Sonbhadra: मीरा की मौत के बाद चोरी-छिपे शव जलाने का मामला, पुलिस ने 2 अस्पताल के संचालकों सहित 3 पर केस दर्ज

Sonbhadra News Today: नित्या अस्पताल में अपेंडिक्स के ऑपरेशन के नाम पर मीरा से 50 हजार नकदी और उसके जेवरात ऐंठने के साथ ही ऑपरेशन के बाद हुई मौत मामले मे बड़ा खुलासा सामने आया है।

Update: 2022-10-03 14:24 GMT

मीरा की मौत के बाद चोरी-छिपे शव जलाने का मामला। (Social Media)

Sonbhadra News: राबर्ट्सगंज कोतवाली क्षेत्र (Robertsganj Kotwali Area) के कथित नित्या अस्पताल में अपेंडिक्स के ऑपरेशन के नाम पर कुसाही गांव निवासी मीरा से 50 हजार नकदी और उसके जेवरात ऐंठने के साथ ही. ऑपरेशन के बाद हुई मौत मामले मे बड़ा खुलासा सामने आया है।

पीड़ित पक्ष के आरोपों पर यकीं करें तो दो अस्पतालों के संचालकों और उसने जुड़े लोगों ने अपेंडिक्स जैसे रोग के ऑपरेशन के नाम पर भारी भरकम नकदी और जेवरात गड़प कर लिए गए। वहीं चोरी-छिपे शव भी जलाने की कोशिश की गई। ऐन वक्त पर वाकए की जानकारी होने के बाद महिला के ससुर ने मामले की पूरी जानकारी की।

राबर्ट्सगंज पुलिस ने मामला दर्ज कर की छानबीन शुरू

इसके बाद एसपी डॉ. यशवीर सिंह को पूरे घटनाक्रम से अवगत कराया। वहां से मिले निर्देश के बाद राबर्ट्सगंज पुलिस ने नित्या अस्पताल के संचालक धर्मेंद्र कुमार, सनराइज अस्पताल वाराणसी के संचालक डॉ. अभिवन कटियार, जेवरात रखने वाले गणेश सोनी निवासी राबटर्सगंज और बिचैलिए की भूमिका निभाने वाले श्यामलाल के खिलाफ आईपीसी की धारा 420, 406, 304ए, 504, 506 और एससी-एसटी एक्ट के तहत मामला दर्ज कर छानबीन शुरू कर दी।

रविवार की देर शाम दर्ज किए गए मुकदमे के क्रम में पीड़ित से पूछताछ में पुलिस को जो जानकारी मिली है, उसमें दावा किया गया है कि आरोपियों ने श्यामलाल की मदद लेकर, महिला का शव हिंदुआरी में चोरी-छिपे जलाने की कोशिश भी की थी, लेकिन ऐन वक्त पर महिला के ससुर को इसकी जानकारी मिल गए, जिससे चोरी-छिपे शव जलाने की योजना धरी रह गई। पुलिस को दी गई तहरीर और बयां किए गए अभिकथन में कहा गया है कि कुसाही निवासी श्यामलाल बियार के जरिए मीरा पत्नी विकास निवासी कुसाही को, नित्या अस्पताल लाया गया। वहां वाराणसी के डा. अभिनव कटियार ने ऑपरेशन किया गया। इसके एवज में 50 हजार नगद और उसके पास मौजूद गहने को गणेश सोनी के यहां गिरवी रखवाकर आठ हजार लिए गए। गलत ऑपरेशन किए जाने के कारण, मीरा की हालत, कुछ देर बाद ही ज्यादा बिगड़ गई। स्थित नियंत्रित करने के लिए उसे वाराणसी ले जाया गया लेकिन वहां उसकी मौत हो गई।

हिंदुआरी में चोरी-छिपे शव जलाए जाने की कोशिश 

आरोप है कि उसके बाद हिंदुआरी में चोरी-छिपे शव जलाए जाने की कोशिश की गई। ऐन वक्त पर जानकारी के बाद, जब तनबुड़ुक ने इसका विरोध किया तो डॉ. अभिनव की तरफ से उनका निजी अस्पताल बताए जाने वाले सराइज अस्पताल वाराणसी के पैड पर मृत्यु प्रमाण पत्र प्रदान किया। तनबुड़ुक के मुताबिक जब उसने उनकी बगैर जानकारी के अपेंडिक्स का ऑपरेशन करने, अच्छी-खासी नकदी लेने, जेवरात गिरवी रखवाने के बारे में जानकारी मांगी गई और जेवरात की मांग की गई तो उसे धमकी दी जाने लगी। तब उसने मामले की जानकारी पुलिस को दी। उधर, पुलिस का कहना था कि मामले की छानबीन की जा रही है। 

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