Gangotri Surya Kund History: धरती पर यहां पड़ती है सूर्य की पहली रोशनी, भारत में है ये अद्भुत जगह
Uttarakhand Famous Gangotri Surya Kund: उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में गंगोत्री के पवित्र मंदिर के पास गंगोत्री में सूर्य कुंड एक पूजनीय तीर्थ स्थान है। यहां पर सूर्य की पहली किरण पड़ती है, इसके संबंध में एक कथा भी है...
Uttarakhand Famous Gangotri Surya Kund: भारत में कई सुंदर जगह है। उत्तराखण्ड जिसे देवभूमि के नाम से जाना जाता है। यहां पर पहाड़ो का हर कोना पौराणिक कथाओं को बताता है। ऐसी ही एक खूबसूरत जगह है गंगोत्री। जहां पहाड़ों के बीच से भागीरथी नदी बहती है। यह गंगोत्री पहाड़ ही गंगा नदी का उद्गम स्थल है। उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में गंगोत्री के पवित्र मंदिर के पास गंगोत्री में सूर्य कुंड एक पूजनीय तीर्थ स्थान है। गंगोत्री मंदिर आने वाले तीर्थयात्री और श्रद्धालु यहां पर सूर्य देव को अर्घ्य देने के लिए सूर्य कुंड झरने पर जाते हैं।
गंगोत्री मंदिर के नजदीक यह खूबसूरत कुंड
सूर्य कुंड गंगोत्री में एक शानदार झरना है, जो गंगोत्री मंदिर से 500 मीटर की दूरी पर स्थित है। सूर्यकुंड का धार्मिक महत्व है क्योंकि ऐसा माना जाता है कि देवी पार्वती यहां स्नान करके सूर्य देव को प्रणाम करती थीं। सूर्य के चमकने पर जब भी कुंड में पानी गिरता है तो इंद्रधनुष बनता है। सूर्य कुंड के दर्शन के लिए सबसे अच्छा समय सुबह का है। गंगोत्री में लोहे के पुल के दूसरी ओर गौरी कुंड, एक और आश्चर्यजनक झरना है। यहां तपोवन कुंती और दांडी क्षेत्र आश्रमों के पिछले रास्ते से पहुंचा जा सकता है।
लोकेशन: गंगोत्री, उत्तरकाशी उत्तराखण्ड
स्वर्ग से धरती पर गंगा का प्रवेश स्थल
प्राचीन उक्तियों के अनुसार, स्थानीय लोग इन गर्म झरनों में स्नान करते थे। तीर्थयात्रियों को इस स्थान की यात्रा अवश्य करनी चाहिए। माँ गंगा का एक बहुत ही महत्वपूर्ण भाग भागीरथी नदी स्वर्ग से निकलती है। यह जगह वह पहला स्थान है जहाँ भागीरथी नदी एक सुंदर कुंड में प्रवेश करती है। जहाँ शक्तिशाली सूर्य की पहली किरणें नदी में गिरती हैं।
सूर्यकुंड की धार्मिक मान्यता
यह अपनी तरह की एक खूबसूरत जगह है। गगनचुंबी गंगोत्री पर्वतमालाओं से घिरे सूर्य कुंड में पत्थरों की बहुत ही अनोखी आकृतियाँ हैं। किनारों पर बैठने की अच्छी व्यवस्था है, आप वहां बैठकर कुछ समय बिता सकता है और आनंद ले सकते है। सूर्यकुंड का धार्मिक महत्व है क्योंकि ऐसा माना जाता है कि देवी पार्वती यहां स्नान करके सूर्य देव को प्रणाम करती थीं। सूर्य के चमकने पर जब भी कुंड में पानी गिरता है तो इंद्रधनुष बनता है। सूर्य कुंड के दर्शन के लिए सबसे अच्छा समय सुबह का है।
सूर्य कुंड के पास जीवंत प्रकृति
सूर्य कुंड झरने के लिए जाना जाता है और यह गंगोत्री का सबसे शानदार हिस्सा है। भागीरथी नदी यहाँ गहरी घाटियों से होकर शानदार ढंग से नीचे की ओर गिरती है। भव्य झरनों का स्पष्ट दृश्य देखने के लिए एक लोहे के पुल को पार करना पड़ता है। सूर्य कुंड पर जीवंत ध्वनि के साथ झरना एक शानदार दृश्य है। सूर्य कुंड वास्तव में भागीरथी नदी पर बना एक भव्य जलप्रपात है। अद्भुत दृश्य, नदी के बहने की आवाज़, के बीच कोई भी वहां घंटों तक खड़ा रह सकता है और शांत सुंदरता का आनंद ले सकता है। . आप गिरते पानी को देखकर और उसकी आवाज सुनकर पानी की तीव्र शक्ति का एहसास कर सकते हैं।