लखनऊ : सुरों से लोगों के दिलों पर छा जाने वाले ओम प्रकाश सिंह के यूपी पुलिस का मुखिया बनते ही यूपी के करीब एक दर्जन आईपीएस अफसर ढेर हो गए है। इन सभी अफसरों का यूपी पुलिस के मुखिया का ताज पहनने का सपना चकनाचूर हो गया। यह अफसर 1982 बैच से लेकर 1987 बैच के हैं। डीजी रैंक के सब से सीनियर प्रवीण सिंह से लेकर ओपी सिंह की पोस्टिंग से पहले तक डीजी की रेस में सब से आगे चल रहे भावेश कुमार सिंह अब डीजीपी की कुर्सी से महरूम रह सकते हैं। यूपी पुलिस के मुखिया बने बिना ही रिटायर हो जाने वाले अफसरों में गोपाल गुप्ता, रजनीकान्त मिश्रा और प्रमोद कुमार तिवारी भी शामिल हैं।
4 को सुपरसीड किया, 11 के सपने किये धराशाई
"दिल के अरमा आंसुओं में बह गए" यही गाना इन दिनों यूपी के एक दर्जन आईपीएस अफसरों के दिल की आवाज बन गया है। गौरतलब यहाँ पर यह भी है, कि यूपी पुलिस के मुखिया ओम प्रकाश सिंह सुरों के बादशाह भी हैं, और वक़्त बेवक़्त अपने इस हुनर का प्रदर्शन भी करते रहे हैं।
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अब हम आप को खबर की उस गहराई में ले चलते हैं। जिस की वजह से दर्जन भर अफसर यूपी पुलिस के मुखिया बने बिना ही रिटायर हो जाएंगे। हर पुलिस अफसर का सपना होता है कि प्रमोशन के बाद डीजी रैंक पर पहुँच कर प्रदेश पुलिस के मुखिया की कुर्सी पर विराजमान होगा। लेकिन आईएएस अफसरों और आईपीएस अफसरों के बीच टशन की खबरों के बीच 1983 बैच के ओम प्रकाश सिंह को यूपी पुलिस का मुखिया बना दिया गया है। जिस की वजह से चार आईपीएस अफसरों को सुपरसीड कर डीजी बने ओपी सिंह ने 11 आईपीएस अफसरों के सपने परवान चढ़ने से पहले धराशाई हो गए हैं।
जनवरी 2020 तक रिटायर होंगे 11 डीजी रैंक के अफसर
दरअसल यूपी पुलिस के मुखिया बने ओम प्रकाश सिंह का कार्यकाल जनवरी 2020 तक है। ओपी सिंह अगर किसी अपरिहार्य कारण से डीजी पद से हटाए नहीं गए तो इस बीच 11 आईपीएस अफसर अपनी सेवाएं पूरी कर रिटायर हो जाएँगे। जनवरी 2020 तक रिटायर होने वाले अफसरों में डीजी ईओडब्लू आलोक प्रसाद मार्च 2018, केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर तैनात एस एस सिद्धू मार्च 2018, डीजी फ़ायर सर्विस प्रवीण सिंह जून 2018, डीजी होम गार्ड सूर्य कुमार शुक्ला अगस्त 2018, डीजी भर्ती बोर्ड गिरीश प्रसाद शर्मा जनवरी 2019, डीजी ट्रेनिंग मुख्यालय गोपाल गुप्ता जून 2019, एडीजी सीआरपीएफ राजेश प्रताप सिंह जुलाई 2019, डीजी टेलीकॉम प्रमोद कुमार तिवारी जुलाई 2019, डीजी एसएसबी रजनीकांत मिश्रा अगस्त 2019, डीजी सीआरपीएफ राजीव राय भटनागर दिसम्बर 2019 और डीजी इंटेलीजेंस भावेश कुमार सिंह जनवरी 2020 में यूपी पुलिस के मुखिया बने ओपी सिंह के साथ ही रिटायर हो जाएंगे।
अभी भी कई अफसरों ने नहीं छोड़ी है उम्मीदें
उम्मीद पर दुनिया क़ायम है। यह कहावत आम तौर पर हर किसी की ज़बान पर गाहे बगाहे आ ही जाती है। लेकिन आज कल यह कहावत यूपी के एक दर्जन आईपीएस अफसरों पर फिट बैठती है। यूपी पुलिस के मुखिया बने ओपी सिंह के ट्रैक रिकार्ड के चलते कई अफसरों को उम्मीद जवाँ है। दरअसल पुलिस कप्तान के तौर ओपी सिंह का कार्यकाल अल्मोढ़ा, खीरी और इलाहाबाद को छोड़ लखनऊ, मुरादाबाद और बुलन्दशहर में काफी छोटा रहा है। डीआईजी मुरादाबाद सात माह, डीआईजी आजमगढ़ छह माह और आईजी मेरठ के तौर पर एक माह से भी काम समय का कार्यकाल डीजी रैंक के अफसरों में डूबते सूरज के बीच उम्मीदों का किरण की तरह नज़र आ रहा है।