बुविवि के व्यापार प्रशासन विभाग के पुरातन छात्रों का सम्मेलन सम्पन्न
पुनर्मिलन के प्रति उत्साहित पुरातन छात्रों में इतना उत्साह था कि कोरोना महामारी के समय मे लॉकडाउन की स्थिति में भी समय का सदुपयोग करते हुए ऑनलाइन माध्यम से आज के कार्यक्रम की तैयारी कर ली थी।
झांसी: प्रबंध अध्ययन संस्थान बुन्देलखण्ड विश्विद्यालय झाँसी में 1994-96 बैच के पुरातन छात्रों का रजत जयंती वर्ष 20 मार्च 2021 को उत्साय पूर्वक आयोजित किया गया। स्मरण रहे कि वर्ष 1994-96 बैच के लगभग 40 छात्र बिभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ठ सेवाएं दे रहे हैं। इन प्रतिभाशाली छात्रों में कुछ विधायक, सफल उद्यमी , प्रशासनिक अधिकारी, बहुराष्ट्रीय कंपनियों एवं देश के प्रशिद्ध उच्च शिक्षा संस्थानों में उच्च पदों पर सुशोभित होकर अपनी बहुमूल्य सेवायें प्रदान कर रहे है।
पुनर्मिलन के प्रति उत्साहित पुरातन छात्रों में इतना उत्साह था कि कोरोना महामारी के समय मे लॉकडाउन की स्थिति में भी समय का सदुपयोग करते हुए ऑनलाइन माध्यम से आज के कार्यक्रम की तैयारी कर ली थी।
पुरातन छात्र सम्मेलन में संस्थान के वर्तमान शिक्षक ,पूर्व शिक्षक एवं पूर्व छात्रों की एक साथ 25 साल बाद उपस्थिति एक दुर्लभ क्षण की तरह से था और सभी लोग अति प्रसन्न दिखे। सर्व प्रथम पुरातन छात्रों ने अपने गुरुजनो को पुष्प गुच्छ देकर सम्मानित किया तत्पश्चात गुरुजनो ने अपने स्नेहमयी वक्तव्यों से सभी पुरातन छात्र छात्रओं को निरंतर आगे बढ़ने और उन्नत शिखर पर पहुंचने का आशीर्वचन दिया।
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इस सम्मेलन में पुरातन छात्रों ने वर्त्तमान छात्रों को पब्लिक व प्राइवेट क्षेत्र में वर्तमान अवसरों के वारे में विस्तृत मार्गदर्शन किया तथा शिक्षको ने भी प्रवंध क्ष्रेत्र में आये बदलाब के वारे में जानकारी दी। पुरातन छात्रों ने संस्थान के वर्तमान छात्रों को कैरियर काउंसलिंग, समर ट्रेनिंग एवं प्लेसमेंट में हर तरह की मदद देने का भरोसा दिलाया।
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संस्थान की निदेशक प्रोफेसर पूनम पूरी ने अपने स्वागत भाषण में पुरातन छात्रों को शुभकामनाएं देते हुए उन्हें अधिकाधिक संख्या में विश्वविद्यालय के पुरातन छात्र संग़ठन के माध्यम से बिश्वविद्यालय के क्रियाकलापों से जुड़े रहने और विश्वविद्यालय की कीर्ति के प्रसार में लगे रहने का संदेश दिया संस्थान के भूतपूर्व प्रोफेसर शैलेन्द्र निगम ने छात्रों को मार्गदर्शन व और अधिक सफलता के लिए प्रोत्साहित किया। अंत में पुरातन छात्रों ने सभी शिक्षक जनों का आभार ब्यक्त किया और ऐसे सम्मेलन विश्वविद्यालय द्वारा लगातार होने चाहिए ऐसी आशा व्यक्त किया।
रिपोर्ट: बीके कुश्वाहा
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