August Kranti Diwas: आज राज्यपाल और सीएम योगी जाएंगे काकोरी, शहीदों को देंगे श्रद्धांजलि

August Kranti Diwas: लखनऊ में आज सोमवार को कारोरी ट्रेन एक्शन की वर्षगांठ के मौके पर सीएम योगी आदित्यनाथ और राज्यपाल आंनदीबेन पटेल शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित करने काकोरी जाएंगें।

Written By :  Vijay Kumar Tiwari
Published By :  Divyanshu Rao
Update: 2021-08-09 02:28 GMT
उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल और सीएम योगी आदित्यनाथ (डिजाइन फोटो:न्यूज़ट्रैक)

August Kranti Diwas: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के राजधानी लखनऊ (Lucknow) में आज सोमवार को कारोरी ट्रेन एक्शन (Karori Train Action) की वर्षगांठ के मौके पर सीएम योगी आदित्यनाथ और राज्यपाल शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित करने काकोरी जाएंगें। इसके साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) और राज्यपाल आनंदीबेन पटेल (Anandiben Patel) सोमवार को काकोरी ट्रेन एक्शन की 96 वीं वर्षगांठ के अवसर पर शहीदों को श्रद्धांजलि देने के लिए काकोरी जाएंगे और इस मौके पर काकोरी शहीद स्मारक में वीर शहीदों को श्रद्धांजलि देने के साथ-साथ वहां पर आयोजित कार्यक्रम में भी शिरकत करेंगे।

उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल (फोटो:न्यूज़ट्रैक)

प्रदेश सरकार के प्रवक्ता ने जानकारी देते हुए बताया कि इस अवसर पर स्वतंत्रता संग्राम के शहीदों के परिजनों को सम्मानित करने का भी एक कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है। इस अवसर पर वहां स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के चित्रों पर आधारित एक प्रदर्शनी के साथ-साथ म्यूरल प्रदर्शनी व चित्रकला प्रतियोगिता का आयोजन किया जाएगा। जिसमें भारत छोड़ो आंदोलन और स्वतंत्रता संग्राम के तमाम घटनाओं का जिक्र होगा।

जांबाज क्रांतिकारियों ने 9 अगस्त 1925 को काकोरी एक्शन को दिया था अंजाम

सीएम योगी आदित्यनाथ की तस्वीर (फाइल फोटो:सोशल मीडिया)

आपको याद होगा कि आजादी की लड़ाई के दौरान 9 अगस्त 1925 को काकोरी एक्शन प्लान को अंजाम दिया गया था। और इसके हीरो पंडित राम प्रसाद बिस्मिल, अशफाक उल्ला खां, राजेंद्र दास लहरी, चंद्रशेखर आजाद, केशव चक्रवर्ती, मुरारी लाल शर्मा, बनवारी लाल, मन्मथ नाथ गुप्ता, सचिंद्र नाथ बनर्जी और मुकुंदी लाल जैसे जांबाज क्रांतिकारी थे।

इस काकोरी कांड के बाद 46 लोगों को अरेस्ट किया गया था

इस काकोरी कांड में 46 लोगों को अरेस्ट किया गया था और मामले की सुनवाई कैसरबाग स्थित कोठी रोशनउद्दौला में हुई थी। जहां पर रोशनउद्दौला की कचहरी चला करती थी। यहीं पर लोअर कोर्ट उस जमाने में बनाई गई थी। इसके बाद मामले की सुनवाई सेशन कोर्ट में भेज दी गई और रिंग थिएटर (अब जीपीओ परिसर ) में एक स्पेशल सेशन कोर्ट बनाकर तत्कालीन जज हैमिल्टन राम प्रसाद बिस्मिल, ठाकुर रोशन सिंह, राजेंद्र नाथ, अशफाक उल्ला खां को मृत्युदंड की सजा सुनाई थी।

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