सैलानियों के आकर्षण का केंद्र बनती ‘स्टेच्यू ऑफ यूनिटी’, आइये जाने पूरी जानकारी
Statue of Unity Wiki in Hindi: स्वतंत्र भारत की 560 रियासतों को एकजुट करने का श्रेय सरदार पटेल को जाता है, इसलिये इस प्रतिमा का नाम ‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी ’ रखा गया । सरदार वल्लभ भाई पटेल का जन्म 31अक्टूबर, 1875 को गुजरात के नडियाद जिले हुआ था।
Statue of Unity Wiki in Hindi: स्टैच्यू ऑफ यूनिटी का निर्माण भारत के सर्वप्रथम गृह मंत्री व संविधान सभा के प्रमुख सरदार वल्लभ भाई पटेल के सम्मान में किया गया है। यह नर्मदा नदी जो कि सतपुड़ा और विंध्य पर्वत शृंखलाओं के मध्य बहती है, के साधू बेट द्वीप (Sadhu Bet island) पर स्थित है।
स्वतंत्र भारत की 560 रियासतों को एकजुट करने का श्रेय सरदार पटेल को जाता है, इसलिये इस प्रतिमा का नाम ‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी ’ रखा गया । सरदार वल्लभ भाई पटेल का जन्म 31अक्टूबर, 1875 को गुजरात के नडियाद जिले हुआ था।
‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’ (Statue of Unity) का उद्घाटन वर्ष 2018 में सरदार पटेल की 142वीं वर्षगांठ पर प्रधानमंत्री ‘नरेंद्र मोदी’ के द्वारा किया गया था। इसके बाद से ही यह स्थल दुनिया में पर्टयन का विशेष केंद्र बना हुआ है। गुजरात के नर्मदा ज़िले के केवडिया में स्थित ‘ स्टैच्यू ऑफ यूनिटी ’ उद्घाटन से अब तक देखने आने वाले पर्यटकों की संख्या 50 लाख से अधिक हो चुकी है।
स्टैच्यू ऑफ यूनिटी विश्व की सबसे ऊँची(182 मीटर) मूर्ति है। यह चीन की स्प्रिंग टेम्पल बुद्ध प्रतिमा (Spring Temple Buddha statue) से 23 मीटर अधिक ऊँची तथा अमेरिका में स्थित स्टैच्यू ऑफ लिबर्टी (93 मीटर लंबा) की ऊँचाई की लगभग दोगुनी है।जनवरी 2020 में इसे शंघाई सहयोग संगठन (Shanghai Cooperation Organisation- SCO) के आठ अजूबों में शामिल किया गया ।
स्टैच्यू ऑफ यूनिटी का डिज़ाइन पद्म श्री व पद्म भूषण पुरस्कार प्राप्तकर्त्ता मूर्तिकार राम वी सुतार द्वारा तैयार किया गया है। इस प्रतिमा का जटिल कांस्य क्लैडिंग कार्य चीनी फाउंड्री, जियांग्शी टॉकाइन कंपनी (Jiangxi Toqine Company- JTQ) द्वारा किया।
(Statue of Unity) के निर्माण में मुख्यत 4 धातुओं का उपयोग किया गया है।जिसमें वर्षों तक जंग नहीं लगेगी। आपको जानकर आश्चर्य होगा कि इस विशाल मूर्ति को तय समय में बनाने के लिए करीबन 4500 से अधिक मजदूरों ने दो शिफ्ट में काम किया था। इसके साथ ही सरदार पटेल की मूर्ति के निर्माण में अनुमानित दो हजार मैट्रिक टन ब्रॉन्ज, 5700 मैट्रिक टन स्ट्रक्चरल स्टील, मिलियन टन सीमेंट और 18500 मैट्रिक टन रिइनफोर्समेंट बार्स का भी इस्तेमाल किया गया हैं।
‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’ के निर्माण में 4 वर्ष यानी तकरीबन 44 महीनों का समय लगा । स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’ का कुल वजन 1700 टन है। जिसमें पैर की ऊंचाई 80 फीट, हाथ की 70 फीट, कंधे की 140 फीट और चेहरे की ऊंचाई 70 फीट है। इस मूर्ति को बनाने में अनुमानित 3000 करोड़ रूपये का खर्च आया था
इस भव्य मूर्ति के भीतर व ऊपर जाकर देखने के लिए हाई स्पीड लिफ्ट के साथ ही साथ एक संग्रहालय भी है, जहां पर ‘सरदार वल्लभ भाई पटेल’ से जुड़े हुए इतिहास को विस्तृत रूप से दर्शाया गया है।