरदार हमला बोला है।

मूसेवाला के पिता बलकौर सिंह ने इस घटना को पूरी तरह से पंजाब सरकार का फेलियर करार दिया है। उन्होंने मुख्यमंत्री भगवंत मान को नसीहत देते हुए कहा कि अगर उनसे पंजाब नहीं संभल रहा तो वे अपने हाथ खड़ें कर दें। अपने आप राज्यपाल शासन लग जाएगा या कुछ और हो जाएगा। राज्य चलाने के लिए कोई न कोई हल तो होगी ही।

बलकौर सिंह उस वीडियो पर प्रतिक्रिया दे रहे थे, जिसमें जेल में बंद दो बदमाश दो गैंगस्टरों का कत्ल कर जश्न मना रहे थे। दोनों कातिलों को लॉरेंस गैंग का बताया जा रहा है। ये वही है गैंग जिस पर पंजाबी सिंगर और रैपर सिद्धू मूसेवाला की हत्या करने का आरोप है। मूसेवाला के पिता कहते हैं कि इस वीडियो में बदमाशों के हौंसले देखो। जेल में दिनदहाड़े हुए कत्ल की ये जिम्मेदारियां ले रहे हैं और साथ में गालियां भी दे रहे हैं। सरकार और कानून को टिच समझ रहे हैं।

कानून व्यवस्था को लेकर निशाने पर मान सरकार

महज एक साल पहले प्रचंड जनादेश के साथ पंजाब की सत्ता में आई आम आदमी पार्टी कई मोर्चों पर घिरती नजर आई है। सबसे बड़ा मुद्दा तो लॉ एंड ऑर्डर है। सत्ता संभालने के कुछ ही समय बाद जानेमाने गायक सिद्धू मूसेवाला की हत्या कर दी गई थी। मूसेवाला की हत्या से कुछ दिनों पहले ही सरकार ने उनसे सुरक्षा वापस ली थी।

इसके बाद पिछले दिनों जिस तरह अमृतसर के अजनाला पुलिस स्टेशन में खालिस्तान समर्थक और वारिस पंजाब दे प्रमुख अमृतपाल सिंह ने अपने समर्थकों के साथ बवाल मचाया, उसने सभी को हैरान कर दिया। अमृतपाल के सैंकड़ों समर्थकों के सामने पुलिस पूरी तरह बेबस नजर आई। इस हमले में 6 पुलिसकर्मी घायल हुए थे, जिसमें एक डीएसपी रैंक का अधिकारी भी शामिल था। अमृतसर पुलिस को अमृतपाल के दवाब में जेल में बंद उसके एक सहयोगी लवप्रीत तूफान को छोड़ना पड़ा। 

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